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Bihar News: निरीक्षण में गायब मिले स्वास्थ्यकर्मियों से 11 दिन बाद पूछा कारण; शोकॉज में देरी का प्रमाण देखिए
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, पटना
Published by: आदित्य आनंद
Updated Wed, 17 Dec 2025 03:32 PM IST
सार
पटना के एक प्राथमिकी स्वास्थ्य केंद्र पर सिविल सर्जन अचानक पहुंचे तो दंग रह गए। केंद्र के 15 स्वास्थ्यकर्मी ड्यूटी पर नहीं थे। इसके बाद सिविल सर्जन ने फौरन इन पर कार्रवाई कर निर्देश दिया।
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सिविल सर्जन ने किया निरीक्षण।
- फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
पटना में दिसंबर के पहले सप्ताह में सिविल सर्जन (सीएस) द्वारा दानापुर-खगौल स्थित प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के औचक निरीक्षण के दौरान 15 से अधिक स्वास्थ्यकर्मी ड्यूटी से गायब पाए गए। इनमें डॉ. रंजन कुमार (चिकित्सा पदाधिकारी), डॉ. निधि कुमारी (विशेषज्ञ चिकित्सा पदाधिकारी), डॉ. अर्चना सिंह (चिकित्सा पदाधिकारी), जीएनएम कंचन कुमारी, नीतू कुमारी, दीपिका इक्का तथा एएनएम सुषमा कुमारी, मोनिका रानी, आभा कुमारी, आशा कुमारी, सोनी कुमारी, मुबारकपुर की एएनएम सुषमा कुमारी, आरती कुमारी, मीना कुमारी सिन्हा और कार्यालय परिचारी उषा कुमारी शामिल हैं। सभी अनुपस्थित स्वास्थ्यकर्मियों से सीएस ने स्पष्टीकरण मांगा है।
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24 घंटे के भीतर स्पष्टीकरण देने को कहा है
इस मामले में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र की प्रभारी डॉ. अनुपमा सिन्हा ने 15 दिसंबर को पत्र जारी कर सभी संबंधित कर्मियों से 24 घंटे के भीतर स्पष्टीकरण देने को कहा है। बताया जाता है कि चार दिसंबर को सीएस डॉ. अविनाश कुमार सिंह ने खगौल–दानापुर का औचक निरीक्षण किया था, जिसके बाद स्वास्थ्य महकमे में इसे महज ‘आईवॉश’ बताया जा रहा था। ऐसे में 4 दिसंबर को निरीक्षण के बाद 15 दिसंबर को स्पष्टीकरण मांगे जाने को लेकर भी सवाल उठ रहे हैं। उल्लेखनीय है कि संविदा पर कार्यरत सीएचओ के लिए ऑनलाइन उपस्थिति अनिवार्य की गई है, लेकिन यह आदेश चिकित्सकों, जीएनएम, एएनएम, हेल्थ मैनेजर, एकाउंटेंट और अन्य स्वास्थ्यकर्मियों पर लागू नहीं होता।
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