जीएसटी काउंसिल ने उपभोक्ताओं को बड़ी राहत दी है। काउंसिल ने बायो पेस्टिसाइड, प्राकृतिक मेंथॉल, हथकरघा और श्रम आधारित उत्पादों पर टैक्स को घटाकर पांच फीसदी कर दिया है। इसके साथ ही किसानों के लिए उनके उत्पादों में टैक्स की दरों को कम कर दिया है। इसके अलावा, मिडिल क्लास को राहत देने के लिए सीमेंट पर भी टैक्स कम किया जा रहा है। नई जीएसटी दरें 22 सितंबर से लागू होंगी। पढ़िये क्या सस्ता-क्या महंगा हुआ। 12 बायो पेस्टिसाइड, प्राकृतिक मेंथॉल, किसान के लिए उनके उत्पादों में टैक्स की दरों को कम किया गया है। इसके अलावा हथकरघा और श्रम आधारित उत्पादों, जैसे- संगमरमर, ग्रेनाइट ब्लॉक और इंटरमीडिएट चमड़े के आइटम पर टैक्स 5 फीसदी किया जा रहा है। 33 जीवन बचाने वाली दवाओं पर टैक्स 12 फीसदी से शून्य किया जा रहा है। कैंसर, गंभीर क्रॉनिक बीमारियों में इस्तेमाल होने वाली तीन और दवाओं पर टैक्स पांच से शून्य प्रतिशत किया जा रहा है।
28 फीसदी से 18 फीसदी में ये शामिल
जीएसटी की पुरानी चार स्लैब संरचना यानि की (5%, 12%, 18%, 28%) को घटाकर अब सिर्फ दो मुख्य स्लैब कर दिया गया है. 5% जरूरी सामानों पर 18% ज्यादातर बाकी सामान और सर्विस पर लागू होंगे. पुराने 12% और 28% स्लैब खत्म कर दिए गए हैं. जिसके बाद अब केवल 5 फीसदी और 18 फीसदी स्लैब के साथ लग्जरी चीजों पर 40 फीसदी स्पेशल स्लैब को लागू किए जाने की बात समाने आई है. इसमें 5 फीसदी जरुरी वस्तुओं और 18 फीसदी गैर-जरुरी वस्तुओं लगेगा, जो वर्तमान के 5 फीसदी, 12 फीसदी, 18 फीसदी और 28 फीसदी स्लैब को बदल देगा। मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो 40 फीसदी स्लैब तंबाकू और 50 लाख रुपए से ज्यादा की गाड़ियों के लिए होगा. इसके अलावा लगभग 175 वस्तुओं के लिए जीएसटी दर में कटौती की भी उम्मीद है. जीएसटी सुधार रोजाना की जरुरी वस्तुओं को काफी सस्ता करेंगे. इसमे खाने पीने की चीजों में फल, और सब्जियां, दवाइयां, इलेक्ट्रॉनिक्स में एसी, टीवी, फ्रिज, वाशिंग मशीन, कृषि उपकरण और साइकिल, बीमा, शिक्षा सेवाएं शामिल हो सकती है।
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