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Hamirpur (Himachal) News: गलोड़ क्षेत्र में 70 फीसदी लोगों में खून की कमी
संवाद न्यूज एजेंसी, हमीरपुर (हि. प्र.)
Updated Mon, 20 Oct 2025 12:24 AM IST
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नवीन ठाकुर
हमीरपुर। बच्चों से लेकर बुजुर्ग और युवतियों से लेकर महिलाएं खून की कमी से जूझ रही हैं। स्वास्थ्य खंड गलोड़ में स्वस्थ नारी सशक्त अभियान के तहत हुई खून की जांच में 2391 लोगों में खून की कमी पाई गई है। इनमें छोटे बच्चे, युवतियां, महिलाएं, बुजुर्ग शामिल हैं।
स्वास्थ्य खंड गलोड़ में अभियान के तहत करीब 3400 लोगों की खून की जांच की गई। लगभग 70 फीसदी लोग टेस्टिंग में एनीमिया का शिकार पाए गए हैं। इस जांच में 1023 लोगों में हल्का एनीमिया (माइल्ड) और 1268 लोगों में मध्यम एनीमिया (मॉडरेट) पाया गया है। अब इनको चिह्नित कर नियमित उपचार करवाने के लिए जागरूक किया गया।
खंड में 49 वर्ष की 55 महिलाओं के टेस्ट में चार लोगों में एनीमिया, 19 साल तक के 147 युवाओं के टेस्ट में माइल्ड एनीमिया के 63, मॉडरेट एनीमिया के 67 मामले हैं। करीब 89 धात्री महिलाओं के टेस्ट में माइल्ड एनीमिया के 23 और मॉडरेट एनीमिया के 34, 20 वर्ष से 49 वर्ष की 1819 महिलाओं के टेस्ट में 509 माइल्ड और मॉडरेट एनीमिया से 899 पीड़ित मिले।
इसके अलावा 10-19 साल के 1076 बच्चों की खून की जांच की गई। इसमें 307 में माइल्ड, 257 में मॉडरेट एनीमिया, पांच से नौ वर्ष के 13 बच्चों के टेस्ट किए गए। इसमें दो में माइल्ड एनीमिया पाया गया।
छह माह से 59 महीने के 26 बच्चों के टेस्ट किए। इसमें 21 में हल्का एनीमिया और पांच में मध्यम एनीमिया पाया गया। करीब 151 गर्भवती महिलाओं के टेस्ट किए गए। इसमें 110 में माइल्ड और 11 में मॉडरेट एनीमिया मिला है।
एनीमिया में शरीर में लाल रक्त कोशिकाएं (आरबीसी) की संख्या में कमी या रक्त में हीमोग्लोबिन की कमी देखी जाती है। हीमोग्लोबिन आरबीसी में मौजूद एक प्रोटीन है, जो फेफड़ों से पूरे शरीर में विभिन्न ऊतकों और अंगों तक ऑक्सीजन पहुंचाने का कार्य करता है। एनीमिया के कारण रक्त में ऑक्सीजन ले जाने की क्षमता कम हो सकती है, जिससे शरीर का समग्र स्वास्थ्य और कामकाज प्रभावित होता है।
एनीमिया के लक्षण
एनीमिया के मरीजों में थकान और कमजोरी, त्वचा का पीला पड़ना, दिल की धड़कन का असामान्य होना, सांस लेने में तकलीफ आदि शामिल हैं। सीने में दर्द के साथ चक्कर आना, हाथों और पैरों का ठंडा पड़ना, सिरदर्द जैसे लक्षण हैं। उचित खानपान से खून की कमी दूर हो सकती है।
बॉक्स
तीन प्रकार का होता है एनीमिया
माइल्ड एनीमिया में खून में हीमोग्लोबिन की मात्रा नौ से 11 ग्राम तक होती है। महिलाओं में हीमोग्लोबिन की मात्रा 12 से 14 तक होनी चाहिए। मॉडरेट एनीमिया में खून में हीमोग्लोबिन की मात्रा सात से नौ तक होती है।
कोट
स्वस्थ नारी सशक्त अभियान के तहत गलोड़ स्वास्थ्य खंड में लगभग 3400 लोगों की खून जांच हुई। जिन लोगों में खून की कमी पाई गई है, उन्हें उचित खानपान प्रयोग करने की सलाह दी गई है। पीड़ित लोगों को उचित स्वास्थ्य सलाह भी दी गई। -अरविंद कौंडल, बीएमओ गलोड़

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हमीरपुर। बच्चों से लेकर बुजुर्ग और युवतियों से लेकर महिलाएं खून की कमी से जूझ रही हैं। स्वास्थ्य खंड गलोड़ में स्वस्थ नारी सशक्त अभियान के तहत हुई खून की जांच में 2391 लोगों में खून की कमी पाई गई है। इनमें छोटे बच्चे, युवतियां, महिलाएं, बुजुर्ग शामिल हैं।
स्वास्थ्य खंड गलोड़ में अभियान के तहत करीब 3400 लोगों की खून की जांच की गई। लगभग 70 फीसदी लोग टेस्टिंग में एनीमिया का शिकार पाए गए हैं। इस जांच में 1023 लोगों में हल्का एनीमिया (माइल्ड) और 1268 लोगों में मध्यम एनीमिया (मॉडरेट) पाया गया है। अब इनको चिह्नित कर नियमित उपचार करवाने के लिए जागरूक किया गया।
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खंड में 49 वर्ष की 55 महिलाओं के टेस्ट में चार लोगों में एनीमिया, 19 साल तक के 147 युवाओं के टेस्ट में माइल्ड एनीमिया के 63, मॉडरेट एनीमिया के 67 मामले हैं। करीब 89 धात्री महिलाओं के टेस्ट में माइल्ड एनीमिया के 23 और मॉडरेट एनीमिया के 34, 20 वर्ष से 49 वर्ष की 1819 महिलाओं के टेस्ट में 509 माइल्ड और मॉडरेट एनीमिया से 899 पीड़ित मिले।
इसके अलावा 10-19 साल के 1076 बच्चों की खून की जांच की गई। इसमें 307 में माइल्ड, 257 में मॉडरेट एनीमिया, पांच से नौ वर्ष के 13 बच्चों के टेस्ट किए गए। इसमें दो में माइल्ड एनीमिया पाया गया।
छह माह से 59 महीने के 26 बच्चों के टेस्ट किए। इसमें 21 में हल्का एनीमिया और पांच में मध्यम एनीमिया पाया गया। करीब 151 गर्भवती महिलाओं के टेस्ट किए गए। इसमें 110 में माइल्ड और 11 में मॉडरेट एनीमिया मिला है।
एनीमिया में शरीर में लाल रक्त कोशिकाएं (आरबीसी) की संख्या में कमी या रक्त में हीमोग्लोबिन की कमी देखी जाती है। हीमोग्लोबिन आरबीसी में मौजूद एक प्रोटीन है, जो फेफड़ों से पूरे शरीर में विभिन्न ऊतकों और अंगों तक ऑक्सीजन पहुंचाने का कार्य करता है। एनीमिया के कारण रक्त में ऑक्सीजन ले जाने की क्षमता कम हो सकती है, जिससे शरीर का समग्र स्वास्थ्य और कामकाज प्रभावित होता है।
एनीमिया के लक्षण
एनीमिया के मरीजों में थकान और कमजोरी, त्वचा का पीला पड़ना, दिल की धड़कन का असामान्य होना, सांस लेने में तकलीफ आदि शामिल हैं। सीने में दर्द के साथ चक्कर आना, हाथों और पैरों का ठंडा पड़ना, सिरदर्द जैसे लक्षण हैं। उचित खानपान से खून की कमी दूर हो सकती है।
बॉक्स
तीन प्रकार का होता है एनीमिया
माइल्ड एनीमिया में खून में हीमोग्लोबिन की मात्रा नौ से 11 ग्राम तक होती है। महिलाओं में हीमोग्लोबिन की मात्रा 12 से 14 तक होनी चाहिए। मॉडरेट एनीमिया में खून में हीमोग्लोबिन की मात्रा सात से नौ तक होती है।
कोट
स्वस्थ नारी सशक्त अभियान के तहत गलोड़ स्वास्थ्य खंड में लगभग 3400 लोगों की खून जांच हुई। जिन लोगों में खून की कमी पाई गई है, उन्हें उचित खानपान प्रयोग करने की सलाह दी गई है। पीड़ित लोगों को उचित स्वास्थ्य सलाह भी दी गई। -अरविंद कौंडल, बीएमओ गलोड़