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MP: पहचान छिपाने मास्क लगाकर भोपाल में घूमता रहा दरिंदा सलमान, मोबाइल चोरी कर भागा था; अब न्यायिक हिरासत में
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, भोपाल
Published by: भोपाल ब्यूरो
Updated Sat, 29 Nov 2025 09:37 PM IST
सार
मध्य प्रदेश के रायसेन जिले में मासूम से दरिंदगी का मामला प्रदेशभर में तूल पकड़ रहा है। इस घटना को लेकर लोगों का गुस्सा सड़क पर दिखा। जानकारी के अनुसार, घटना के बाद दरिंदा सलमान गांव से दो मोबाइल चोरी कर भागा था, पुलिस मोबाइल चोरी की शिकायत दर्ज करती तो जल्दी पकड़ा जाता।
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विस्तार
मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से सटे रायसेन जिले के गौहरगंज क्षेत्र में 21 नवंबर की देर शाम छह साल की मासूम बच्ची के साथ दरिंदगी करने वाला आरोपी सलमान को दो दिन पहले ही भोपाल से रायसेन पुलिस ने गिरफ्तार किया है। लेकिन उसकी गिरफ्तारी में जितनी रायसेन पुलिस की भद पिटी, उसके लिए जिले के पुलिस अधिकारी ही लगभग जिम्मेदार हैं।
दरिंदा सलमान छह साल की मासूम के साथ 21 नवंबर की देर शाम दरिंदगी की। इसके बाद वह डेढ़-दो घंटे बाद ही एक आदिवासी मजदूर परिवार के कमरे से दो मोबाइल चोरी कर भागा था। दूसरे दिन यानी 22 नवंबर को आदिवासी मजदूर थाने में दोनों मोबाइल चोरी की शिकायत दर्ज कराने पहुंचा था, लेकिन पुलिस ने बड़ी घटना में खुद को व्यस्त दिखाते हुए बाद में मोबाइल गुमशुदगी दर्ज कराने का हवाला देकर फरियादी को चलता कर दिया था।
अगर थाना पुलिस दोनों मोबाइल चोरी की शिकायत को संजीदगी से दर्ज कर मोबाइल नंबरों को सर्विलांस पर लगा देती तो दरिंदा सलमान बहुत जल्दी रायसेन पुलिस की गिरफ्त में आ जाता। पुलिस की किरकिरी भी न होती।
पहचान छिपाने के लिए मास्क लगा रखा था
भोपाल पहुंचने के बाद आरोपी सलमान ने अपनी पहचान छिपाने के लिए मास्क लगा रखा था। गिरफ्तारी से पहले आरोपी सलमान पूरे दिन किराए के कमरे की तलाश में भटकता रहा। उसने कई लोगों से खाली कमरे को लेकर पूछताछ की थी। इसी दौरान कुछ युवकों की नजर उस पर पड़ी। कमरे की तलाश में लगातार घूमता देख उन्होंने उसे रोका और पूछताछ की। व्यवहार संदिग्ध लगने पर युवकों ने उसे अपने पास ही बैठाए रखा और बाद में दो पुलिसकर्मियों के हवाले कर दिया। हालांकि, इस मामले में रायसेन पुलिस का कहना है कि मुखबिर की सूचना के बाद आरोपी की गिरफ्तारी की गई थी।
सलमान 11 दिसंबर तक न्यायिक हिरासत में रहेगा
हालांकि, बाद में पुलिस ने दोनों मोबाइल नंबरों को सर्विलांस में लिया और उसी आधार पर पता लगाया कि सलमान भोपाल में छिपा है। हालांकि पुलिस ने सलमान के पास से मोबाइल बरामद नहीं कर सकी है। फिलहाल आरोपी सलमान को 14 दिन की रिमांड पर लिया गया है। सुरक्षा कारणों से भोपाल कोर्ट के न्यायाधीश हमीदिया अस्पताल पहुंचे, जहां सुनवाई के बाद सलमान को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में लिया गया है। वह 11 दिसंबर तक न्यायिक हिरासत में रहेगा। अभी आरोपी का हमीदिया में इलाज चल रहा है। इलाज पूरा होने के बाद उसे जेल भेजा जाएगा।
आदिवासी मजदूर परिवार के दो मोबाइल चोरी कर फरार हुआ था
दरअसल, सलमान छह साल की मासूम बच्ची के साथ दरिंदगी करने के बाद एक आदिवासी मजदूर परिवार के दो मोबाइल चोरी कर फरार हुआ था। आरोपी इन्हीं मोबाइलों के जरिए अपने अति करीबी लोगों से संपर्क करता और फिर फोन बंद कर लेता, जिस कारण पुलिस उस तक नहीं पहुंच पा रही थी।
ये भी पढ़ें- MP News: छत्रसाल बुंदेलखंड विश्वविद्यालय में धारा 52 लागू, अब कुलपति के सभी अधिकार शासन के अधीन; जानें वजह
स्थानीय पुलिस ने मोबाइल चोरी की शिकायत दर्ज नहीं की थी
घटना के दूसरे दिन 22 नवंबर को ही आदिवासी परिवार थाने पहुंचा और बताया कि बीती देर रात मेरे घर से मेरा और मेरी पत्नी को मोबाइल कोई चोरी कर ले गया है। आरोपी ने फरियादी के घर का दरवाजा भी बाहर से बंद कर दिया था, लेकिन स्थानीय पुलिस ने मोबाइल चोरी की शिकायत दर्ज नहीं की और फरियादी मजदूर को थाने से चलता कर दिया था। भद पिटी तो लगाया सर्विंलांस में लगाया मोबाइल आरोपी की तीन दिन तक गिरफ्तारी नहीं होने से मंडीदीप में कई किलोमीटर लंबा चक्काजाम कर दिया गया। सामाजिक और व्यारिक संगठनों ने विरोध में बाजार बंद कर दिए, लोग सड़कों पर उतरकर प्रदर्शन करने लगे।
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दरिंदा सलमान छह साल की मासूम के साथ 21 नवंबर की देर शाम दरिंदगी की। इसके बाद वह डेढ़-दो घंटे बाद ही एक आदिवासी मजदूर परिवार के कमरे से दो मोबाइल चोरी कर भागा था। दूसरे दिन यानी 22 नवंबर को आदिवासी मजदूर थाने में दोनों मोबाइल चोरी की शिकायत दर्ज कराने पहुंचा था, लेकिन पुलिस ने बड़ी घटना में खुद को व्यस्त दिखाते हुए बाद में मोबाइल गुमशुदगी दर्ज कराने का हवाला देकर फरियादी को चलता कर दिया था।
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अगर थाना पुलिस दोनों मोबाइल चोरी की शिकायत को संजीदगी से दर्ज कर मोबाइल नंबरों को सर्विलांस पर लगा देती तो दरिंदा सलमान बहुत जल्दी रायसेन पुलिस की गिरफ्त में आ जाता। पुलिस की किरकिरी भी न होती।
पहचान छिपाने के लिए मास्क लगा रखा था
भोपाल पहुंचने के बाद आरोपी सलमान ने अपनी पहचान छिपाने के लिए मास्क लगा रखा था। गिरफ्तारी से पहले आरोपी सलमान पूरे दिन किराए के कमरे की तलाश में भटकता रहा। उसने कई लोगों से खाली कमरे को लेकर पूछताछ की थी। इसी दौरान कुछ युवकों की नजर उस पर पड़ी। कमरे की तलाश में लगातार घूमता देख उन्होंने उसे रोका और पूछताछ की। व्यवहार संदिग्ध लगने पर युवकों ने उसे अपने पास ही बैठाए रखा और बाद में दो पुलिसकर्मियों के हवाले कर दिया। हालांकि, इस मामले में रायसेन पुलिस का कहना है कि मुखबिर की सूचना के बाद आरोपी की गिरफ्तारी की गई थी।
सलमान 11 दिसंबर तक न्यायिक हिरासत में रहेगा
हालांकि, बाद में पुलिस ने दोनों मोबाइल नंबरों को सर्विलांस में लिया और उसी आधार पर पता लगाया कि सलमान भोपाल में छिपा है। हालांकि पुलिस ने सलमान के पास से मोबाइल बरामद नहीं कर सकी है। फिलहाल आरोपी सलमान को 14 दिन की रिमांड पर लिया गया है। सुरक्षा कारणों से भोपाल कोर्ट के न्यायाधीश हमीदिया अस्पताल पहुंचे, जहां सुनवाई के बाद सलमान को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में लिया गया है। वह 11 दिसंबर तक न्यायिक हिरासत में रहेगा। अभी आरोपी का हमीदिया में इलाज चल रहा है। इलाज पूरा होने के बाद उसे जेल भेजा जाएगा।
आदिवासी मजदूर परिवार के दो मोबाइल चोरी कर फरार हुआ था
दरअसल, सलमान छह साल की मासूम बच्ची के साथ दरिंदगी करने के बाद एक आदिवासी मजदूर परिवार के दो मोबाइल चोरी कर फरार हुआ था। आरोपी इन्हीं मोबाइलों के जरिए अपने अति करीबी लोगों से संपर्क करता और फिर फोन बंद कर लेता, जिस कारण पुलिस उस तक नहीं पहुंच पा रही थी।
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स्थानीय पुलिस ने मोबाइल चोरी की शिकायत दर्ज नहीं की थी
घटना के दूसरे दिन 22 नवंबर को ही आदिवासी परिवार थाने पहुंचा और बताया कि बीती देर रात मेरे घर से मेरा और मेरी पत्नी को मोबाइल कोई चोरी कर ले गया है। आरोपी ने फरियादी के घर का दरवाजा भी बाहर से बंद कर दिया था, लेकिन स्थानीय पुलिस ने मोबाइल चोरी की शिकायत दर्ज नहीं की और फरियादी मजदूर को थाने से चलता कर दिया था। भद पिटी तो लगाया सर्विंलांस में लगाया मोबाइल आरोपी की तीन दिन तक गिरफ्तारी नहीं होने से मंडीदीप में कई किलोमीटर लंबा चक्काजाम कर दिया गया। सामाजिक और व्यारिक संगठनों ने विरोध में बाजार बंद कर दिए, लोग सड़कों पर उतरकर प्रदर्शन करने लगे।
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