सब्सक्राइब करें

कमेंट

कमेंट X

😊अति सुंदर 😎बहुत खूब 👌अति उत्तम भाव 👍बहुत बढ़िया.. 🤩लाजवाब 🤩बेहतरीन 🙌क्या खूब कहा 😔बहुत मार्मिक 😀वाह! वाह! क्या बात है! 🤗शानदार 👌गजब 🙏छा गये आप 👏तालियां ✌शाबाश 😍जबरदस्त
Hindi News ›   Shakti ›   Asha Worker Training AI Tool For Female Health Workers in Rural India

Asha Worker Using AI Tool: AI से सशक्त हो रहीं आशा कार्यकर्ता, ग्रामीण भारत में ला रहीं हैं बदलाव

लाइफस्टाइल डेस्क, अमर उजाला Published by: शिवानी अवस्थी Updated Fri, 04 Jul 2025 02:16 PM IST
विज्ञापन
सार

Asha Worker Training AI: जब आशा वर्करों को एक तकनीकी सहायक मिल जाए, तो सोचिए कितनी तेजी से बदलाव आ सकता है। राजस्थान के उदयपुर जिले में एक AI आधारित चैटबॉट आशा वर्करों की मदद कर रहा है, जिससे वे लोगों को सटीक और वैज्ञानिक स्वास्थ्य सलाह तुरंत दे पा रही हैं।

Asha Worker Training AI Tool For Female Health Workers in Rural India
आशा कार्यकर्ता - फोटो : ai

विस्तार
Follow Us

Asha Working Using AI Tool: आज भी भारत के कई दूर दराज इलाकों में स्वास्थ्य सेवाएं पर्याप्त नहीं हैं। डॉक्टरों की कमी, सीमित संसाधन और जागरूकता की कमी के कारण वहां के लोग खासतौर पर महिलाएं और बच्चे बुनियादी स्वास्थ्य सुविधाओं से वंचित रह जाते हैं। ऐसे में जो सबसे मजबूत कड़ी बनकर उभरी हैं, वे हैं आशा कार्यकर्ता, जो गांव-गांव जाकर लोगों को स्वास्थ्य सलाह और सुविधा उपलब्ध कराती हैं।

विज्ञापन
loader
Trending Videos


अब जब इन्हीं आशा वर्करों को एक तकनीकी सहायक मिल जाए, तो सोचिए कितनी तेजी से बदलाव आ सकता है। राजस्थान के उदयपुर जिले में ऐसा ही एक AI आधारित चैटबॉट आशा वर्करों की मदद कर रहा है, जिससे वे लोगों को सटीक और वैज्ञानिक स्वास्थ्य सलाह तुरंत दे पा रही हैं।
विज्ञापन
विज्ञापन


कैसे मददगार बन रही है यह तकनीक?

उदाहरण के लिए, एक आशा वर्कर मनी देवी को गांव की एक महिला ने बताया कि उसके बच्चे का वजन नहीं बढ़ रहा है। वर्कर ने अपने मोबाइल पर चैटबॉट से यह सवाल पूछा और उसे बच्चे के सामान्य वजन की जानकारी मिली। इसके बाद उसने यह भी पूछा कि इस स्थिति में क्या करना चाहिए। चैटबॉट ने तुरंत सलाह दी कि बच्चे को दिन में 8-10 बार दूध पिलाना चाहिए, साथ ही मां को मानसिक रूप से कैसे समझाएं, इसकी भी गाइडेंस दी गई।

ऐसी ही एक और महिला ने बताया कि उसकी माहवारी दो महीने से नहीं आई है लेकिन वह गर्भवती नहीं है। आशा वर्कर ने चैटबॉट से सवाल किया तो जवाब मिला कि यह स्थिति सामान्य हो सकती है और घबराने की जरूरत नहीं।

सबसे बड़ी बात ये है कि यह डिजिटल सहायक सिर्फ हिंदी या हिंग्लिंश टेक्स्ट में ही नहीं, बल्कि वॉइस नोट के रूप में भी जवाब देता है, जिससे कम पढ़ी-लिखी महिलाओं को भी जानकारी समझने में आसानी होती है। यह बॉट आशा कार्यकर्ताओं को उन इलाकों में काम करने में मदद कर रहा है, जहां डॉक्टर दूर होते हैं, सुपरवाइजर अत्यधिक व्यस्त रहते हैं और मोबाइल नेटवर्क भी भरोसेमंद नहीं होता।

तकनीक जो अनुमान नहीं लगाती, सिर्फ सटीक जानकारी देती है

इस तरह की AI तकनीक भारत सरकार और स्वास्थ्य संगठनों के दिशानिर्देशों पर आधारित दस्तावेजों से सटीक जवाब निकालकर आशा कार्यकर्ताओं को भेजती है। अगर किसी सवाल का उत्तर तुरंत न मिले, तो वहां विशेषज्ञ नर्सों की टीम को भेज दिया जाता है और कुछ घंटों में उत्तर मिल जाता है।

बदलाव की ओर एक नई शुरुआत

आज इस तकनीक से सैकड़ों आशा कार्यकर्ता जुड़ चुकी हैं और हजारों सवालों के जवाब पा चुकी हैं, वो भी अपने मोबाइल पर, अपनी भाषा में। इससे उनका आत्मविश्वास बढ़ा है और गांव की महिलाओं और बच्चों को सही समय पर इलाज मिल पा रहा है। इस चैटबॉट का निर्माण खुशी बेबी नाम की एक गैर-लाभकारी संस्था ने किया है। बॉट का निर्माण माइक्रोसॉफ्ट रिसर्च द्वारा विकसित तकनीक के उपयोग से किया है। माइक्रोसॉफ्ट रिसर्च से जुड़ी शोधकर्ता प्रज्ञा रामजी के मुताबिक, आशाओं से सीधे बात करके सिस्टम को उनकी जमीनी जरूरतों के अनुसार ढाला गया है। गैर लाभकारी संस्था के सह-संस्थापक और सीईओ रुचित नागर कहते हैं, "आशा वर्कर हमेशा स्वास्थ्य सेवा की सबसे ज़रूरी कड़ी रही हैं, लेकिन उनके पास हमेशा ज़रूरी उपकरण नहीं रहे।”

विज्ञापन
विज्ञापन

सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट अमर उजाला पर पढ़ें  लाइफ़ स्टाइल से संबंधित समाचार (Lifestyle News in Hindi), लाइफ़स्टाइल जगत (Lifestyle section) की अन्य खबरें जैसे हेल्थ एंड फिटनेस न्यूज़ (Health  and fitness news), लाइव फैशन न्यूज़, (live fashion news) लेटेस्ट फूड न्यूज़ इन हिंदी, (latest food news) रिलेशनशिप न्यूज़ (relationship news in Hindi) और यात्रा (travel news in Hindi)  आदि से संबंधित ब्रेकिंग न्यूज़ (Hindi News)।  

रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News App, iOS Hindi News App और Amarujala Hindi News APP अपने मोबाइल पे|

विज्ञापन
विज्ञापन

एड फ्री अनुभव के लिए अमर उजाला प्रीमियम सब्सक्राइब करें

Next Article

एप में पढ़ें

Followed