कापसहेड़ा से मोरी गेट जाने वाली रूट नंबर-729 की डीटीसी बस की अधिकतर सवारी पुरानी दिल्ली रेलवे स्टेशन जाने के लिए थी। दिल्ली गेट पहुंचने से पहले ही परिचालक ने बताया कि लालकिले पर प्रदर्शन चल रहा है, सभी सवारियां दिल्ली गेट पर उतर जाएं। मजबूरन बस छोड़नी पड़ी। नीचे आकर मेट्रो लेने की सोची तो उसका भी गेट बंद मिला।
नागरिकता संशोधन कानूनः पैदल हुई पुरानी दिल्ली, सभी रास्ते बंद, भटकते रहे लोग
ऑटो, टैक्सी, रिक्शा जैसे दूसरे वाहन भी दिल्ली गेट से सुभाष मार्ग बंद होने पर नहीं मिल रहे थे। ऐसे में पैदल ही मार्च करना पड़ा। थोड़ा आगे बढ़ने पर पुलिस ने सीधे रास्ते पर पैदल जाने से भी मना कर दिया। किसी तरह जामा मस्जिद इलाके से करीब तीन किलोमीटर का चक्कर लगाकर लालकिला पहुंचा हूं। आगे अभी एक किलोमीटर का रास्ता और तय करना है।
लाल किले के पास सिर पर भारी बैग लादे हाड़ कंपाने वाली ठंड में पसीने से तरबतर सुशांत झा ने एक ही सांस में अपनी आपबीती सुना डाली। इस दौरान उसके चेहरे पर गुस्सा साफ दिख रहा था। ऐसा हाल सिर्फ सुशांत का ही नहीं था बल्कि सैकड़ों ऐसे लोग थे, जिन्हें लालकिला की ओर जाने वाले रास्ते बंद होने से परेशानियों का सामना करना पड़ा।
लाल किले की ओर जाने वाली भीड़ को रोकने के लिए पुलिस ने दिल्ली गेट पर ही नहीं बल्कि उससे आगे बढ़ने पर जामा मस्जिद, उससे 20 कदम आगे रिंग रोड पर जाने वाले रास्ते और लालकिले से आगे लाला लाजपत राय चौक व जीपीओ के पास बैरिकेड लगाकर पूरी तरह से बंद कर दिया था। दिल्ली गेट से लाल किला की ओर जाने वाले वाहनों को रिंग रोड पर डायवर्ट कर दिया गया था। रिंग रोड पर वाहनों का दबाव बढ़ने से दिनभर जाम की स्थिति बनी रही।