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Vehicle Safety: ग्लोबल और लैटिन NCAP की मांग, दुनियाभर में गाड़ियों पर सेफ्टी लेबल लगाना हो अनिवार्य
ऑटो डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: अमर शर्मा
Updated Thu, 22 May 2025 09:49 PM IST
सार
नई कार खरीदते समय अगर ग्राहक को उसकी सेफ्टी के बारे में साफ जानकारी मिल जाए, तो न सिर्फ सुरक्षित गाड़ियां चुनी जा सकती हैं, बल्कि कंपनियों पर भी बेहतर सुरक्षा देने का दबाव बनेगा।
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Maruti Suzuki Dzire Crash Test
- फोटो : Global NCAP
नई कार खरीदते समय अगर ग्राहक को उसकी सेफ्टी के बारे में साफ जानकारी मिल जाए, तो न सिर्फ सुरक्षित गाड़ियां चुनी जा सकती हैं, बल्कि कंपनियों पर भी बेहतर सुरक्षा देने का दबाव बनेगा। इसी सोच के साथ इस हफ्ते इंटरनेशनल ट्रांसपोर्ट फोरम (ITF) समिट में ग्लोबल NCAP और लैटिन NCAP ने एक साझा रिपोर्ट जारी की है। इसमें दुनियाभर की सरकारों से अपील की गई है कि हर नई कार पर सेफ्टी रेटिंग वाला लेबल अनिवार्य किया जाए। ठीक वैसे ही जैसे फ्रिज या टीवी पर एनर्जी लेबल होते हैं या खाने की चीजों पर न्यूट्रिशन फैक्ट्स दिए जाते हैं।
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Nissan Kicks Crash Test
- फोटो : Global NCAP
क्या है Global NCAP और Latin NCAP
Global NCAP और Latin NCAP दोनों संगठन कारों की सुरक्षा को लेकर काम करते हैं। ताकि सड़कों पर चलने वाले वाहन ज्यादा सुरक्षित बन सकें।
ग्लोबल न्यू कार असेसमेंट प्रोग्राम यानी Global NCAP एक अंतरराष्ट्रीय संस्था है जो दुनिया भर में बिकने वाली नई कारों की सुरक्षा का परीक्षण (क्रैश टेस्ट) करती है। यह संस्था खासकर उन देशों में सक्रिय है जहां कारों की सेफ्टी को लेकर बहुत सख्त नियम नहीं हैं। वहीं, Latin NCAP यानी लैटिन अमेरिका न्यू कार असेसमेंट प्रोग्राम एक क्षेत्रीय संस्था है जो खासतौर पर लैटिन अमेरिका और कैरेबियन देशों में बिकने वाली कारों की सेफ्टी टेस्टिंग करती है।
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Global NCAP और Latin NCAP दोनों संगठन कारों की सुरक्षा को लेकर काम करते हैं। ताकि सड़कों पर चलने वाले वाहन ज्यादा सुरक्षित बन सकें।
ग्लोबल न्यू कार असेसमेंट प्रोग्राम यानी Global NCAP एक अंतरराष्ट्रीय संस्था है जो दुनिया भर में बिकने वाली नई कारों की सुरक्षा का परीक्षण (क्रैश टेस्ट) करती है। यह संस्था खासकर उन देशों में सक्रिय है जहां कारों की सेफ्टी को लेकर बहुत सख्त नियम नहीं हैं। वहीं, Latin NCAP यानी लैटिन अमेरिका न्यू कार असेसमेंट प्रोग्राम एक क्षेत्रीय संस्था है जो खासतौर पर लैटिन अमेरिका और कैरेबियन देशों में बिकने वाली कारों की सेफ्टी टेस्टिंग करती है।
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Honda Amaze Crash Test
- फोटो : Global NCAP
ग्राहक को मिल सकेगी सेफ्टी की सही जानकारी
अभी जब कोई ग्राहक शोरूम में कार खरीदने जाता है, तो उसके पास गाड़ी की सुरक्षा से जुड़ी कोई साफ जानकारी नहीं होती। अगर सेफ्टी लेबल मौजूद होगा, खासतौर पर NCAP द्वारा दिए गए स्टार रेटिंग सिस्टम की तरह, तो ग्राहक को यह तुरंत समझ में आ जाएगा कि गाड़ी कितनी सुरक्षित है। इससे ग्राहक सोच-समझकर फैसला ले पाएंगे और ऑटो कंपनियों पर सुरक्षित गाड़ियां बनाने का दबाव भी बनेगा।
सिर्फ अच्छी गाड़ियों पर नहीं, बल्कि हर गाड़ी पर ये लेबल अनिवार्य होंगे। ताकि कमजोर परफॉर्मेंस वाली गाड़ियां भी जांच के दायरे में रहें और कोई भी कंपनी इसे टाल न सके।
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अभी जब कोई ग्राहक शोरूम में कार खरीदने जाता है, तो उसके पास गाड़ी की सुरक्षा से जुड़ी कोई साफ जानकारी नहीं होती। अगर सेफ्टी लेबल मौजूद होगा, खासतौर पर NCAP द्वारा दिए गए स्टार रेटिंग सिस्टम की तरह, तो ग्राहक को यह तुरंत समझ में आ जाएगा कि गाड़ी कितनी सुरक्षित है। इससे ग्राहक सोच-समझकर फैसला ले पाएंगे और ऑटो कंपनियों पर सुरक्षित गाड़ियां बनाने का दबाव भी बनेगा।
सिर्फ अच्छी गाड़ियों पर नहीं, बल्कि हर गाड़ी पर ये लेबल अनिवार्य होंगे। ताकि कमजोर परफॉर्मेंस वाली गाड़ियां भी जांच के दायरे में रहें और कोई भी कंपनी इसे टाल न सके।
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Car Crash Test
- फोटो : Global NCAP
तेजी से बढ़ती कारों की संख्या, लेकिन सुरक्षा पीछे
साल 2000 से अब तक दुनिया में लगभग दो अरब से ज्यादा कारें बन चुकी हैं, यानी गाड़ियों का चलन बहुत तेजी से बढ़ा है। लेकिन चिंता की बात यह है कि इनमें से कई गाड़ियों में आज भी जरूरी सुरक्षा फीचर्स नहीं होते। यही वजह है कि सड़क हादसों में मौत और गंभीर चोटों की संख्या लगातार बढ़ रही है।
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साल 2000 से अब तक दुनिया में लगभग दो अरब से ज्यादा कारें बन चुकी हैं, यानी गाड़ियों का चलन बहुत तेजी से बढ़ा है। लेकिन चिंता की बात यह है कि इनमें से कई गाड़ियों में आज भी जरूरी सुरक्षा फीचर्स नहीं होते। यही वजह है कि सड़क हादसों में मौत और गंभीर चोटों की संख्या लगातार बढ़ रही है।
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Mahindra Thar Roxx BNCAP Crash Test
- फोटो : BNCAP
सरकारों की भूमिका और आगे का रास्ता
रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि जब सेफ्टी लेबलिंग जैसी योजनाओं को सरकार का समर्थन मिलता है, तब वे ज्यादा असरदार होती हैं। खासतौर पर सड़क सुरक्षा मंत्रालय जैसी जिम्मेदार एजेंसियों को इसमें बढ़-चढ़कर शामिल होना चाहिए।
लेबलिंग को और भी प्रभावी और सस्ता बनाने के लिए समान डिजाइन, साथ में ब्रोशर और वेबसाइट जैसी जानकारी, और फ्यूल एफिशिएंसी लेबलिंग से जोड़ने का सुझाव दिया गया है।
अगर किसी देश में पहले से NCAP मौजूद है, तो उसकी स्टार रेटिंग को सेफ्टी लेबल का आधार बनाना चाहिए। साथ ही जहां लेबलिंग अभी सिर्फ स्वैच्छिक है, उसे जल्द से जल्द अनिवार्य बनाया जाना चाहिए।
यह भी पढ़ें - Hill Driving: पहाड़ी रास्तों पर ड्राइविंग होती है खूबसूरत लेकिन चुनौतीपूर्ण, इन पांच जरूरी बातों को बिल्कुल न करें नजरअंदाज
रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि जब सेफ्टी लेबलिंग जैसी योजनाओं को सरकार का समर्थन मिलता है, तब वे ज्यादा असरदार होती हैं। खासतौर पर सड़क सुरक्षा मंत्रालय जैसी जिम्मेदार एजेंसियों को इसमें बढ़-चढ़कर शामिल होना चाहिए।
लेबलिंग को और भी प्रभावी और सस्ता बनाने के लिए समान डिजाइन, साथ में ब्रोशर और वेबसाइट जैसी जानकारी, और फ्यूल एफिशिएंसी लेबलिंग से जोड़ने का सुझाव दिया गया है।
अगर किसी देश में पहले से NCAP मौजूद है, तो उसकी स्टार रेटिंग को सेफ्टी लेबल का आधार बनाना चाहिए। साथ ही जहां लेबलिंग अभी सिर्फ स्वैच्छिक है, उसे जल्द से जल्द अनिवार्य बनाया जाना चाहिए।
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