सब्सक्राइब करें
Hindi News ›   Rajasthan ›   Jaipur News ›   Jaipur News: Leopard Spotted Again in Jaipur; Third Sighting in a Week Sparks Public Alarm

Jaipur News:जयपुर में तेंदुओं का खतरा बढ़ा; एक सप्ताह में तीन घटनाएं, जानिए अब क्या कर रहा है वन विभाग

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, जयपुर Published by: सौरभ भट्ट Updated Fri, 28 Nov 2025 07:35 AM IST
सार

जयपुर में एक बार फिर तेंदुआ दिखाई देने से दहशत फैल गई। शास्त्रीनगर, कल्याण कॉलोनी और सीकर हाउस इलाके की CCTV फुटेज में उसकी मौजूदगी दर्ज हुई। एक हफ्ते में यह तीसरी पुष्टि हुई sighting है। वन विभाग ने सर्च ऑपरेशन शुरू कर दिया है और तेंदुए की मूवमेंट को ट्रैक किया जा रहा है।

विज्ञापन
Jaipur News: Leopard Spotted Again in Jaipur; Third Sighting in a Week Sparks Public Alarm
जयपुर में तेंदुआ - फोटो : अमर उजाला
विज्ञापन

विस्तार
Follow Us

Trending Videos

जयपुर की मुख्य शहरी आबादी में लगातार तेंदुओं की आवाजाही ने दहशत का माहौल पैदा कर दिया है। बीते एक सप्ताह में शहर की मुख्य कॉलोनियों में तेंदुआ दिखाई देने से सनसनी फैली हुई है। इसी सप्ताह  शास्त्री नगर के सीकर हाउस क्षेत्र में तेंदुआ दिखाई दिया, जिसकी कई CCTV फुटेज सामने आई । इसके बाद कल्याण कॉलोनी में तेंदुए को सड़क पार करते और घर की छत पर चलते हुए कैमरों में कैद किया गया। फॉरेस्ट विभाग की टीमों ने सीकर हाउस C-ब्लॉक के खाली प्लॉट के आसपास सर्च ऑपरेशन चलाया। अधिकारियों का कहना है कि तेंदुआ पापड़ के हनुमान मंदिर के पीछे के जंगल क्षेत्र या नाहरगढ़ के वन क्षेत्र से भटककर रिहायशी इलाके में पहुंचा है।  बुधवार (26 नवंबर) को तेंदुआ विद्याधर नगर और पानीपेटच में देखा गया था, जबकि 20 नवंबर को यह सिविल लाइंस — वीवीआईपी घूमता हुआ सीसीटीवी में कैद हो गया। स्थानीय लोगों के अनुसार सुबह करीब 6 बजे कुत्तों के भौंकने पर किसी अनहोनी का अंदेशा हुआ, बाद में CCTV देखने पर तेंदुआ गलियों से गुजरते हुए दिखा। मुख्य वन्यजीव प्रतिपालक अरुण प्रसाद ने कहा, “स्थिति की समीक्षा की जा रही है, जरूरी कदम उठाए जाएंगे।” गनीमत यह है कि जयपुर में इस दौरान तेंदुए द्वारा किसी इंसान पर हमला करने की घटना नहीं हुई है। गौरतलब है कि पिछले साल राजस्थान के उदयपुर में तेंदुओं ने 12 इंसानों की जान ले ली थी। 
यह भी पढें- Jaipur News: मुख्यमंत्री से मिलने पहुंचे अक्षय कुमार, राजस्थान की प्रगति और मेहमाननवाजी के हुए कायल

विज्ञापन
विज्ञापन

तेंदुए शहर में क्यों भटक रहे हैं?

वन विभाग के अधिकारियों के अनुसार तेंदुए के लगातार शहर में दिखने की घटनाएँ वन्यजीव–मानव संघर्ष बढ़ने का संकेत हैं। एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि जंगलों में शिकार की कमी गंभीर चिंता का विषय है। उन्होंने कहा- “तेंदुओं का बार-बार शहर में आना बताता है कि उनके आवास में कुछ ठीक नहीं है। भूख और पानी की कमी उन्हें बाहर आने पर मजबूर कर रही है।”

नया प्रे-बेस तैयार करने में जुटा महकमा
राजस्थान ने शिकार प्रजाति बढ़ाने के लिए मध्य प्रदेश से चीतल (हिरण) मांगे थे, लेकिन MP खुद चीतल की कमी से जूझ रहा है, इसलिए अनुरोध ठुकरा दिया गया। अब राज्य 10 स्थानों पर नया प्री-बेस विकसित कर रहा है, जिसे पूरा होने में 3 से 4 साल लगेंगे।


राजस्थान में पहली बार व्यापक तेंदुआ गणना जारी

वन विभाग तीन चरणों में राज्य की पहली वैज्ञानिक तेंदुआ गणना कर रहा है। इसमें पहले चरण का  पैरों के निशानों (पगमार्क) का सर्वे का काम पूरा हो चुका है।  दूसरा चरण में ट्रांसेक्ट लाइन पद्धति से गणना का काम चल रहा है। इसके बाद तीसरा चरण शुरू होगा जिसमें कैमरा ट्रैप से गिनती की जाएगी। यह पूरा डेटा फरवरी 2026 तक तैयार होगा।

जनगणना में तेंदुओं की बढ़ती संख्या

राजस्थान वॉटरहोल सेंसेस के अनुसार राज्य में तेंदुओं की संख्या में बढ़ोतरी दर्ज की गई है—

  • 2024: 925

  • 2022: 818

  • 2020: 775

  • 2019: 637

  • 2018: 635

  • 2017: 507

NTCA–WII रिपोर्ट (2022) के अनुसार प्रमुख संरक्षित क्षेत्रों में तेंदुओं की संख्या—

  • सरिस्का: 167

  • रणथंभौर: 87

  • मुकुंदरा हिल्स: 49

  • रामगढ़ विषधारी: 19

 



 
विज्ञापन
विज्ञापन

रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News App, iOS Hindi News App और Amarujala Hindi News APP अपने मोबाइल पे|
Get all India News in Hindi related to live update of politics, sports, entertainment, technology and education etc. Stay updated with us for all breaking news from India News and more news in Hindi.

विज्ञापन
विज्ञापन

एड फ्री अनुभव के लिए अमर उजाला प्रीमियम सब्सक्राइब करें

Next Article

Election
एप में पढ़ें

Followed