भारत सहित दुनिया के कई देशों में पिछले एक महीने से कोरोना संक्रमण के मामलों में उछाल देखा जा रहा है। केंद्र सरकार द्वारा सोमवार को जारी आंकड़ों के मुताबिक देश में पिछले 24 घंटे में 636 लोगों में संक्रमण की पुष्टि की गई है। इसके साथ अब देश में देश में कोरोना का केस लोड धीरे-धीरे बढ़कर 4,394 तक पहुंच गया है। 24 घंटे की अवधि में तीन और मौतों के साथ, अब तक कुल मृत्यु की संख्या 5,33,364 हो गई है। इससे पहले रविवार को देश में कोरोना के 841 नए केस दर्ज किए गए, जो सात महीनों में सबसे अधिक था।
Covid-19: कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच विशेषज्ञों ने साझा की राहत भरी जानकारी, इन बातों को लेकर किया अलर्ट
संक्रमण में दर्ज की जा रही है वृद्धि
पिछले कुछ हफ्तों के आंकड़ों पर नजर डालें तो पता चलता है कि संक्रमण में लगातार वृद्धि रिपोर्ट की जा रही है। हालिया रिपोर्ट के मुताबिक देश में इस सप्ताह कोविड मामलों में 22% की वृद्धि देखी गई है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने चिंता जताते हुए अगले 10-15 दिन सभी लोगों को विशेष सावधानी बरतते रहने की अपील की है।
राज्यवर कोरोना की स्थिति पर नजर डालें तो पता चलता है कि केरल में संक्रमण के मामलों में 24% की गिरावट आई है। इसके विपरीत, कर्नाटक और महाराष्ट्र में मामले बढ़ रहे हैं। कर्नाटक में संक्रमण के मामले 309 से तीन गुना बढ़कर 922 हो गए हैं।
बढ़ते संक्रमण के बीच राहत की खबर
स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं देश में संक्रमण के मामलों में जरूर उछाल देखा जा रहा है, पर राहत की बात ये है कि अब भी रिकवरी रेट (98.81 प्रतिशत) काफी अच्छी है। इसका मतलब है कि कोरोना से लोग संक्रमित तो हो रहे हैं पर आसानी से ठीक भी हो रहे हैं। दूसरी बात- कोरोना का ये नया वैरिएंट JN.1 गंभीर रोगकारक नहीं है, अधिकतर लोगों में संक्रमण की स्थिति में हल्के लक्षण ही देखे जा रहे हैं। गंभीर रोग का खतरा सिर्फ कमजोर इम्युनिटी या फिर कोमोरबिडिटी वालों में हो सकती है।
स्वास्थ्य विशेषज्ञों की सलाह
स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, इस नए वैरिएंट की प्रकृति जिस तरह की है उसे देखते हुए संक्रमण का खतरा किसी को भी हो सकता है, भले ही आप वैक्सीन की बूस्टर डोज ले चुके हैं। ऐसे में संक्रमण से बचाव के लिए सभी लोगों को लगातार सावधानी बरतते रहना जरूरी है। अगर आप संक्रमित हो जाते हैं, भले ही आपमें लक्षण हल्के स्तर के हैं तो भी सावधानी बरतें। ऐसे लोग, परिवार के बुजुर्गों और उन लोगों के लिए समस्याएं बढ़ा सकते हैं जिनको कोमोरबिडिटी की समस्या है। इसलिए कोरोना को हल्के में लेने की गलती नहीं करनी चाहिए और लगातार कोविड एप्रोप्रिएट बिहेवियर का पालन करते रहना जरूरी है।
--------------
नोट: यह लेख मेडिकल रिपोर्टस से एकत्रित जानकारियों के आधार पर तैयार किया गया है।
अस्वीकरण: अमर उजाला की हेल्थ एवं फिटनेस कैटेगरी में प्रकाशित सभी लेख डॉक्टर, विशेषज्ञों व अकादमिक संस्थानों से बातचीत के आधार पर तैयार किए जाते हैं। लेख में उल्लेखित तथ्यों व सूचनाओं को अमर उजाला के पेशेवर पत्रकारों द्वारा जांचा व परखा गया है। इस लेख को तैयार करते समय सभी तरह के निर्देशों का पालन किया गया है। संबंधित लेख पाठक की जानकारी व जागरूकता बढ़ाने के लिए तैयार किया गया है। अमर उजाला लेख में प्रदत्त जानकारी व सूचना को लेकर किसी तरह का दावा नहीं करता है और न ही जिम्मेदारी लेता है। उपरोक्त लेख में उल्लेखित संबंधित बीमारी के बारे में अधिक जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से परामर्श लें।