Vakri Guru Impact on All Zodiac Signs: 4 दिसंबर 2025 को रात्रि 8 बजकर 39 मिनट पर देवगुरु बृहस्पति वक्री अवस्था में मिथुन राशि में गोचर करेंगे। गुरु ग्रह मिथुन राशि में वक्री अवस्था में 11 मार्च प्रातः 08 बजकर 56 मिनट तक गोचर करेंगे और उसके बाद मार्गी हो जाएंगे। जब गुरु ग्रह वक्री अवस्था में होते हैं तो वह ग्रह उल्टी दिशा में चलते हुए प्रतीत होते हैं। मिथुन बुध ग्रह द्वारा शासित है। बुध बुद्धिमत्ता के कारक है और गुरु के मिथुन राशि में वक्री होने से लोगों की बुद्धि और विवेक को और निखारने का प्रयास करेगा। लोग अपने कार्यों में अच्छा प्रदर्शन कर पाएंगे और उनकी क्षमताओं में वृद्धि होगी। आइए जानते हैं कि गुरु ग्रह के मिथुन राशि में मार्गी होने से सभी राशियों पर क्या प्रभाव पड़ेगा।
Guru Vakri 2025: कल गुरु ग्रह होंगे वक्री, जानें किन राशियों की किस्मत चमकेगी और किन्हें रहना होगा सतर्क
Vakri Guru Ka Rashiyon Par Prabhav: जानें 4 दिसंबर 2025 को देवगुरु बृहस्पति के मिथुन राशि में वक्री गोचर के प्रभाव और मार्गी होने पर सभी राशियों पर इसके फल, करियर, आर्थिक, स्वास्थ्य और व्यक्तिगत जीवन पर असर।
मेष राशि
मेष राशि के जातकों के लिए बृहस्पति नौवें और बारहवें भाव के स्वामी हैं और वक्री होकर तीसरे भाव में गोचर करेंगे। इसके प्रभाव से आपके प्रयासों में देरी हो सकती है, जिससे साहस और आत्मविश्वास पर असर पड़ सकता है। करियर में जल्दबाज़ी में नौकरी बदलने का फैसला लाभकारी नहीं होगा, इसलिए सभी निर्णय सोच-समझकर लें। व्यापार में लाभ और हानि दोनों की स्थिति बन सकती है, इसलिए योजनाबद्ध तरीके से आगे बढ़ना आवश्यक है। आर्थिक तौर पर यात्रा के दौरान धन हानि होने की संभावना है, इसलिए सतर्क रहें। व्यक्तिगत जीवन में जीवनसाथी के साथ गलतफहमी से विवाद हो सकता है और दांपत्य जीवन में तनाव बढ़ सकता है। स्वास्थ्य के मामले में गर्दन, कंधे और टखनों में दर्द की शिकायत हो सकती है, इसलिए सावधानी रखें।
वृषभ राशि
वृषभ राशि के जातकों के लिए इस समय बृहस्पति आठवें और ग्यारहवें भाव के स्वामी हैं और वक्री होकर दूसरे भाव में गोचर करेंगे। इसके प्रभाव से आप अचानक आए धन या उत्तराधिकार से लाभ तो कमा सकते हैं, लेकिन इससे पूर्ण संतुष्टि की भावना नहीं मिलेगी। करियर में कार्यस्थल पर दबाव महसूस हो सकता है, इसलिए धैर्य बनाए रखना आवश्यक है। व्यापार में प्रतियोगिता बढ़ सकती है, जिससे मुनाफे में कमी आ सकती है। आर्थिक स्थिति में कुछ लाभ होने के बावजूद खर्चों में वृद्धि भी संभव है। व्यक्तिगत जीवन में अहंकार के कारण जीवनसाथी के साथ मतभेद हो सकते हैं और रिश्तों में दूरी बन सकती है। स्वास्थ्य की दृष्टि से आंखों से जुड़ी एलर्जी या संक्रमण की समस्या उत्पन्न हो सकती है, इसलिए सावधानी रखें।
मिथुन राशि
मिथुन राशि के जातकों के लिए बृहस्पति सातवें और दसवें भाव के स्वामी हैं और वक्री होकर पहले भाव में गोचर कर रहे हैं। इस स्थिति के कारण आपको मित्रों और सहकर्मियों के प्रति सतर्क रहने की जरूरत है। करियर में सहकर्मियों और वरिष्ठ अधिकारियों के साथ तनावपूर्ण परिस्थितियां आ सकती हैं, इसलिए संयम और समझदारी से काम करना आवश्यक है। व्यवसाय में कार्यों में देरी या बैकलॉग की संभावना है, जिससे लाभ कम हो सकता है। आर्थिक रूप से आय बनी रहेगी, लेकिन खर्च अधिक हो सकते हैं, इसलिए पैसों का संतुलन बनाए रखें। व्यक्तिगत जीवन में अहंकार के कारण जीवनसाथी के साथ मनमुटाव हो सकता है और रिश्तों में दूरी बन सकती है। स्वास्थ्य की दृष्टि से नसों से संबंधित समस्याएं या रोग प्रतिरोधक क्षमता में कमी महसूस हो सकती है।
कर्क राशि
कर्क राशि के जातकों की कुंडली में गुरु ग्रह छठे और नौवें भाव के स्वामी हैं और वक्री होकर बारहवें भाव में गोचर कर रहे हैं। इसका प्रभाव यह रहेगा कि अचानक खर्चों में वृद्धि, कार्यों में देरी और नींद की कमी जैसी परेशानियां उत्पन्न हो सकती हैं। करियर में आपके प्रयासों के परिणाम मध्यम स्तर के रह सकते हैं, लेकिन यदि आप योजना बनाकर काम करेंगे तो सफलता मिलने की संभावना बढ़ सकती है। व्यवसाय में लाभ अपेक्षित स्तर से कम हो सकता है और शीर्ष पर पहुंचना थोड़ा कठिन होगा। आर्थिक दृष्टि से लोन, बीमा या अन्य संभावित स्रोतों से धन प्राप्त होने की संभावना है। व्यक्तिगत जीवन में पुराने पारिवारिक मुद्दों के कारण जीवनसाथी के साथ असंतोष पैदा हो सकता है। स्वास्थ्य की दृष्टि से पैरों में तेज दर्द या कमजोरी महसूस हो सकती है, जो इम्यूनिटी में कमी के कारण हो सकती है।