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UNGA: 'अब रूस को रोकना जरूरी, युद्ध को यूरोप तक ले जाना चाह रहे पुतिन', संयुक्त राष्ट्र में बोले जेलेंस्की
वर्ल्ड डेस्क, अमर उजाला, न्यूयॉर्क
Published by: बशु जैन
Updated Wed, 24 Sep 2025 08:01 PM IST
सार
संयुक्त राष्ट्र महासभा में जेलेंस्की ने कहा कि हम अब इतिहास की सबसे विनाशकारी हथियारों की दौड़ से गुजर रहे हैं। यूक्रेन तो बस पहला देश है और अब रूसी ड्रोन पूरे यूरोप में उड़ान भर रहे हैं। रूसी अभियान पहले से ही विभिन्न देशों में फैल रहे हैं। पुतिन इस युद्ध का विस्तार करके इसे जारी रखना चाहते हैं।
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संयुक्त राषट्र में बोलते वोलोदिमीर जेलेंस्की।
- फोटो : Youtube/@unitednations/वीडियो ग्रैब
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विस्तार
संयुक्त राष्ट्र महासभा में यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की ने संबोधन दिया। इस दौरान जेलेंस्की ने रूस-यूक्रेन युद्ध का मुद्दा उठाया। जेलेंस्की ने कहा कि अब रूस को रोकने के लिए कार्रवाई की जानी चाहिए, क्योंकि पुतिन युद्ध को यूरोप तक ले जाना चाह रहे हैं। उन्होंने कहा कि मौजूदा समय में दुनिया इतिहास के सबसे विनाशकारी हथियारों की दौड़ में है।
संयुक्त राष्ट्र महासभा में जेलेंस्की ने कहा कि हम अब इतिहास की सबसे विनाशकारी हथियारों की दौड़ से गुजर रहे हैं। यूक्रेन तो बस पहला देश है और अब रूसी ड्रोन पूरे यूरोप में उड़ान भर रहे हैं। रूसी अभियान पहले से ही विभिन्न देशों में फैल रहे हैं। पुतिन इस युद्ध का विस्तार करके इसे जारी रखना चाहते हैं।
भारत हमारे साथ: जेलेंस्की
इससे पहले जेलेंस्की ने कहा था कि भारत हमारे साथ है और आगे चलकर रूस से तेल-गैस खरीदने पर अपना रुख बदल सकता है। जेलेंस्की ने साफ किया कि भारत-रूस के ऊर्जा सौदों के कारण कुछ जटिलताएं आई हैं, लेकिन उन्होंने आशा जताई कि भारत रूसी ऊर्जा सेक्टर के प्रति अपने दृष्टिकोण में बदलाव करेगा। उन्होंने कहा, "मुझे लगता है भारत अधिकतर हमारी तरफ है। हां हमारे पास ऊर्जा को लेकर कुछ सवाल हैं, लेकिन राष्ट्रपति ट्रंप उससे निपट सकते हैं। उन्होंने कहा कि हमें वह सब करना होगा, जिससे भारत हमसे दूर न हो और रूस के ऊर्जा क्षेत्र की तरफ उसका रुझान भी बदल जाए। मैं इसे लेकर निश्चिंत हूं।
चीन के बिना रूस कुछ नहीं
यूक्रेनी राष्ट्रपति ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की बैठक में भी चीन पर निशाना साधा। जेलेंस्की ने कहा, रूस अब पूरी तरह चीन पर निर्भर है। अगर चीन सच में युद्ध रोकना चाहे तो वह पुतिन को मजबूर कर सकता है। बिना चीन के रूस कुछ नहीं है, लेकिन अक्सर चीन शांति के लिए सक्रिय होने के बजाय चुप और दूर रहता है। जेलेंस्की का यह बयान ऐसे समय आया है जब अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप लगातार आरोप लगा रहे हैं कि भारत रूस से तेल खरीदकर उसे आर्थिक मदद दे रहा है, जिससे यूक्रेन के खिलाफ युद्ध जारी रखने में रूस को सहारा मिल रहा है।
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संयुक्त राष्ट्र महासभा में जेलेंस्की ने कहा कि हम अब इतिहास की सबसे विनाशकारी हथियारों की दौड़ से गुजर रहे हैं। यूक्रेन तो बस पहला देश है और अब रूसी ड्रोन पूरे यूरोप में उड़ान भर रहे हैं। रूसी अभियान पहले से ही विभिन्न देशों में फैल रहे हैं। पुतिन इस युद्ध का विस्तार करके इसे जारी रखना चाहते हैं।
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भारत हमारे साथ: जेलेंस्की
इससे पहले जेलेंस्की ने कहा था कि भारत हमारे साथ है और आगे चलकर रूस से तेल-गैस खरीदने पर अपना रुख बदल सकता है। जेलेंस्की ने साफ किया कि भारत-रूस के ऊर्जा सौदों के कारण कुछ जटिलताएं आई हैं, लेकिन उन्होंने आशा जताई कि भारत रूसी ऊर्जा सेक्टर के प्रति अपने दृष्टिकोण में बदलाव करेगा। उन्होंने कहा, "मुझे लगता है भारत अधिकतर हमारी तरफ है। हां हमारे पास ऊर्जा को लेकर कुछ सवाल हैं, लेकिन राष्ट्रपति ट्रंप उससे निपट सकते हैं। उन्होंने कहा कि हमें वह सब करना होगा, जिससे भारत हमसे दूर न हो और रूस के ऊर्जा क्षेत्र की तरफ उसका रुझान भी बदल जाए। मैं इसे लेकर निश्चिंत हूं।
चीन के बिना रूस कुछ नहीं
यूक्रेनी राष्ट्रपति ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की बैठक में भी चीन पर निशाना साधा। जेलेंस्की ने कहा, रूस अब पूरी तरह चीन पर निर्भर है। अगर चीन सच में युद्ध रोकना चाहे तो वह पुतिन को मजबूर कर सकता है। बिना चीन के रूस कुछ नहीं है, लेकिन अक्सर चीन शांति के लिए सक्रिय होने के बजाय चुप और दूर रहता है। जेलेंस्की का यह बयान ऐसे समय आया है जब अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप लगातार आरोप लगा रहे हैं कि भारत रूस से तेल खरीदकर उसे आर्थिक मदद दे रहा है, जिससे यूक्रेन के खिलाफ युद्ध जारी रखने में रूस को सहारा मिल रहा है।