Pratapgarh : पांच में मिनट में पहुंची पुलिस और मौत के मुंह से छीन लाई चार जिंदगियां, यह है पूरा मामला
जहरीला पदार्थ खाकर खुदकुशी की कोशिश करने वाले एक ही परिवार के चार सदस्यों की जिंदगी बचाने में सोशल मीडिया और पुलिस त्वरित कार्रवाई काम आई। डीजीपी कार्यालय से सूचना मिलने के पांच मिनट के अंदर पुलिस पीड़ितों के दरवाजे पर थी।

विस्तार
जहरीला पदार्थ खाकर खुदकुशी की कोशिश करने वाले एक ही परिवार के चार सदस्यों की जिंदगी बचाने में सोशल मीडिया और पुलिस त्वरित कार्रवाई काम आई। डीजीपी कार्यालय से सूचना मिलने के पांच मिनट के अंदर पुलिस पीड़ितों के दरवाजे पर थी। आधा घंटे में उनका इलाज शुरू हो गया था। आज चारों सुरक्षित हैं।

सोमवार की रात मानधाता कस्बा निवासी अजय सोनी (32) और उसके भाई रोहित (28), बहन खुशबू (25 ) व मां रामजानकी (58) ने एक साथ फेसबुक लाइव होकर जहरीला पदार्थ खाया था। सोशल मीडिया में मामला आते ही फेसबुक संचालक कंपनी मेटा ने एआई के जरिये लखनऊ स्थित डीजीपी कार्यालय को सूचित किया और पुलिस सक्रिय हो गई थी।
पुलिस अधीक्षक डॉ. अनिल कुमार ने बताया कि पुलिस की मानवीय पहल से एक बड़ी अप्रिय घटना टाली जा सकी। सीओ रानीगंज विनय प्रभाकर साहनी, सोशल मीडिया मॉनिटरिंग टीम व मानधाता पुलिस ने सक्रिय भूमिका निभाई। घरेलू विवाद समेत अन्य मामले की जांच जारी है। रिपोर्ट मिलने के बाद विधिक कार्रवाई होगी।
इस तरह से काम करता है मेटा
जनपद के सोशल मीडिया सेल प्रभारी आलोक कुमार ने बताया कि आत्महत्याओं को रोकने के लिए जनवरी 2023 से इंस्टाग्राम और फेसबुक की मूल कंपनी मेटा अपने एआई फीचर का इस्तेमाल कर रही है। जब ऐसा कोई वीडियो इंस्टाग्राम या फेसबुक पर पोस्ट किया जाता है। तब मेटा का एआई विश्लेषण कर पुलिस महानिदेशालय (डीजीपी) मुख्यालय स्थित सोशल मीडिया सेंटर को सतर्क करते हुए वीडियो व अन्य जानकारियां साझा करता है। सेंटर 24 घंटे काम करता है। इसलिए तत्काल जानकारी नजदीकी पुलिस स्टेशन को दी जाती है, जहां से पुलिस तुरंत कार्रवाई करते हुए लोगों की जान बचाती है।
कब क्या हुआ
8.10 से 8.50 बजे तक फेसबुक लाइव होकर खाई जिंक फास्फाइड नामक जहरीली दवा
9.0 बजे मेटा ने डीजीपी कार्यालय पर सोशल मीडिया सेल को चार लोगों के आत्महत्या के प्रयास की जानकारी दी
9.05 बजे डीजीपी कार्यालय सोशल मीडिया सेल ने प्रतापगढ़ सोशल मीडिया सेल को जानकारी दी
9.10 बजे मानधाता पुलिस अजय सोनी के घर पहुंची और शटर तोड़ा
9.25 बजे सभी को घर से बाहर निकाला
9.30 बजे सभी को मानधाता पीएचसी ले जाया गया
9.35 से 11.15 तक सीएचसी पर सभी का उपचार हुआ, चिकित्सकों ने नमक पानी का घोल बनाकर कराई उल्टियां
12.10 मिनट पर सभी को मेडिकल कॉलेज के राजा प्रताप बहादुर चिकित्सालय में भर्ती कराया गया
अस्पताल से मिली छुट्टी, मानी अपनी भूल
खुदकुशी का प्रयास करने वाले चारों सदस्यों को बुधवार को अस्पताल से छुट्टी मिल गई। घर पहुंचने पर आसपास के लोग भी हाल जानने पहुंचे। सभी ने अपनी गलती स्वीकार करते हुए दोबारा ऐसा कदम न उठाने का वादा किया।
33 घंटे चिकित्सकों की निगरानी में रहे
जहरीला पदार्थ खाने वाले अजय सोनी व उनके भाई, बहन और मां को चिकित्सकों ने 33 घंटे तक निगरानी में रखा था। मेडिकल कॉलेज के ग्रीन वार्ड में भर्ती सभी की देखभाल चिकित्सक करते रहे। उनकी निगरानी के लिए मानधाता पुलिस भी मुस्तैद रही।
छिपाकर की थी दूसरी शादी
पारिवारिक विवाद में जहरीली दवा खाने वाले अजय सोनी ने अमेठी की रहने वाली गीता से सुल्तानपुर के लंभुआ स्थित मंदिर में होलिका दहन के दिन शादी की थी। रीना के साथ हुई पहली शादी व बेटे की बात छिपाई थी।
रीना की बड़ी मां रायबरेली में रहती हैं, जिनके रिश्ते में अजय आता है। रायबरेली स्थित एक पार्क में दोनों ने पहली बार एक दूसरे को देखा था। शादी के बाद विवाद होने पर गीता ने महिला प्रकोष्ठ में शिकायत की। हर बार तारीख पर अजय के बजाय उसका भाई रोहित ही आता था। घटना के बाद अजय से अलग रहने वाला उसका भाई राहुल और अजय की पहली पत्नी गीता उन लोगों से मिलने नहीं पहुंचे।