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Yamuna Nagar News: सरकारी कार्यालयों में घूमते रहते लावारिस कुत्ते, लोगों में खौफ
संवाद न्यूज एजेंसी, यमुना नगर
Updated Thu, 04 Dec 2025 01:19 AM IST
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सिविल अस्पताल में बैठे लावारिस कुत्ते। संवाद
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संवाद न्यूज एजेंसी
यमुनानगर। जिला के सरकारी कार्यालयों में लावारिस कुत्तों ने इस तरह से डेरा जमाया हुआ है जैसे वहीं इनके घर हों। कार्यालयों में लावारिस कुत्तों की बढ़ती संख्या लोगों के लिए परेशानी का कारण बन गई है। जिला नागरिक अस्पताल, डीएफएससी कार्यालय और अन्य सरकारी दफ्तरों में कुत्तों की मौजूदगी लगातार बढ़ रही है।
ये कुत्ते न केवल कार्यालयों में बैठे रहते हैं, बल्कि मरीजों और शिकायत लेकर आने वाले नागरिकों के लिए भी खतरा बन चुके हैं। कई बार अस्पताल में कुत्तों ने मरीजों को काट भी लिया है, जिससे एक तरफ जहां स्वास्थ्य सेवाओं में रुकावट आ रही है, वहीं दूसरी तरफ कार्यालयों में कामकाजी माहौल पर भी असर पड़ रहा है।
अस्पताल में आए दिन लावारिस कुत्तों के हमले के मामलों की शिकायतें मिल रही हैं। कई बार मरीजों को अस्पताल परिसर में घूमते हुए कुत्तों से बचने के लिए डरे-डरे रहना पड़ता है। दूसरी ओर, अन्य सरकारी कार्यालयों में भी इन कुत्तों के कारण कर्मचारियों और आम जनता को परेशानी हो रही है। इन कुत्तों के पीछे दौड़ने से कई बार नागरिक गिरकर चोटिल हो जाते हैं।
वहीं कार्यालयों में काम करने वाले कर्मचारियों को भी यह समस्या बन चुकी है। इस समस्या से निपटने के लिए कर्मचारियों ने कुत्तों के बैठने के लिए बोरी और कंबल तक डाल रखे हैं, जो कि स्थिति की गंभीरता को दर्शाता है। यमुनानगर में हर माह औसतन 550 से 600 लोग लावारिस कुत्तों के काटने से घायल हो रहे हैं।
कुत्तों की बढ़ती संख्या और उनके द्वारा उत्पन्न खतरे ने लोगों की चिंता को और बढ़ा दिया है। हालांकि, नगर निगम ने इस समस्या के समाधान के लिए कुत्तों की नसबंदी और टीकाकरण के लिए एजेंसी को वर्क ऑर्डर जारी कर दिया है, लेकिन कार्य अब तक शुरू नहीं हो पाया है। इससे यह सवाल खड़ा हो रहा है कि जब तक यह कार्य नहीं शुरू होगा, तब तक लावारिस कुत्तों के काटने के मामलों में और भी वृद्धि हो सकती है।
समस्या का शीघ्र समाधान किया जाए : बृजपाल सिंह
वरिष्ठ नागरिक बृजपाल सिंह का कहना है कि प्रशासन को इस गंभीर समस्या का शीघ्र समाधान करना चाहिए ताकि लोगों को कुत्तों के हमलों से बचाया जा सके। कुत्तों की नसबंदी और टीकाकरण के साथ-साथ उन्हें उचित स्थानों पर भेजने की योजना बनाई जाए, ताकि समस्या का स्थायी हल निकल सके। फिलहाल, नागरिकों को इस स्थिति से निजात पाने के लिए अधिकारियों से उम्मीद है कि वे जल्द इस दिशा में ठोस कदम उठाएंगे।
नगर निगम ने कुत्तों की नसबंदी व टीकाकरण का वर्क ऑर्डर जारी कर दिया है। जल्द ही एजेंसी अपना कार्य शुरू कर देगी। इसके बाद लावारिस कुत्तों की बढ़ती संख्या पर अंकुश लग जाएगा। - सुमन बहमनी, मेयर, नगर निगम।
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यमुनानगर। जिला के सरकारी कार्यालयों में लावारिस कुत्तों ने इस तरह से डेरा जमाया हुआ है जैसे वहीं इनके घर हों। कार्यालयों में लावारिस कुत्तों की बढ़ती संख्या लोगों के लिए परेशानी का कारण बन गई है। जिला नागरिक अस्पताल, डीएफएससी कार्यालय और अन्य सरकारी दफ्तरों में कुत्तों की मौजूदगी लगातार बढ़ रही है।
ये कुत्ते न केवल कार्यालयों में बैठे रहते हैं, बल्कि मरीजों और शिकायत लेकर आने वाले नागरिकों के लिए भी खतरा बन चुके हैं। कई बार अस्पताल में कुत्तों ने मरीजों को काट भी लिया है, जिससे एक तरफ जहां स्वास्थ्य सेवाओं में रुकावट आ रही है, वहीं दूसरी तरफ कार्यालयों में कामकाजी माहौल पर भी असर पड़ रहा है।
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अस्पताल में आए दिन लावारिस कुत्तों के हमले के मामलों की शिकायतें मिल रही हैं। कई बार मरीजों को अस्पताल परिसर में घूमते हुए कुत्तों से बचने के लिए डरे-डरे रहना पड़ता है। दूसरी ओर, अन्य सरकारी कार्यालयों में भी इन कुत्तों के कारण कर्मचारियों और आम जनता को परेशानी हो रही है। इन कुत्तों के पीछे दौड़ने से कई बार नागरिक गिरकर चोटिल हो जाते हैं।
वहीं कार्यालयों में काम करने वाले कर्मचारियों को भी यह समस्या बन चुकी है। इस समस्या से निपटने के लिए कर्मचारियों ने कुत्तों के बैठने के लिए बोरी और कंबल तक डाल रखे हैं, जो कि स्थिति की गंभीरता को दर्शाता है। यमुनानगर में हर माह औसतन 550 से 600 लोग लावारिस कुत्तों के काटने से घायल हो रहे हैं।
कुत्तों की बढ़ती संख्या और उनके द्वारा उत्पन्न खतरे ने लोगों की चिंता को और बढ़ा दिया है। हालांकि, नगर निगम ने इस समस्या के समाधान के लिए कुत्तों की नसबंदी और टीकाकरण के लिए एजेंसी को वर्क ऑर्डर जारी कर दिया है, लेकिन कार्य अब तक शुरू नहीं हो पाया है। इससे यह सवाल खड़ा हो रहा है कि जब तक यह कार्य नहीं शुरू होगा, तब तक लावारिस कुत्तों के काटने के मामलों में और भी वृद्धि हो सकती है।
समस्या का शीघ्र समाधान किया जाए : बृजपाल सिंह
वरिष्ठ नागरिक बृजपाल सिंह का कहना है कि प्रशासन को इस गंभीर समस्या का शीघ्र समाधान करना चाहिए ताकि लोगों को कुत्तों के हमलों से बचाया जा सके। कुत्तों की नसबंदी और टीकाकरण के साथ-साथ उन्हें उचित स्थानों पर भेजने की योजना बनाई जाए, ताकि समस्या का स्थायी हल निकल सके। फिलहाल, नागरिकों को इस स्थिति से निजात पाने के लिए अधिकारियों से उम्मीद है कि वे जल्द इस दिशा में ठोस कदम उठाएंगे।
नगर निगम ने कुत्तों की नसबंदी व टीकाकरण का वर्क ऑर्डर जारी कर दिया है। जल्द ही एजेंसी अपना कार्य शुरू कर देगी। इसके बाद लावारिस कुत्तों की बढ़ती संख्या पर अंकुश लग जाएगा। - सुमन बहमनी, मेयर, नगर निगम।

सिविल अस्पताल में बैठे लावारिस कुत्ते। संवाद