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CAPF: 11 साल में केंद्रीय अर्धसैनिक बलों में 23000 कार्मियों का इस्तीफा; तीन वर्ष में 438 सुसाइड

डिजिटल ब्यूरो अमर उजाला, नई दिल्ली Published by: राहुल कुमार Updated Tue, 16 Dec 2025 06:21 PM IST
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CAPF: 23,000 personnel resigned from central paramilitary forces in 11 years
सीएपीएफ - फोटो : अमर उजाला
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केंद्रीय अर्धसैनिक बलों (सीएपीएफ) में पिछले 11 वर्षों के दौरान 23000 से ज्यादा कार्मियों ने इस्तीफा दे दिया है। इतना ही नहीं, गत तीन वर्ष में इन बलों में सुसाइड के 438 मामले सामने आए हैं। आत्महत्या के मामलों की संख्या 2023 में 157 थी। 2025 में यह संख्या 133 हो गई है। आपसी हत्या की दो घटनाएं 2023 में हुई थी तो 2024 में एक मामला और 2025 में ऐसी चार घटनाएं दर्ज की गईं। फील्ड में तैनात सीएपीएफ जवानों को एक साल में 75 दिन की छुट्टी मिलती है।
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केंद्रीय गृह मंत्रालय में राज्य मंत्री नित्यानंद राय के अनुसार, तीन वर्षों की अवधि में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल 'सीआरपीएफ' में सबसे अधिक आत्महत्याओं के 159 मामले सामने आए हैं। इसके बाद सीमा सुरक्षा बल 'बीएसएफ' का नंबर आता है। इस बल में सुसाइड के 120 केस देखने को मिले हैं। केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) में आत्महत्या के 60 केस सामने आए हैं। साल 2014 से 2025 के बीच सीएपीएफ और असम राइफल्स के कुल 23360 कर्मियों ने सेवा से इस्तीफा दिया है। 
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इनमें सीमा सुरक्षा बल में 7493 इस्तीफे, सीआरपीएफ में 7456 और केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल में 4,137 इस्तीफे दर्ज किए गए हैं। साल 2025 में अब तक 3077 इस्तीफे सामने आए हैं। इनमें से सबसे अधिक 1157 इस्तीफे बीएसएफ में दर्ज किए गए हैं। संसद सत्र के दौरान सेवा शर्तों से संबंधित प्रश्नों का उत्तर देते हुए गृह राज्य मंत्री ने कहा कि सीएपीएफ कर्मी सामान्यतः आठ घंटे की शिफ्ट में काम करते हैं। 

हालांकि परिचालन संबंधी आवश्यकताओं के आधार पर ड्यूटी के घंटे भिन्न हो सकते हैं। इनमें बटालियन संरचनाओं में आराम, अवकाश और प्रशिक्षण के प्रावधान, आदि शामिल हैं। क्षेत्र में तैनात सीएपीएफ कर्मियों के लिए प्रतिवर्ष 75 दिनों का अवकाश निर्धारित किया गया है। इसमें 60 दिन का अर्जित अवकाश और 15 दिन का आकस्मिक अवकाश शामिल है। यह सुनिश्चित करने के प्रयास किए जा रहे हैं कि वे यथासंभव इस अवकाश का लाभ उठा सकें। 
 
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