दिल्ली: कांग्रेस का तीन सीटों पर भाजपा से सीधा मुकाबला, आप भी चार सीटों पर दे रही टक्कर
दिल्ली के रण में सभी प्रत्याशियों के भाग्य का फैसला मतदाताओं ने सुरक्षित कर दिया। 2014 के चुनावों में आसानी से जीत हासिल करने वाली भाजपा को इस बार कड़ी टक्कर मिल रही है। पिछले चुनावों में दूसरे नंबर पर रही आम आदमी पार्टी को अपने अस्तित्व की लड़ाई लड़नी पड़ रही है। वहीं धरातल पर गई कांग्रेस ने इन चुनावों में अपनी स्थिति में सुधार किया है। वर्तमान में भाजपा आप के साथ चार सीटों पर मुकाबला नजर आ रहा है तो कांग्रेस भी तीन सीटों पर मुकाबले में खड़ी है।
दिल्ली में सबसे ज्यादा प्रतिष्ठा कांग्रेस व भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष की लगी है। उत्तर-पूर्व सीट पर जब से कांग्रेस अध्यक्ष शीला दीक्षित आई हैं तभी से भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष एवं प्रत्याशी मनोज तिवारी के पसीने आए हुए हैं। कांग्रेस ने इस सीट पर मुस्लिम समुदाय का भरोसा पुन: हासिल किया है और इसी के बाद जहां से आप के प्रत्याशी दिलीप पांडेय पिछड़ने लगे और मुकाबला शीला बनाम तिवारी के बीच बन गया है।
पूर्वी दिल्ली में आप की आतिशी पहले सबसे आगे चल रही थी लेकिन कांग्रेस के अरविंदर सिंह लवली व क्रिकेट गौतम के कारण मुकाबला दिलचस्प हो गया। जहां फिलहाल मुकाबला आतिशी व गौतम गंभीर में बीच माना जा रहा है लेकिन लवली इलाके से नेता होने के अलावा कांग्रेस में लंबे अरसे तक मंत्री रहे है। अब लवली के दारोमदार पर गौतम गंभीर का भविष्य टिका है। यदि लवली अपनी प्रतिष्ठा के अनुसार वोट हासिल करते हैं तो उसका सीधा नुकसान आप की आतिशी को है।
उत्तर-पश्चिमी सीट पर भाजपा के हंसराज हंस व आप के गूगन सिंह के बीच है। गूगन सिंह से जाट समुदाय में अपनी पैठ बनाई हुई है तो हंसराज हंस भी भाजपा के कैडर वोट व अपनी गायकी के बल पर ताल ठोक रहे हैं। कांग्रेस ने हालांकि कार्यकारी प्रदेश अध्यक्ष राजेश लिलोठिया को मैदान में उतारा है लेकिन फिलहाल मुकाबला भाजपा-आप में नजर आ रहा है।
नई दिल्ली में कांग्रेस के अजय माकन व भाजपा की सांसद मीनाक्षी लेखी के बीच है। हालांकि आप की ओर से बृजेश गोयल मैदान में है। मीनाक्षी लेखी का इलाके में काफी विरोध रहा है, सरकारी कर्मचारियों की सरकार के प्रति नाराजगी लेखी पर भारी पड़ रही है। देखना है कि माकन इस नाराजगी को कैसे अपने पक्ष में कर पाए है या नहीं।
चांदनी चौक पर भी दिलचस्प मुकाबला देखने को मिल रहा है। जहां अन्य सीटों पर चरित्र हनन व आरोप-प्रत्यारोप का सिलसिला रहा तो इस सीट पर ऐसा देखने को नहीं मिला। कांग्रेस के जय प्रकाश अग्रवाल व भाजपा के सांसद डॉ. हर्षवर्धन के बीच सीधा मुकाबला है। दोनों ही प्रत्याशी बेदाग व मिलनसार माने जाते हैं और विरोधी भी उनकी तारीफ करते हैं। आप के पंकज गुप्ता का पलड़ा काफी कमजोर रहा है।
इसी प्रकार पश्चिमी दिल्ली में भाजपा के सांसद प्रवेश वर्मा, आप के बलवीर सिंह जाखड़ व कांग्रेस के महाबल मिश्रा के बीच त्रिकोणीय मुकाबला नजर आया। भाजपा व आप के प्रत्याशी जाट समुदाय के होने के चलते उनके वोट में फंसे नजर आए तो महाबल मिश्रा का जोर पूर्वांचली वोट पाने में रहा। ऐसे में लोगों की नाराजगी के बावजूद भाजपा के प्रवेश वर्मा का पलड़ा भारी नजर आ रहा है। दक्षिणी दिल्ली में आप के राघव चड्ढा व भाजपा के सांसद रमेश बिधूडी के बीच मुकाबला नजर आया। कांग्रेस के बॉक्सर विजेंदर अपनी बेहतर छवि के बावजूद पिछड़ रहे हैं।
सीधे तौर पर उत्तर-पूर्वी, नई दिल्ली व चांदनी चौक सीट पर कांग्रेस का भाजपा से मुकाबला नजर आ रहा है। वहीं चार अन्य सीटों पूर्वी, उत्तर-पश्चिम, दक्षिण व पश्चिम में भाजपा और आप के बीच मुकाबला दिख रहा है। दिलचस्प बात है कि जब कांग्रेस-आप के बीच गठबंधन की बात चल रही थी तब भी नई दिल्ली व चांदनी चौक सीट कांग्रेस के खाते में आ रही थी और कांग्रेस अब भी इन दोनो ही सीट पर मुकाबले में है।