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Ghaziabad News: तुलसी निकेतन के 130 से अधिक खाली फ्लैटों पर जीडीए ने लगाया ताला
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साहिबाबाद। तुलसी निकेतन कॉलोनी में री-डबलपमेंट के लिए गाजियाबाद विकास प्राधिकरण (जीडीए) की तरफ से सर्वे शुरू कर दिया गया है। कॉलोनी में 2292 फ्लैट हैं। इसमें से विभाग ने 400 ऐसे फ्लैटों को चिह्नित किया है जिनमें फ्लैटों में लंबे समय से ताला लगा हुआ है और आसपास के लोगों से भी पूछने पर मालिक का पता नहीं चल रहा है। विभाग ने ऐसे फ्लैटों पर अपने ताले लगाना शुरू कर दिए हैं। अब तक विभाग 130 से अधिक फ्लैटों पर अपने ताले लगा चुका है। वहीं, दूसरी तरफ फ्लैटों पर ताला लगने को लेकर लोगों में नाराजगी है।
इसी संबंध में कॉलोनी में आरडब्ल्यूए ने बैठक बुलाकर लोगों से चर्चा की है। उन्होंने कहा कि लोगों से विभाग ने री-डबलपमेंट को लेकर किसी प्रकार की वार्ता नहीं की है। हमें जरूरत पड़ी तो इस मामले को लेकर हाईकोर्ट जाएंगे। वहीं, निवासी राजेश चढ्ढा का कहना है कि मेरे चार बेटे हैं। चारों के नाम पर एक-एक फ्लैट लिया था। एक में परिवार सहित रहते हैं। वहीं अन्य फ्लैट खाली हैं। जब कभी जरूरत होती है, तो उन्हें इस्तेमाल किया जाता है नहीं तो खाली पड़े रहते हैं। विभाग ऐसे ही खाली फ्लैटों पर ताला लगा रहा है। इसके बाद अगर किसी का अपना फ्लैट है तो वह अपने दस्तावेज लेकर जीडीए कार्यालय जाकर फ्लैट की चाबी ले सकता है।
जीडीए के मुख्य अभियंता आलोक रंजन ने बताया कि विभाग अपने ताले उन फ्लैटों पर लगा रहा है, जो लंबे समय से खाली हैं और आसपास से पता करने पर मालिक का पता नहीं चल रहा है। इसके बाद आवंटी का पता करके उन्हें सूचना दी जाएगी। री-डबलपमेंट के लिए रिपोर्ट तैयार की जा रही है। रिपोर्ट बनने के एक महीने बाद काम शुरू किया जाएगा।
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इसी संबंध में कॉलोनी में आरडब्ल्यूए ने बैठक बुलाकर लोगों से चर्चा की है। उन्होंने कहा कि लोगों से विभाग ने री-डबलपमेंट को लेकर किसी प्रकार की वार्ता नहीं की है। हमें जरूरत पड़ी तो इस मामले को लेकर हाईकोर्ट जाएंगे। वहीं, निवासी राजेश चढ्ढा का कहना है कि मेरे चार बेटे हैं। चारों के नाम पर एक-एक फ्लैट लिया था। एक में परिवार सहित रहते हैं। वहीं अन्य फ्लैट खाली हैं। जब कभी जरूरत होती है, तो उन्हें इस्तेमाल किया जाता है नहीं तो खाली पड़े रहते हैं। विभाग ऐसे ही खाली फ्लैटों पर ताला लगा रहा है। इसके बाद अगर किसी का अपना फ्लैट है तो वह अपने दस्तावेज लेकर जीडीए कार्यालय जाकर फ्लैट की चाबी ले सकता है।
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जीडीए के मुख्य अभियंता आलोक रंजन ने बताया कि विभाग अपने ताले उन फ्लैटों पर लगा रहा है, जो लंबे समय से खाली हैं और आसपास से पता करने पर मालिक का पता नहीं चल रहा है। इसके बाद आवंटी का पता करके उन्हें सूचना दी जाएगी। री-डबलपमेंट के लिए रिपोर्ट तैयार की जा रही है। रिपोर्ट बनने के एक महीने बाद काम शुरू किया जाएगा।