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Jalandhar News: एसीपी–एसएचओ पर धमकाने का आरोप, मां ने राज्यपाल से डीजीपी तक भेजी शिकायत
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-जालंधर में 13 वर्षीय बच्ची की हत्या के मामले में नया मोड़
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संवाद न्यूज एजेंसी, जालंधर
पारस एस्टेट में 13 वर्षीय बच्ची की हत्या मामले में नया विवाद खड़ा हो गया है। मृतक बच्ची की मां ने एसीपी गगनदीप सिंह और थाना रामामंडी के एसएचओ मनजिंदर सिंह पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा है कि दोनों ने परिवार को डराने–धमकाने के साथ भद्दी भाषा का इस्तेमाल किया। महिला ने इसकी लिखित शिकायत पुलिस कमिश्नर जालंधर धनप्रीत कौर सहित राज्यपाल, डीजीपी, पंजाब के मुख्यमंत्री और महिला आयोग को भेजी है।
शिकायत में मां ने आरोप लगाया कि जांच से पहले और बाद में पुलिस अधिकारियों ने परिवार पर दबाव बनाने की कोशिश की। उसने कहा कि एएसआई मंगत राम और उसकी पुलिस पार्टी के खिलाफ कार्रवाई की मांग करने पर एसीपी व एसएचओ ने धमकी दी कि यदि मामला ऊपर तक ले गए तो परिवार के सरकारी नौकरी करने वाले सदस्य को निशाना बनाया जा सकता है।
महिला का कहना है कि दोनों अधिकारी उसकी दिवंगत बेटी का मजाक उड़ाते रहे और बार-बार अपमानजनक शब्दों का प्रयोग किया। मुझे और मेरे परिवार को इन पुलिसकर्मियों से खतरा है। मां ने मांग की है कि एएसआई मंगत राम, उसकी पुलिस पार्टी, एसीपी गगनदीप सिंह और एसएचओ मनजिंदर सिंह के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जाए और उन्हें सेवा से बर्खास्त कर अलग से केस दर्ज किया जाए।
सीपी ने की जांच की पुष्टि
पुलिस कमिश्नर धनप्रीत कौर ने शिकायत मिलने की पुष्टि की है। उन्होंने बताया कि पूरे मामले की जांच एडीसीपी सिटी-2 हरिंदर सिंह गिल को सौंपी गई है। मां ने आशंका जताई है कि इसी पुलिस टीम के रहते निष्पक्ष जांच कठिन है और केस को प्रभावित करने की कोशिश की जा सकती है।
परिवार की मांग
-एसीपी, एसएचओ व एएसआई के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाए।
-दोषी पुलिसकर्मियों को नौकरी से बर्खास्त किया जाए।
-परिवार को सुरक्षा उपलब्ध कराई जाए।
-हत्या के मुख्य आरोपी को कड़ी सजा दी जाए।
धमकी नहीं दी, केवल कानूनी प्रक्रिया समझाई: एसीपी
एसीपी गगनदीप सिंह ने सभी आरोपों को खारिज किया है। उनका कहना है कि बच्ची के परिवार के साथ पुलिस पूरी हमदर्दी रखती है और उन्हें केवल कानूनी प्रक्रिया समझाई गई थी। हमने कोई धमकी नहीं दी। आरोपी को कड़ी से कड़ी सजा दिलवाने के लिए पुलिस गंभीरता से जांच कर रही है। एसएचओ मनजिंदर सिंह ने भी अपना पक्ष रखते हुए कहा कि उन्होंने सिर्फ एफआईआर की औपचारिकताएं बताई थीं और किसी को धमकाया नहीं।
वीडियो में पुलिस की कार्यशैली पर सवाल
घटना के अगले दिन का एक वीडियो भी सामने आया है जिसमें गली की महिलाएं पुलिस से पूछताछ करती दिख रही हैं। महिलाओं ने सवाल उठाया कि घर के अंदर बच्ची पुलिस को कैसे दिखाई नहीं दी जबकि स्थानीय लोगों ने उसे खोज निकाला। इस दौरान पुलिसकर्मी मुस्कुराते हुए दिखाई देते हैं, जिस पर लोगों ने नाराजगी जताई। मामला अब उच्चाधिकारियों तक पहुंच चुका है और जांच शुरू होने के साथ ही पुलिस की कार्यशैली एक बार फिर सवालों के घेरे में है।
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संवाद न्यूज एजेंसी, जालंधर
पारस एस्टेट में 13 वर्षीय बच्ची की हत्या मामले में नया विवाद खड़ा हो गया है। मृतक बच्ची की मां ने एसीपी गगनदीप सिंह और थाना रामामंडी के एसएचओ मनजिंदर सिंह पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा है कि दोनों ने परिवार को डराने–धमकाने के साथ भद्दी भाषा का इस्तेमाल किया। महिला ने इसकी लिखित शिकायत पुलिस कमिश्नर जालंधर धनप्रीत कौर सहित राज्यपाल, डीजीपी, पंजाब के मुख्यमंत्री और महिला आयोग को भेजी है।
शिकायत में मां ने आरोप लगाया कि जांच से पहले और बाद में पुलिस अधिकारियों ने परिवार पर दबाव बनाने की कोशिश की। उसने कहा कि एएसआई मंगत राम और उसकी पुलिस पार्टी के खिलाफ कार्रवाई की मांग करने पर एसीपी व एसएचओ ने धमकी दी कि यदि मामला ऊपर तक ले गए तो परिवार के सरकारी नौकरी करने वाले सदस्य को निशाना बनाया जा सकता है।
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महिला का कहना है कि दोनों अधिकारी उसकी दिवंगत बेटी का मजाक उड़ाते रहे और बार-बार अपमानजनक शब्दों का प्रयोग किया। मुझे और मेरे परिवार को इन पुलिसकर्मियों से खतरा है। मां ने मांग की है कि एएसआई मंगत राम, उसकी पुलिस पार्टी, एसीपी गगनदीप सिंह और एसएचओ मनजिंदर सिंह के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जाए और उन्हें सेवा से बर्खास्त कर अलग से केस दर्ज किया जाए।
सीपी ने की जांच की पुष्टि
पुलिस कमिश्नर धनप्रीत कौर ने शिकायत मिलने की पुष्टि की है। उन्होंने बताया कि पूरे मामले की जांच एडीसीपी सिटी-2 हरिंदर सिंह गिल को सौंपी गई है। मां ने आशंका जताई है कि इसी पुलिस टीम के रहते निष्पक्ष जांच कठिन है और केस को प्रभावित करने की कोशिश की जा सकती है।
परिवार की मांग
-एसीपी, एसएचओ व एएसआई के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाए।
-दोषी पुलिसकर्मियों को नौकरी से बर्खास्त किया जाए।
-परिवार को सुरक्षा उपलब्ध कराई जाए।
-हत्या के मुख्य आरोपी को कड़ी सजा दी जाए।
धमकी नहीं दी, केवल कानूनी प्रक्रिया समझाई: एसीपी
एसीपी गगनदीप सिंह ने सभी आरोपों को खारिज किया है। उनका कहना है कि बच्ची के परिवार के साथ पुलिस पूरी हमदर्दी रखती है और उन्हें केवल कानूनी प्रक्रिया समझाई गई थी। हमने कोई धमकी नहीं दी। आरोपी को कड़ी से कड़ी सजा दिलवाने के लिए पुलिस गंभीरता से जांच कर रही है। एसएचओ मनजिंदर सिंह ने भी अपना पक्ष रखते हुए कहा कि उन्होंने सिर्फ एफआईआर की औपचारिकताएं बताई थीं और किसी को धमकाया नहीं।
वीडियो में पुलिस की कार्यशैली पर सवाल
घटना के अगले दिन का एक वीडियो भी सामने आया है जिसमें गली की महिलाएं पुलिस से पूछताछ करती दिख रही हैं। महिलाओं ने सवाल उठाया कि घर के अंदर बच्ची पुलिस को कैसे दिखाई नहीं दी जबकि स्थानीय लोगों ने उसे खोज निकाला। इस दौरान पुलिसकर्मी मुस्कुराते हुए दिखाई देते हैं, जिस पर लोगों ने नाराजगी जताई। मामला अब उच्चाधिकारियों तक पहुंच चुका है और जांच शुरू होने के साथ ही पुलिस की कार्यशैली एक बार फिर सवालों के घेरे में है।