{"_id":"6954353f46dba4d3cf0d6be9","slug":"israel-gaza-crisis-israel-to-halt-operations-of-several-humanitarian-organisations-in-gaza-from-2026-2025-12-31","type":"story","status":"publish","title_hn":"Israel-Gaza Crisis: इस्राइल ने नए साल पर गाजा के लिए बनाई योजना, नियम तोड़ने वाले कई संगठनों पर चलेगा चाबुक","category":{"title":"World","title_hn":"दुनिया","slug":"world"}}
Israel-Gaza Crisis: इस्राइल ने नए साल पर गाजा के लिए बनाई योजना, नियम तोड़ने वाले कई संगठनों पर चलेगा चाबुक
वर्ल्ड डेस्क, अमर उजाला, यरुशलम
Published by: शिवम गर्ग
Updated Wed, 31 Dec 2025 02:18 AM IST
विज्ञापन
सार
इस्राइल ने नए पंजीकरण नियमों का पालन न करने पर गाजा में 30 से अधिक मानवीय संगठनों की गतिविधियां निलंबित करने का फैसला किया है। डॉक्टर विदाउट बॉर्डर्स समेत कई एनजीओ ने इसे आम नागरिकों के लिए घातक बताया।
गाजा की फाइल फोटो
- फोटो : ANI Photos
विज्ञापन
विस्तार
इस्राइल ने गाजा पट्टी में काम कर रहे कई अंतरराष्ट्रीय मानवीय संगठनों के खिलाफ बड़ा कदम उठाते हुए घोषणा की है कि वर्ष 2026 से इन संगठनों की गतिविधियां रोक दी जाएंगी। इस्राइली सरकार का कहना है कि नए पंजीकरण नियमों का पालन न करने के कारण यह फैसला लिया गया है। इस फैसले की जद में डॉक्टर्स विदाउट बॉर्डर्स और सीएआरई जैसे नामी संगठन भी शामिल हैं।
Trending Videos
इस्राइल के अनुसार नए नियमों का मकसद यह सुनिश्चित करना है कि हमास या अन्य उग्रवादी संगठन मानवीय सहायता के नाम पर किसी तरह की घुसपैठ न कर सकें। हालांकि सहायता एजेंसियों का कहना है कि ये नियम मनमाने हैं और इनसे गाजा की उस आम आबादी को भारी नुकसान होगा, जो पहले से ही गंभीर मानवीय संकट का सामना कर रही है।
विज्ञापन
विज्ञापन
नए नियमों में कुछ वैचारिक शर्तें भी जोड़ी
इस्राइल का आरोप है कि युद्ध के दौरान हमास ने सहायता सामग्री का दुरुपयोग किया, लेकिन संयुक्त राष्ट्र और कई अंतरराष्ट्रीय एजेंसियां इस दावे को नकार चुकी हैं। इस साल की शुरुआत में लागू किए गए नए नियमों के तहत सहायता संगठनों को अपने कर्मचारियों की सूची, फंडिंग और संचालन से जुड़ी विस्तृत जानकारी इस्राइली अधिकारियों को देनी होगी। नए नियमों में कुछ वैचारिक शर्तें भी जोड़ी गई हैं। इनमें ऐसे संगठनों को अयोग्य ठहराने का प्रावधान है, जिन्होंने इस्राइल के खिलाफ बहिष्कार का समर्थन किया हो, 7 अक्तूबर के हमले को नकारा हो या इस्राइली नेताओं और सैनिकों के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय अदालतों में चल रहे मामलों का समर्थन किया हो।
ये भी पढ़ें:- China: चीनी विदेश मंत्री का दावा- मई में भारत और पाकिस्तान के बीच संघर्ष में चीन ने निभाई अहम भूमिका
इस्राइल के डायस्पोरा मामलों के मंत्रालय के अनुसार, गाजा में सक्रिय करीब 30 से अधिक संगठन इन शर्तों को पूरा नहीं कर पाए हैं, जो कुल संगठनों का लगभग 15 प्रतिशत हैं। मंत्रालय ने यह भी दावा किया कि डॉक्टर्स विदाउट बॉर्डर्स ने अपने कुछ कर्मचारियों के कथित तौर पर हमास या इस्लामिक जिहाद से जुड़े होने के आरोपों पर संतोषजनक जवाब नहीं दिया। डायस्पोरा मामलों के मंत्री अमीचाई चिकली ने कहा मानवीय सहायता का स्वागत है, लेकिन आतंकवाद के लिए मानवीय ढांचे के दुरुपयोग को किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
वहीं डॉक्टर्स विदाउट बॉर्डर्स ने इस्राइल के आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए कहा कि यह फैसला गाजा में उनके काम पर विनाशकारी असर डालेगा। संगठन के मुताबिक, वह गाजा में करीब 20 प्रतिशत अस्पताल बेड और एक-तिहाई प्रसव सेवाओं का समर्थन करता है। एमएसएफ ने स्पष्ट किया कि वह कभी भी जानबूझकर किसी सशस्त्र गतिविधि में शामिल व्यक्ति को नियुक्त नहीं करता।
ये भी पढ़ें:- ट्रंप-नेतन्याहू की बैठक वेस्ट बैंक पर रही फोकस, ईरान-हमास को धमकी; जानिए और किन अहम मुद्दों पर हुई चर्चा
स्थानीय कर्मचारियों पर बढ़ता बोझ
सहायता संगठनों का कहना है कि नाजुक युद्धविराम के महज कुछ महीनों बाद यह फैसला बेहद नुकसानदेह है। नॉर्वेजियन रिफ्यूजी काउंसिल की सलाहकार शाइना लो ने कहा कि गाजा में जरूरतें अब भी बहुत बड़ी हैं, लेकिन जरूरी मदद पहुंचाने से संगठनों को रोका जा रहा है। उन्होंने बताया कि अंतरराष्ट्रीय कर्मचारियों की एंट्री बंद होने से सारा बोझ पहले से थके हुए स्थानीय स्टाफ पर पड़ रहा है। कुछ संगठनों ने सुरक्षा कारणों और यूरोपीय डेटा संरक्षण कानूनों का हवाला देते हुए फलस्तीनी कर्मचारियों की सूची देने से इनकार किया। उनका कहना है कि युद्ध के दौरान सैकड़ों सहायता कर्मियों की जान जा चुकी है, ऐसे में कर्मचारियों की जानकारी साझा करना जोखिम भरा हो सकता है।
गाजा में मारे गए लोगों की संख्या 71 हजार से अधिक
इस्राइल का दावा है कि इन संगठनों का योगदान गाजा पहुंचने वाली कुल सहायता का एक प्रतिशत से भी कम है और 20 से अधिक अन्य एजेंसियों के जरिए मदद जारी रहेगी। हालांकि मानवीय संगठनों और विशेषज्ञों का मानना है कि यह फैसला गाजा में पहले से भयावह मानवीय स्थिति को और गंभीर बना सकता है। इस बीच, गाजा सिटी में इस्राइली गोलीबारी में 10 वर्षीय एक बच्ची की मौत की खबर भी सामने आई है, जिसने क्षेत्र में तनाव को और बढ़ा दिया है। संयुक्त राष्ट्र के अनुसार युद्ध में गाजा में मारे गए लोगों की संख्या 71 हजार से अधिक हो चुकी है।
विज्ञापन
रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News App, iOS Hindi News App और Amarujala Hindi News APP अपने मोबाइल पे|
Get latest World News headlines in Hindi related political news, sports news, Business news all breaking news and live updates. Stay updated with us for all latest Hindi news.
विज्ञापन
विज्ञापन