{"_id":"69399308081266202602003b","slug":"india-us-talks-ustr-says-us-receives-best-ever-offers-from-india-two-day-talks-begin-2025-12-10","type":"story","status":"publish","title_hn":"India US Talks: 'अमेरिका को भारत से अब तक के सर्वश्रेष्ठ प्रस्ताव मिले', यूएसटीआर ने ऐसा क्यों कहा जानिए","category":{"title":"Business Diary","title_hn":"बिज़नेस डायरी","slug":"business-diary"}}
India US Talks: 'अमेरिका को भारत से अब तक के सर्वश्रेष्ठ प्रस्ताव मिले', यूएसटीआर ने ऐसा क्यों कहा जानिए
बिजनेस डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: कुमार विवेक
Updated Wed, 10 Dec 2025 09:04 PM IST
सार
India US Talks: अमेरिका के ट्रेड रिप्रेजेंटेटिव ने कहा कि भारत से व्यापार समझौते पर 'अब तक के सर्वश्रेष्ठ' प्रस्ताव मिले हैं। 50% टैरिफ विवाद और बाजार पहुंच को लेकर नई दिल्ली में दो दिवसीय उच्च स्तरीय वार्ता शुरू हो गई है। पढ़ें पूरी रिपोर्ट।
विज्ञापन
भारत अमेरिका व्यापार समझौता (प्रतीकात्मक)
- फोटो : एडॉब स्टॉक
विज्ञापन
विस्तार
भारत-अमेरिका आर्थिक संबंधों के लिए एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम में यूनाइटेड स्टेट्स ट्रेड रिप्रेजेंटेटिव (USTR) जेमिसन ग्रीर ने खुलासा किया है कि वाशिंगटन को प्रस्तावित व्यापार समझौते के संबंध में नई दिल्ली से अब तक के सबसे अच्छे प्रस्ताव मिले हैं। यह बयान बुधवार को दिल्ली में दो दिवसीय उच्च स्तरीय वार्ता शुरू होने के ठीक बाद आया है, जिसका उद्देश्य गहरे होते टैरिफ गतिरोध को दूर करना है। मंगलवार को वाशिंगटन में सीनेट विनियोग उपसमिति की सुनवाई में बोलते हुए, ग्रीर ने सतर्कता के साथ व्यापार समझौते पर उम्मीद जताई। उन्होंने स्वीकार किया कि हालांकि भारत अब भी एक कठिन चुनौती बना हुआ है, लेकिन वार्ता की वर्तमान दिशा आशाजनक है।
Trending Videos
ग्रीर ने सीनेट पैनल को बताया, "वे जिस तरह के प्रस्तावों के बारे में हमसे बात कर रहे हैं... वे एक देश के रूप में हमें अब तक मिले सबसे अच्छे प्रस्ताव हैं।" उन्होंने इस बात पर प्रकाश डाला कि जहां कुछ अमेरिकी 'रो क्रॉप्स' विशेष रूप से मक्का, सोयाबीन, गेहूं और कपास के लिए बाजार खोलने को लेकर भारत में अभी भी प्रतिरोध है, वहीं अन्य क्षेत्रों में नई दिल्ली का रुख 'काफी सकारात्मक और आगे बढ़ने वाला' रहा है। ग्रीर ने वाशिंगटन की अपने निर्यात स्थलों में विविधता लाने की बढ़ती रुचि का संकेत देते हुए कहा, "मुझे लगता है कि यह एक व्यवहार्य वैकल्पिक बाजार है।"
विज्ञापन
विज्ञापन
इन टिप्पणियों ने नई दिल्ली में चल रही महत्वपूर्ण चर्चाओं के लिए एक रचनात्मक पृष्ठभूमि तैयार की है। डिप्टी ट्रेड रिप्रेजेंटेटिव रिक स्विट्जर के नेतृत्व में एक अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल ने बुधवार को औपचारिक वार्ता शुरू की। स्विट्जर ने प्रस्तावित द्विपक्षीय व्यापार समझौते की प्रगति की समीक्षा के लिए भारत के वाणिज्य सचिव राजेश अग्रवाल के साथ विस्तृत चर्चा की।
वाणिज्य विभाग ने सोशल मीडिया पर एक बयान में पुष्टि की, "दोनों पक्षों ने भारत-अमेरिका व्यापार और आर्थिक संबंधों से जुड़े मामलों पर विचारों का आदान-प्रदान किया, जिसमें पारस्परिक रूप से लाभप्रद द्विपक्षीय व्यापार समझौते के लिए चल रही बातचीत भी शामिल है।" यह वार्ता काफी दबाव के बीच हो रही है। ट्रम्प प्रशासन ने हाल ही में अमेरिकी बाजारों में प्रवेश करने वाले भारतीय सामानों पर 50 प्रतिशत का भारी शुल्क लगाया है। इसमें शुरुआत में लगभग 46 बिलियन अमेरिकी डॉलर (2024-25) के व्यापार घाटे का हवाला देते हुए 25 प्रतिशत शुल्क लगाया गया था, जिसके बाद भारत द्वारा रूसी कच्चे तेल की खरीद से जोड़कर 25 प्रतिशत का अतिरिक्त जुर्माना लगाया गया।
भारतीय उद्योग और निर्यातकों के लिए, इस वार्ता में कोई सफलता मिलना महत्वपूर्ण है। अमेरिका भारत के कुल वस्तु निर्यात का लगभग 18 प्रतिशत हिस्सा है और निषेधात्मक शुल्क प्रतिस्पर्धा को बुरी तरह प्रभावित कर रहे हैं। अक्तूबर में अमेरिका को होने वाले वस्तु निर्यात में लगातार दूसरे महीने गिरावट देखी गई, जो 8.58 प्रतिशत गिरकर 6.3 बिलियन डॉलर रह गया।