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Trump: रूस से व्यापार करने वाले देशों पर प्रतिबंध लगाने का कानून ला रही ट्रंप सरकार, भारत की बढ़ेंगी मुश्किलें

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, वॉशिंगटन Published by: नितिन गौतम Updated Mon, 17 Nov 2025 09:58 AM IST
सार

ट्रंप ने कहा कि 'रूस के व्यापारिक साझेदार देश यूक्रेन युद्ध को वित्तपोषित करने के लिए जिम्मेदार हैं, खासकर रूस से कच्चा तेल और गैस खरीदने वाले देश। ट्रंप ने कहा कि रिपब्लिकन पार्टी ऐसा विधेयक लाने जा रही है, जिसमें रूस से व्यापार करने वाले देशों पर काफी कड़े प्रतिबंधों का प्रावधान है।'

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donald trump government brings bill to sanction on russia trading partners india on list
पुतिन और ट्र्ंप - फोटो : पीटीआई
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विस्तार
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अमेरिका का ट्रंप प्रशासन जल्द ही एक नया कानून बनाने जा रहा है, जिसके तहत रूस से व्यापार करने वाले देशों पर कड़े प्रतिबंध लगाए जाएंगे। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भी इसे समर्थन दे दिया है। रविवार को मीडिया से बात करते हुए राष्ट्रपति ट्रंप ने बताया कि उनकी पार्टी एक विधेयक लाने जा रही है, जिसके तहत रूस से व्यापार करना किसी भी देश के लिए बेहद मुश्किल हो जाएगा। 
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विधेयक को लेकर ट्रंप क्या बोले
ट्रंप ने कहा कि 'रूस के व्यापारिक साझेदार देश यूक्रेन युद्ध को वित्तपोषित करने के लिए जिम्मेदार हैं, खासकर रूस से कच्चा तेल और गैस खरीदने वाले देश। ट्रंप ने कहा कि रिपब्लिकन पार्टी ऐसा विधेयक लाने जा रही है, जिसमें रूस से व्यापार करने वाले देशों पर काफी कड़े प्रतिबंधों का प्रावधान है।'
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भारत के लिए हो सकती है परेशानी
रूस से व्यापार करने वाले देशों में भारत और चीन शामिल हैं। ऐसे में अमेरिका के इस नए कानून से भारत की परेशानी बढ़ सकती है। अमेरिका पहले ही भारत पर रूस से तेल खरीदने के लिए अतिरिक्त टैरिफ लगा चुका है। अमेरिका का मानना है कि रूस के यूक्रेन युद्ध को वित्तपोषित करने में भारत और चीन का प्रमुख योगदान है। नए कानून के तहत भारत और चीन के अलावा ईरान की भी परेशानी बढ़ सकती है। 

ये भी पढ़ें- Bangladesh: शेख हसीना के खिलाफ आज सजा का एलान, जानिए कौन-कौन से हैं आरोप; फैसले के बाद क्या होगा?

भारत-रूस में बढ़ रहा द्विपक्षीय व्यापार
एक तरफ अमेरिका रूस से व्यापार करने वाले देशों के खिलाफ कार्रवाई करने की तैयारी कर रहा है। वहीं दूसरी तरफ भारत और रूस के बीच व्यापार लगातार बढ़ रहा है। साल 2030 तक दोनों देशों ने द्विपक्षीय व्यापार को बढ़ाकर 100 अरब डॉलर करने का लक्ष्य तय किया है। भारत और रूस के बीच इंडिया-यूरेशियन इकॉनोमिक यूनियन मुक्त व्यापार समझौता हो सकता है। ब्लूमबर्ग की एक रिपोर्ट के अनुसार, अगर अमेरिका का यह विधेयक पारित हो जाता है, तो ट्रंप उन देशों से आयात पर 500 प्रतिशत तक शुल्क लगा सकेंगे जो रूस से कच्चा तेल या गैस खरीदते हैं।


 
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