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चंद रुपयों की खातिर वेश्या बनने को मजबूर हैं यहां की लड़कियां, देखिए कैसे बीत रही इनकी जिंदगी?
फीचर डेस्क, अमर उजाला
Updated Fri, 08 Jun 2018 09:56 AM IST
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चंद रुपयों की खातिर यहां की लड़कियां कई मर्दों के साथ सोती हैं। इस काले सच से शायद आप कभी रूबरू हुए ही न हों, लेकिन हम आपको बताना चाहेंगे कि ये उसी समाज की सच्चाई है जिसमें हम और आप रहते आएं हैं। जी हां, हमारे देश में देह व्यापार को आज भी कानूनी तौर पर अनुमति नहीं दी गई है। इसके बावजूद ऐसे कई रेड लाइट एरिया धड़ल्ले से चल रहे हैं। रोजाना यहां लड़कियां लाई जाती हैं और इस नर्क में उम्रभर सड़ने के लिए उन्हें यहां छोड़ दिया जाता है। दिनों दिन यह कारोबार पैर पसार रहा है। ऐसी ही एक जगह है सोनागाछी जहां पैदा होने वाली लड़कियां अभिशाप भुगतने को मजबूर हो जाती हैं। जानिए कैसी होती है इन लड़कियों की दर्दनाक जिंदगी...
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कोलकाता में स्थित सोनागाछी एशिया का सबसे बड़ा रेड लाइट एरिया बताया जाता है लेकिन ये बात कम ही लोग जानते होंगे कि किसी जमाने में ये जगह सिर्फ नाच-गाने के लिए मशहूर हुआ करती थी। लोग अपना मनोरंजन करने यहां आते थे। वक्त के साथ इस जगह का रूप भी पूरी तरह से बदल गया है।
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आज इस जगह कई गैंग देह-व्यापार का धंधा चला रहे हैं। इस जगह 18 साल से कम उम्र की करीब 14 हजार लड़कियां सेक्स व्यापार में शामिल हैं। लेकिन यहां पैदा होने वाली बच्चियों की जिंदगी शुरुआत से ही नर्क होती है।
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यहां पैदा होने वाली बच्चियों को छोटी उम्र में ही जिस्म की इस मंडी में बेच दिया जाता है या फिर उन्हें कम उम्र में ही देह व्यापार के धंधे में धकेल दिया जाता है। आप जानकर चौंक जाएंगे कि यहां 12 से 17 साल की लड़कियां मर्दों के साथ सोने को मजबूर होती हैं। उससे भी ज्यादा चौंकाने वाली बात तो यह है कि इन्हें किसी मर्द के साथ सोने के 124 रुपए मिलते हैं। दूसरी बड़ी हकीकत यह है कि यहां कोई भी फोटोग्राफर या पत्रकार पैर नहीं रख सकता।
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कोलकाता के इस रेडलाइट एरिया पर Born Into Brothels नाम की फिल्म भी बन चुकी है, जिसे ऑस्कर सम्मान भी मिला है। इस फिल्म में भी इन बदनाम गलियों की सच्चाई को दिखाया गया है। इन तस्वीरों को सौविद दत्ता ने अपने कैमरे में कैद किया है, जिसे The Price of a Child नाम दिया गया है।