{"_id":"6931efd221f2e7018f033bbc","slug":"remand-of-accused-extended-in-rs-25-lakh-fraud-case-panchkula-news-c-290-1-pkl1067-20756-2025-12-05","type":"story","status":"publish","title_hn":"Panchkula News: 25 लाख रुपये के फर्जीवाड़े में आरोपियों का रिमांड बढ़ाया","category":{"title":"City & states","title_hn":"शहर और राज्य","slug":"city-and-states"}}
Panchkula News: 25 लाख रुपये के फर्जीवाड़े में आरोपियों का रिमांड बढ़ाया
संवाद न्यूज एजेंसी, पंचकूला
Updated Fri, 05 Dec 2025 02:02 AM IST
विज्ञापन
विज्ञापन
संवाद न्यूज एजेंसी
पंचकूला। स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण योजना के तहत 25 लाख रुपये के फर्जीवाड़े मामले में पुलिस की कार्रवाई तेज हो गई है। वीरवार को आरोपी दिनेश और गगनदीप को दोबारा कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उन्हें 8 दिसंबर तक पुलिस रिमांड पर भेज दिया गया। इससे पहले इसी मामले में दो अन्य आरोपी भी गिरफ्तार हो चुके हैं।
मामला तब सामने आया जब जिला परिषद के अकाउंट्स ऑफिसर संजय कुमार ने शिकायत दी कि एसबीएम-जी योजना की पेमेंट फाइल में जिला परिषद सीईओ के फर्जी हस्ताक्षर कर 25 लाख रुपये ट्रांसफर कराने की कोशिश की गई थी। इसमें निजी एजेंसी रुबानी इंटरप्राइजेज के बैंक खाते में 20 लाख रुपये और जिला परिषद कर्मचारी दिनेश के खाते में 5 लाख रुपये आरटीजीएस के माध्यम से भेजे जाने प्रस्तावित थे।
फाइल जब हेडक्वार्टर भेजी गई, तो अधिकारी को सीईओ का सिग्नेचर संदिग्ध लगा। इसके बाद तुरंत जिला परिषद कार्यालय को सूचित किया गया, जिससे यह बड़ा फर्जीवाड़ा उजागर हुआ। शिकायत के आधार पर सेक्टर-7 थाना पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार किया।
Trending Videos
पंचकूला। स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण योजना के तहत 25 लाख रुपये के फर्जीवाड़े मामले में पुलिस की कार्रवाई तेज हो गई है। वीरवार को आरोपी दिनेश और गगनदीप को दोबारा कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उन्हें 8 दिसंबर तक पुलिस रिमांड पर भेज दिया गया। इससे पहले इसी मामले में दो अन्य आरोपी भी गिरफ्तार हो चुके हैं।
मामला तब सामने आया जब जिला परिषद के अकाउंट्स ऑफिसर संजय कुमार ने शिकायत दी कि एसबीएम-जी योजना की पेमेंट फाइल में जिला परिषद सीईओ के फर्जी हस्ताक्षर कर 25 लाख रुपये ट्रांसफर कराने की कोशिश की गई थी। इसमें निजी एजेंसी रुबानी इंटरप्राइजेज के बैंक खाते में 20 लाख रुपये और जिला परिषद कर्मचारी दिनेश के खाते में 5 लाख रुपये आरटीजीएस के माध्यम से भेजे जाने प्रस्तावित थे।
विज्ञापन
विज्ञापन
फाइल जब हेडक्वार्टर भेजी गई, तो अधिकारी को सीईओ का सिग्नेचर संदिग्ध लगा। इसके बाद तुरंत जिला परिषद कार्यालय को सूचित किया गया, जिससे यह बड़ा फर्जीवाड़ा उजागर हुआ। शिकायत के आधार पर सेक्टर-7 थाना पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार किया।