पहले लोअर माल रोड, फिर अपर माल रोड और अब अपर माल रोड के नीचे बहने वाली सीवर लाइन खतरे में पड़ती दिखाई दे रही है। अपर माल रोड पर बढ़ रहे वाहनों के दबाव और पानी के कटाव के कारण जगह-जगह सड़क धंस रही है। भूकटाव भी अपर माल रोड के बिल्कुल पास पहुंच चुका है। ऐसे में अपर माल रोड के साथ-साथ नगर में बहने वाली सीवर लाइन भी खतरे में पड़ गई है। रोड टूटने पर सीवर लाइन में जबरदस्त विस्फोट होने का खतरा नगर के बुद्धिजीवी जता रहे हैं। लोनिवि और प्रशासन के अधिकारी भी अपर माल रोड को भूस्खलन से खतरा बता रहे हैं।
नैनीताल: इस वजह से नैनी झील में समा रही माल रोड, जबरदस्त विस्फोट होने का खतरा मंडराया
वहीं, ऐतिहासिक माल रोड का 25 मीटर हिस्सा झील में समाने की मुख्य वजह वाहनों का अत्यधिक दबाव तथा झील की रिटेनिंग वॉल का खोखला होना माना जा रहा है। भू-वैज्ञानिकों को मानना है कि कॉस्मेटिक ट्रीटमेंट (पैचवर्क) की बजाय अब इसे वीप होल (अश्रु छिद्र) व आधुनिक तकनीकी से संवारा जाए। साथ ही यहां बेतहाशा वाहनों का दबाव भी कम करना होगा।
मंगलवार को लोअर माल रोड पर बचाव कार्य होता रहा। बुद्धिजीवियों का कहना है कि अगर अपर माल रोड टूटा तो नगर भर का सीवर नैनी झील में समा जाएगा। इससे आसपास के भवन भी प्रभावित हो सकते हैं। सीवर लाइन की कोई वैकल्पिक व्यवस्था न होने के कारण अपर माल रोड को बचाया जाना और भी ज्यादा जरूरी हो गया है।
जलसंस्थान के अधिकारियों के अनुसार नगर की सीवर लाइन का निर्माण साल 1982-83 में हुआ था। 600 एमएम की इस लाइन की कुल लंबाई 41 किलोमीटर है। लाइन रूसी बाईपास पर जाकर खत्म होती है।
लोनिवि के अधिशासी अधिकारी सीएस नेगी मंगलवार दोपहर को भी मौके पर निरीक्षण करने पहुंचे। यहां उन्होंने लगाए जा रहे जीओ बैग का निरीक्षण किया। नेगी ने कहा कि अब लोअर माल रोड पर और कटाव न होने पाए। लोअर माल रोड का निर्माण शासन से 58 लाख रुपये मिलने के बाद शुरू कराया जाएगा। इसके बाद विचार किया जाएगा कि लोअर माल रोड पर चारपहिया वाहनों को बंद रखा जाएगा।
नगर की सीवर लाइन अपर माल रोड के नीचे से गुजर रही है। अपर माल रोड के क्षतिग्रस्त होने का असर निश्चित तौर पर सीवर लाइन पर पड़ेगा।
-दिलीप सिंह बिष्ट, एई जलसंस्थान।