Delhi Riots Case: आरोपी उमर खालिद को फिर झटका, कोर्ट ने जमानत याचिका की खारिज
दिल्ली दंगा मामले में आरोपी उमर खालिद की जमानत याचिका को कड़कड़डूमा कोर्ट ने खारिज कर दिया है।
विस्तार
राजधानी दिल्ली में 2020 में हुए दंगा मामले में आरोपी उमर खालिद को फिर से झटका लगा है। कड़कड़डूमा कोर्ट ने दिल्ली दंगों की बड़ी साजिश के मामले में उमर खालिद की जमानत याचिका खारिज कर दी है।
Delhi's Karkardooma Court rejects the bail application of Umar Khalid in larger conspiracy of Delhi riots case. He is accused in UAPA case related to 2020 Delhi riots. He sought a regular bail in the matter. It was his second bail application.
विज्ञापन— ANI (@ANI) May 28, 2024विज्ञापन
उमर खालिद 2020 के दिल्ली दंगों से जुड़े यूएपीए मामले में आरोपी है। उसने इस मामले में नियमित जमानत मांगी थी। कोर्ट ने दूसरी जमानत याचिका को भी खारिज कर दिया है।
इन विवादों में आ चुका है उमर खालिद का नाम
जेएनयू के छात्रों के अनुसार खालिद ने अपने साथियों के साथ जेएनयू कैंपस में हिंदू देवी देवताओं की आपत्तिजनक तस्वीरें लगाकर नफरत फैलाने की कोशिश की थी। केवल इतना ही नहीं वह उस समारोह में भी शामिल थे जब आतंकी अफजल की फांसी पर जेएनयू कैंपस में मातम मनाया गया था।
खालिद इससे पहले कई मौकों पर कश्मीर की आजादी की मांग को उठाते रहे हैं। 2010 में छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा में जब सीआरपीएफ जवानों की हत्या हुई थी तो उसपर जश्न मनाने वाले लोगों में वह भी शामिल थे। हालांकि इस मामले पर उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई थी।
कौन है उमर खालिद
लगभग तीन दशक पहले उमर खालिद का परिवार महाराष्ट्र के अमरावती के तालेगांव से दिल्ली आकर बस गया था। उमर परिवार के साथ दिल्ली के जाकिरनगर में रहते हैं। हालांकि किसी ने उन्हें यहां शायद ही कभी देखा होगा। ऐसा बताया जाता है उनके पिता सैयद कासिम रसूल इलियास दिल्ली में ही ऊर्दू की मैगजिन ‘अफकार-ए-मिल्ली’ चलाते हैं। खालिद जेएनयू के स्कूल ऑफ सोशल साइंस से इतिहास में पीएचडी कर रहे हैं। यहीं से वह इतिहास में एमए और एमफिल कर चुके हैं।
खालिद जिस डीएसयू संगठन से जुड़े हैं, उसे सीपीआई माओवादी समर्थित छात्र संगठन माना जाता है। 9 फरवरी को देश विरोधी नारे लगाने का आरोप लगने के बाद उमर खालिद अचानक गायब हो गए थे। उन्हें पकड़ने के लिए दिल्ली पुलिस ने कई जगहों पर छापेमारी की थी। जिसके बाद खबरें आई थी कि उनका संबंध आतंकी संगठन से है। ऐसी भी खबरें सामने आई थीं कि खालिद कई विश्वविद्यालयों में आतंकी अफजल गुरु का गुणगान करवाना चाहता था। जेएनयू जैसा कार्यक्रम उसने देश के 18 विश्वविद्यालयों में करने की योजना बनाई थी।