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मुंबई हमला: 'करकरे का निधन कसाब की फायरिंग से नहीं'; कांग्रेस नेता का आरोप- RSS के वफादार अधिकारी की गोली लगी
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, मुंबई
Published by: जलज मिश्रा
Updated Sun, 05 May 2024 10:26 PM IST
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सार
विजय वडेट्टीवार ने दावा किया कि निकम ने आरोपी पुलिस अधिकारी को बचाने लिए सबूतों को छुपाया। निकम वकील नहीं देशद्रोही हैं। उन्होंने कहा, ‘मेरा सवाल है कि भाजपा एक गद्दार को क्यों बचा रही है और ऐसे व्यक्ति को लोकसभा चुनाव में प्रत्याशी क्यों बनाया।’

विजय वाडेट्टीवार
- फोटो : ANI
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विस्तार
महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्ष के नेता विजय वडेट्टीवार के एक बयान से सियासी विवाद खड़ा हो गया है। कांग्रेस नेता ने कहा कि मुंबई में हुए 26/11 के आतंकी हमले में एटीएस के पूर्व प्रमुख हेमंत करकरे की मौत आतंकी अजमल कसाब की गोली से नहीं, बल्कि आरएसएस के वफादार पुलिस अधिकारी की गोली से हुई थी। वडेट्टीवार ने इस मामले की पैरवी करने वाले अधिवक्ता और उत्तर-मध्य मुंबई से भाजपा प्रत्याशी उज्जवल निकम को देशद्रोही करार दिया।

बाद में वडेट्टीवार बोले- यह मेरे शब्द नहीं
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, विजय वडेट्टीवार ने दावा किया कि निकम ने आरोपी पुलिस अधिकारी को बचाने लिए सबूतों को छुपाया। निकम वकील नहीं देशद्रोही हैं। उन्होंने कहा, ‘मेरा सवाल है कि भाजपा एक गद्दार को क्यों बचा रही है और ऐसे व्यक्ति को लोकसभा चुनाव में प्रत्याशी क्यों बनाया।’ कांग्रेस नेता के विवादित बयान पर रविवार को नागपुर में वडेट्टीवार के आवास पर भाजपा युवामोर्चा ने जोरदार प्रदर्शन किया। जब इस मामले ने तूल पकड़ा तो वडेट्टीवार ने अपने बयान पर सफाई दी। उन्होंने कोल्हापुर में कहा कि यह मेरे शब्द नहीं हैं, मैंने सिर्फ वही कहा जो एसएम मुश्रीफ की किताब में लिखा था। एसएम मुश्रीफ महाराष्ट्र के पूर्व वरिष्ठ पुलिस अधिकारी थे। 2018 में बॉम्बे हाईकोर्ट ने करकरे की मौत पर संदेह जताने वाली उस याचिका को खारिज कर दिया था, जिसमें दावा किया गया था कि हेमंत करकरे को आतंकी अजमल कसाब और अबू इस्माइल ने गोली नहीं मारी थी।
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मुंबई में 10 आतंकवादियों ने घात लगाकर हमला किया था
बता दें, भाजपा ने उत्तर-मध्य मुंबई लोकसभा सीट से उज्जवल निकम को उम्मीदवार बनाया है, जबकि कांग्रेस से वर्षा गायकवाड प्रत्याशी हैं। 26 नवंबर, 2008 का वह दिन आज भी प्रत्येक देशवासी के रोंगटे खड़े कर देता है, जब आर्थिक राजधानी मुंबई में 10 आतंकवादियों ने घात लगाकर हमला किया था। पुलिस और सुरक्षाबलों ने नौ आतंकियों को मार गिराया था, जबकि एकमात्र आतंकी अजमल कसाब को जिंदा पकड़ लिया गया था। इस आतंकी हमले में 166 लोग मारे गए थे, जबकि सैकड़ों लोग घायल हुए थे। आतंकी कसाब को छह मई, 2010 को विशेष अदालत ने मौत की सजा सुनाई थी।
निकम ने दी कांग्रेस को चुनौती, फडणवीस बोले- कसाब समर्थक है कांग्रेस
विजय वडेट्टीवार के इस बयान पर उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने पलटवार किया है। उन्होंने कांग्रेस नेता के आरोप को निराधार और गैरजिम्मेदाराना बताते हुए कहा कि कांग्रेस कसाब समर्थक है। पाकिस्तान की भाषा बोलने पर कांग्रेस को जनता सबक सिखाएंगी। वहीं, उज्जवल निकम ने कहा कि मेरी उम्मीदवारी से कांग्रेस में घबराहट है। मैं कांग्रेस को चुनौती देता हूं कि वे अदालत में इस आरोप को सिद्ध करें। कांग्रेस किसका एजेंडा चला रही हैं। अधिवक्ता निकम ने कहा कि पाकिस्तानी आतंकी कसाब ने अपने इकबालिया बयान में कहा था कि कामा अस्पताल के पास उसने गोलीबारी की थी, जिसमें तीन पुलिस अधिकारी मारे गए थे।
चुनाव आयोग पहुंची भाजपा
भाजपा ने चुनाव आयोग को पत्र लिखकर कांग्रेस और विपक्षी नेता विजय वडेट्टीवार के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई है। उन्होंने कथित तौर पर झूठ बोलने और निकम को बदनाम करने के लिए कार्रवाई की मांग की है। निकम का कहना है कि एक जिम्मेदार नेता के तौर पर विपक्षी नेता को ऐसी टिप्पणियां करने से बचना चाहिए। इससे दुश्मन देश को मदद मिल सकती है। मुंबई भाजपा अध्यक्ष आशीष शेखर का कहना है कि यह सभी आरोप झूठे हैं और बेबुनियाद हैं। उनका इरादा सिर्फ निकम को बदनाम करना और भावनाएं भड़काना है।