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India vs Pakistan: अब एलओसी को मानने के लिए बाध्य नहीं भारत, पाकिस्तान पर भारी पड़ेगा शिमला समझौते का निलंबन

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली Published by: अभिषेक दीक्षित Updated Fri, 25 Apr 2025 09:08 AM IST
सार

पहलगाम में आतंकी हमले के बाद सुरक्षा मामलों की कैबिनेट समिति (सीसीएस) की बैठक में कई बड़े फैसले लिए गए थे। इसमें 1960 की सिंधु जल संधि को तत्काल प्रभाव से स्थगित कर दिया गया था। इसके बाद से ही बौखलाए पाकिस्तान ने अपने पैरों पर कुल्हाड़ी मारने वाले कदम उठाने शुरू कर दिए हैं। आइए जानते हैं विस्तार से...

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Pahalgam Terror Attack: Now India is not bound to accept LoC Shimla Agreement suspension will cost Pakistan
भारत-पाकिस्तान तनाव - फोटो : Amar Ujala
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पाकिस्तान की ओर से भारत संग द्विपक्षीय समझौतों को स्थगित करने के अधिकार का उपयोग बिना सोच-विचार के उठाया गया है। दरअसल, दोनों के बीच 1972 में हुए शिमला समझौते का निलंबन आतंकियों के पनाहगाह पाकिस्तान को भारी पड़ सकता है। शिमला समझौते का मुख्य बिंदु नियंत्रण रेखा (एलओसी) की पवित्रता को बनाए रखना है। समझौता निलंबित होने का अर्थ है कि कोई भी पक्ष एलओसी को मानने के लिए बाध्य नहीं है और भारत एलओसी को पार कर कोई भी कार्रवाई कर सकता है।

दरअसल, पाकिस्तान के प्रधानमंत्री कार्यालय से गुरुवार को जारी बयान का अहम बिंदु है कि पाकिस्तान भारत के साथ सभी द्विपक्षीय समझौतों को स्थगित करने के अधिकार का प्रयोग करेगा। इसमें शिमला समझौता भी शामिल है और यह कार्रवाई केवल इसी तक सीमित नहीं है। यह ध्यान देना महत्वपूर्ण है कि पाकिस्तान ने बयान में यह नहीं कहा कि वह अधिकार के इस्तेमाल को सुरक्षित रखता है, बल्कि उसने कहा है कि वह अधिकार का प्रयोग करेगा। इसका अर्थ है कि आज, कल या बहुत जल्द वह निश्चित रूप से इन सभी समझौतों को निलंबित करेगा।

दूसरे शब्दों में इसका अर्थ है कि पाकिस्तान ने सभी द्विपक्षीय समझौतों को निलंबित कर दिया है। इसके प्रमुख प्रभाव भी नजर आएंगे। यह बहुत संभव है कि पाकिस्तान ने इन सभी कदमों के परिणामों के बारे में नहीं सोचा है और बौखलाहट में उसने इनकी घोषणा कर दीं। इसका नुकसान पाकिस्तान को ही होगा।

यह भी पढ़ें- भारत से डरा पाकिस्तान: पड़ोसी मुल्क की सेना ने नियंत्रण रेखा पर की गोलीबारी, भारत ने दिया कायराना हरकत का जवाब

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Pahalgam Terror Attack: Now India is not bound to accept LoC Shimla Agreement suspension will cost Pakistan
LoC - फोटो : ANI

भारत पार कर सकता है नियंत्रण रेखा
बयान का अर्थ समझें तो पाकिस्तान यह कह रहा है कि अब एलओसी अस्तित्व में नहीं है। इसका मतलब है कि भारत एलओसी पार कर सकता है। शिमला समझौते ने एलओसी को स्थायी सीमा के रूप में मान्यता दी थी। इसके तहत दोनों देशों ने बल प्रयोग न करने और नियंत्रण रेखा का सम्मान करने की प्रतिबद्धता जताई थी। इसके निलंबन पर भारत नियंत्रण रेखा के पार विशेष रूप से पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में अधिक आक्रामक रणनीति अपना सकता है। भारत पीओके के लोगों के साथ सीधा संपर्क स्थापित कर सकता है। इससे क्षेत्रीय तनाव और बढ़ सकता है। इसका खामियाजा पाकिस्तान को उठाना पड़ सकता है।

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शिमला समझौता पाकिस्तान ने रद्द किया - फोटो : अमर उजाला

कश्मीर पर भारत का रुख और मजबूत होगा
शिमला समझौता कश्मीर को द्विपक्षीय मुद्दा बनाए रखने का आधार है। यह समझौता दोनों देशों को आपसी बातचीत और शांतिपूर्ण तरीकों से कश्मीर मुद्दे को हल करने के लिए बाध्य करता है। इसके निलंबन से भारत को मजबूत तर्क मिल जाएगा कि पाकिस्तान ने स्वयं ही इस समझौते को खारिज कर दिया है। इसके परिणामस्वरूप, भारत कश्मीर पर अपनी नीतियों को और मजबूत करने के लिए स्वतंत्र हो जाएगा।

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ग्लोबल फायरपावर इंडेक्स - फोटो : अमर उजाला

पूरी दुनिया को परमाणु विनाश की धमकी देने वाला कदम
अनजाने में होने वाले परमाणु हमलों को रोकने के लिए भारत-पाकिस्तान में दो समझौते हुए हैं। बयान पर भरोसा करें तो अब यह समझौते भी स्थगित हो गए हैं। यह पाकिस्तान की ओर से पूरी दुनिया को परमाणु विनाश की धमकी देने वाला चौंकाने वाला कदम है। इसी तरह बैलिस्टिक मिसाइल परीक्षणों की पूर्व सूचना देने के बारे में भी एक समझौता है। इस तरह के समझौते के बिना, और परमाणु गलतफहमियों को रोकने वाले समझौतों के मद्देनजर, ऐसी गंभीर गलतफहमियों का जोखिम बढ़ जाएगा।

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भारत सरकार ने पाकिस्तान के खिलाफ लिए कड़े फैसले - फोटो : अमर उजाला

कूटनीतिक विश्वसनीयता को नुकसान
समझौते के निलंबन से पाकिस्तान की पहले से ही कमजोर कूटनीतिक विश्वसनीयता और कमजोर होगी। वैश्विक समुदाय इसे गैर-जिम्मेदाराना कदम के रूप में देखेगा और पाकिस्तान का अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अलगाव बढ़ सकता है। ऐसे में, आर्थिक संकट से जूझ रहे पाकिस्तान के लिए अंतरराष्ट्रीय समर्थन जुटाना और भी मुश्किल हो जाएगा।

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