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Rewari News: 30 पारिवारिक और 565 बिजली के मामले निपटे
संवाद न्यूज एजेंसी, रेवाड़ी
Updated Sat, 13 Dec 2025 11:35 PM IST
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राष्ट्रीय लोक अदालत में पहुंचे लोग। संवाद
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रेवाड़ी। न्यायिक परिसर में शनिवार को राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया। राष्ट्रीय लोक अदालत में अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश विकास गुप्ता, फैमिली कोर्ट से अतिरिक्त प्रिंसिपल जज प्रदीप चौधरी, सिविल जज अर्चना, सिविल जज आकाश सरोहा व सिविल जज बेनिका की अदालत में मामलों का मौके पर ही सहमति से निपटारा किया गया।
बावल में प्रदीप कुमार, सिविल जज और कोसली में सिविल जज निशा की कोर्ट द्वारा राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया किया गया। राष्ट्रीय लोक अदालत में मोटर दुर्घटना मुआवजा, चेक बाउंस, दीवानी मामले, बिजली के मामले व अन्य मामलों का मौके पर ही निपटारा किया गया। इस राष्ट्रीय लोक अदालत में 33 मोटर दुर्घटना मुआवजा के मामलों का निपटारा करते हुए 2.93 करोड़ रुपये मोटर दुर्घटना में मृतकों के आश्रितों व घायलों के लिए स्वीकृत किए गए।
इसी तरह 161 चेक बाउंस 27 दीवानी मामले 30 पारिवारिक मामले व 565 बिजली के मामलों का भी निपटारा किया गया। इस दौरान लोगों की काफी भीड़ भी रही।
इंसेट
लोक अदालत में लोगों को मिला लाभ
बावल निवासी सुरेंद्र ने बताया कि उनका भाई 5 साल पहले सड़क दुर्घटना में घायल हो गया था। लोक अदालत में मुआवजा मिल गया। इससे काफी राहत मिली है। कोसली निवासी राजेंद्र ने बताया कि उसके पिता का चेक बाउंस का मामला 2 साल से चल रहा था अदालत में मामला सुलझ गया। किसी भी प्रकार की कोई परेशानी नहीं हुई।
इंसेट
लोक अदालत के निर्णय से न किसी की जीत है और न ही किसी की हार : अमित
जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव अमित वर्मा ने बताया कि लोक अदालत से वादों का निपटारा जल्द कराया जा सकता है। लोक अदालत के माध्यम से निर्मित किए गए मामलों में आगे कोई अपील, पुनरीक्षण दायर नहीं की जा सकती। इससे समय व धन दोनों की ही बचत होती है। लोक अदालत के निर्णय से न किसी की जीत और न ही किसी की हार होती है बल्कि दोनों पक्षों के साथ उचित न्याय हो जाता है। उन्होंने बताया कि लोक अदालत का निर्णय दोनों पक्षों पर बाध्यकारी व अंतिम होता है तथा लोक अदालत के निर्णय के विरुद्ध अपील नहीं की जा सकती। लोक अदालत में सुलह द्वारा प्राप्त निर्णय से आपसी द्वेष भावना मिटती है तथा इसमें लोगों को ज्यादा से ज्यादा भागीदार होकर लाभ उठाने का आह्वान किया। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा हेल्पलाइन नंबर 01274-220062 चलाया हुआ है। इस फोन नंबर पर आमजन किसी भी प्रकार की कानूनी जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।
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बावल में प्रदीप कुमार, सिविल जज और कोसली में सिविल जज निशा की कोर्ट द्वारा राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया किया गया। राष्ट्रीय लोक अदालत में मोटर दुर्घटना मुआवजा, चेक बाउंस, दीवानी मामले, बिजली के मामले व अन्य मामलों का मौके पर ही निपटारा किया गया। इस राष्ट्रीय लोक अदालत में 33 मोटर दुर्घटना मुआवजा के मामलों का निपटारा करते हुए 2.93 करोड़ रुपये मोटर दुर्घटना में मृतकों के आश्रितों व घायलों के लिए स्वीकृत किए गए।
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इसी तरह 161 चेक बाउंस 27 दीवानी मामले 30 पारिवारिक मामले व 565 बिजली के मामलों का भी निपटारा किया गया। इस दौरान लोगों की काफी भीड़ भी रही।
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लोक अदालत में लोगों को मिला लाभ
बावल निवासी सुरेंद्र ने बताया कि उनका भाई 5 साल पहले सड़क दुर्घटना में घायल हो गया था। लोक अदालत में मुआवजा मिल गया। इससे काफी राहत मिली है। कोसली निवासी राजेंद्र ने बताया कि उसके पिता का चेक बाउंस का मामला 2 साल से चल रहा था अदालत में मामला सुलझ गया। किसी भी प्रकार की कोई परेशानी नहीं हुई।
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लोक अदालत के निर्णय से न किसी की जीत है और न ही किसी की हार : अमित
जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव अमित वर्मा ने बताया कि लोक अदालत से वादों का निपटारा जल्द कराया जा सकता है। लोक अदालत के माध्यम से निर्मित किए गए मामलों में आगे कोई अपील, पुनरीक्षण दायर नहीं की जा सकती। इससे समय व धन दोनों की ही बचत होती है। लोक अदालत के निर्णय से न किसी की जीत और न ही किसी की हार होती है बल्कि दोनों पक्षों के साथ उचित न्याय हो जाता है। उन्होंने बताया कि लोक अदालत का निर्णय दोनों पक्षों पर बाध्यकारी व अंतिम होता है तथा लोक अदालत के निर्णय के विरुद्ध अपील नहीं की जा सकती। लोक अदालत में सुलह द्वारा प्राप्त निर्णय से आपसी द्वेष भावना मिटती है तथा इसमें लोगों को ज्यादा से ज्यादा भागीदार होकर लाभ उठाने का आह्वान किया। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा हेल्पलाइन नंबर 01274-220062 चलाया हुआ है। इस फोन नंबर पर आमजन किसी भी प्रकार की कानूनी जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।