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जेल से बाहर आए प्रोफेसर अली खान: ऑपरेशन सिंदूर पर की थी टिप्पणी; 5 दिन पहले हुए थे गिरफ्तार
संवाद न्यूज एजेंसी, सोनीपत
Published by: शाहिल शर्मा
Updated Thu, 22 May 2025 06:18 PM IST
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सार
प्रोफेसर अली खान महमूदाबाद गुरुवार को पांच दिन बाद जेल से बाहर आए। उन पर ऑपरेशन सिंदूर को लेकर सोशल मीडिया पर टिप्पणी करने का आरोप था जिसको लेकर उन पर दो FIR दर्ज करवाई गई थी। डिटेल में पढ़ें खबर...

असिस्टेंट प्रोफेसर अली खान महमूदाबाद
- फोटो : IANS
विस्तार
अशोका यूनिवर्सिटी के असिस्टेंट प्रोफेसर अली खान महमूदाबाद, जिन्हें ऑपरेशन सिंदूर पर सोशल मीडिया पोस्ट के लिए गिरफ्तार किया गया था। उन्हें बुधवार को सुप्रीम कोर्ट ने अंतरिम जमानत दे दी थी जिसके बाद गुरुवार को उन्हें सोनीपत जेल से रिहा कर दिया गया। रिहाई के दौरान असिस्टेंट प्रोफेसर अली खान ने मीडिया के कैमरों से दूरी बनाए रखी और जल्दी से गाड़ी में सवार होकर रवाना हो गए। उनके वकील ने भी मीडिया से बात करने से परहेज किया।
SIT करेगी मामले की जांच
सुप्रीम कोर्ट ने जमानत देते हुए हरियाणा पुलिस द्वारा दर्ज दो FIR की जांच पर रोक लगाने से इनकार कर दिया। कोर्ट ने हरियाणा DGP को 24 घंटे के भीतर तीन वरिष्ठ IPS अधिकारियों, जिनमें एक महिला अधिकारी शामिल हो, का एक विशेष जांच दल (SIT) गठित करने का निर्देश दिया है। कोर्ट ने यह भी शर्त रखी कि असिस्टेंट प्रोफेसर महमूदाबाद ऑपरेशन सिंदूर, हाल के आतंकी हमले या भारत की जवाबी कार्रवाई पर कोई टिप्पणी, लेख या भाषण नहीं देंगे।
18 मई को हुई थी गिरफ्तारी
इसके साथ ही, उन्हें अपना पासपोर्ट सोनीपत के मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट को सौंपने का आदेश दिया गया। बता दें कि असिस्टेंट प्रोफेसर अली खान को 18 मई को दिल्ली के ग्रेटर कैलाश से गिरफ्तार किया गया था। उनके खिलाफ दो FIR दर्ज की गई थीं। इनमें से एक एफआईआर हरियाणा BJP युवा मोर्चा के महासचिव योगेश जठेरी की शिकायत पर की गई थी और दूसरी हरियाणा महिला आयोग की अध्यक्ष रेणु भाटिया की शिकायत पर की गई थी। FIR में प्रोफेसर पर देश की संप्रभुता और अखंडता को खतरा पहुंचाने, सांप्रदायिक नफरत फैलाने और महिला सैन्य अधिकारियों का अपमान करने जैसे गंभीर आरोप लगाए गए थे।
ये भी पढ़ें: SC: 'यह सस्ती लोकप्रियता पाने की कोशिश', जानें सुप्रीम कोर्ट ने अशोका विवि के प्रोफेसर अली खान से क्या कहा?
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सुप्रीम कोर्ट ने जमानत देते हुए हरियाणा पुलिस द्वारा दर्ज दो FIR की जांच पर रोक लगाने से इनकार कर दिया। कोर्ट ने हरियाणा DGP को 24 घंटे के भीतर तीन वरिष्ठ IPS अधिकारियों, जिनमें एक महिला अधिकारी शामिल हो, का एक विशेष जांच दल (SIT) गठित करने का निर्देश दिया है। कोर्ट ने यह भी शर्त रखी कि असिस्टेंट प्रोफेसर महमूदाबाद ऑपरेशन सिंदूर, हाल के आतंकी हमले या भारत की जवाबी कार्रवाई पर कोई टिप्पणी, लेख या भाषण नहीं देंगे।
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18 मई को हुई थी गिरफ्तारी
इसके साथ ही, उन्हें अपना पासपोर्ट सोनीपत के मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट को सौंपने का आदेश दिया गया। बता दें कि असिस्टेंट प्रोफेसर अली खान को 18 मई को दिल्ली के ग्रेटर कैलाश से गिरफ्तार किया गया था। उनके खिलाफ दो FIR दर्ज की गई थीं। इनमें से एक एफआईआर हरियाणा BJP युवा मोर्चा के महासचिव योगेश जठेरी की शिकायत पर की गई थी और दूसरी हरियाणा महिला आयोग की अध्यक्ष रेणु भाटिया की शिकायत पर की गई थी। FIR में प्रोफेसर पर देश की संप्रभुता और अखंडता को खतरा पहुंचाने, सांप्रदायिक नफरत फैलाने और महिला सैन्य अधिकारियों का अपमान करने जैसे गंभीर आरोप लगाए गए थे।
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