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.Bihar: पढ़ाई इंडस्ट्रियल केमिस्ट्री की, डिग्री माइक्रोबायोलॉजी की; बिहार के विश्वविद्यालय में बड़ा कारनामा

न्यूज डेस्क, अमर उजाला,मुजफ्फरपुर Published by: आशुतोष प्रताप सिंह Updated Fri, 28 Nov 2025 02:56 PM IST
सार

मुजफ्फरपुर के रामदयालु सिंह कॉलेज के छात्र सुशील कुमार ने बताया कि उन्होंने बैचलर ऑफ इंडस्ट्रियल केमेस्ट्री पूरी की थी, लेकिन विश्वविद्यालय से उन्हें गलती से बैचलर ऑफ माइक्रोबायोलॉजी की डिग्री दी गई।

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छात्र सुशील कुमार - फोटो : अमर उजाला
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बी आर ए बी यू मुजफ्फरपुर में डिग्री के मामले ने छात्र और विश्वविद्यालय प्रशासन दोनों की चिंता बढ़ा दी है। मुजफ्फरपुर जिले के रामदयालु सिंह कॉलेज के छात्र सुशील कुमार ने अपनी डिग्री को लेकर बिहार विश्वविद्यालय प्रशासन पर लापरवाही और अनियमितता का आरोप लगाया है।

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सुशील कुमार ने बताया कि उन्होंने सत्र 2015 से 2018 तक बैचलर ऑफ इंडस्ट्रियल केमेस्ट्री की पढ़ाई पूरी की थी। स्टेट स्तरीय फॉर्म भरने के लिए उन्होंने अपनी डिग्री बनवाने हेतु आवेदन किया था। उनका रोल नंबर 35831 है। लेकिन जब उन्हें डिग्री प्राप्त हुई, तो वे हैरान रह गए क्योंकि उन्हें बैचलर ऑफ इंडस्ट्रियल केमेस्ट्री की जगह बैचलर ऑफ माइक्रोबायोलॉजी की डिग्री थमा दी गई। इस गलती के बाद से छात्र काफी परेशान हैं।

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पीड़ित छात्र ने बताया कि गलत डिग्री मिलने के बाद जब वे इसे सुधारने और अपनी मूल डिग्री पाने विश्वविद्यालय गए, तो उन्हें उल्टा डांट फटकार सहनी पड़ी, जिससे उनकी परेशानी और बढ़ गई। सुशील कुमार ने कहा कि विश्वविद्यालय कर्मियों द्वारा गलत डिग्री थमाए जाने और फिर रुपये की मांग करने जैसी घटनाओं से वह मानसिक रूप से बहुत प्रभावित हैं।

 

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छात्र ने यह भी चेतावनी दी कि इंडस्ट्रियल केमेस्ट्री की बजाय माइक्रोबायोलॉजी की डिग्री मिलने से उनके करियर पर प्रतिकूल असर पड़ सकता है। सरकारी नौकरियों और प्रतियोगी परीक्षाओं में दस्तावेज सत्यापन के समय यह गंभीर समस्या बन सकती है। उन्होंने विश्वविद्यालय प्रशासन से आग्रह किया है कि उनकी सही डिग्री जल्द से जल्द जारी की जाए, ताकि उनके भविष्य पर कोई नकारात्मक प्रभाव न पड़े।

इस मामले में बिहार विश्वविद्यालय के परीक्षा नियंत्रक रामकुमार सिंह ने बताया कि उन्हें इस घटना की जानकारी मिली है। उन्होंने कहा कि तकनीकी भूल होती रहती है और प्रिंटिंग में गड़बड़ी जैसी समस्याएं कई बार सामने आती हैं। इसे जल्द ही सुधार कराया जा रहा है।

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