{"_id":"68ad8f11a67ab2dfd80c7edc","slug":"apple-announces-iphone-production-india-expansion-plans-2025-08-26","type":"story","status":"publish","title_hn":"Apple का बड़ा ऐलान: ट्रंप के बयान से नहीं डरा एपल, भारत में तेज करेगा विस्तार की रफ्तार, डबल होगा प्रोडक्शन","category":{"title":"Tech Diary","title_hn":"टेक डायरी","slug":"tech-diary"}}
Apple का बड़ा ऐलान: ट्रंप के बयान से नहीं डरा एपल, भारत में तेज करेगा विस्तार की रफ्तार, डबल होगा प्रोडक्शन
टेक डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: नीतीश कुमार
Updated Tue, 26 Aug 2025 04:10 PM IST
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सार
Apple Expansion Plans In India: एपल ने भारत में iPhone उत्पादन को लेकर बड़ी घोषणा की है। कंपनी 2.5 अरब डॉलर निवेश के साथ उत्पादन क्षमता को दोगुना करने की तैयारी में है। अब भारत एपल का नया मैन्युफैक्चरिंग हब बनने की राह पर है।

एपल भारत में बढ़ाएगी निवेश
- फोटो : AI
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विस्तार
अमेरिकी टेक दिग्गज एपल (Apple) ने साफ कर दिया है कि वह भारत में iPhone उत्पादन को लेकर अपने विस्तार की योजना को धीमा नहीं करेगी। कंपनी ने आश्वस्त किया है कि आने वाले वर्षों में निवेश और उत्पादन पहले की तरह जारी रहेगा।
एपल भारत में करीब 2.5 अरब डॉलर का निवेश कर रहा है, जिसके बाद देश में iPhone की सालाना उत्पादन क्षमता मौजूदा 4 करोड़ यूनिट्स से बढ़कर 6 करोड़ यूनिट्स तक पहुंच जाएगी। कंपनी का लक्ष्य न सिर्फ घरेलू बल्कि अमेरिकी बाजार सहित अन्य देशों की मांग को भी पूरा करना है।
भारत में तेजी से बढ़ रहा है एपल का बिजनेस
पिछले कुछ वर्षों में एपल ने भारत में अपनी मौजूदगी तेजी से बढ़ाई है। इसके लिए कंपनी ताइवानी निर्माता फॉक्सकॉन और भारतीय टाटा ग्रुप पर निर्भर है। टाटा ने हाल ही में विस्ट्रॉन के कारखानों और पेगाट्रॉन में हिस्सेदारी लेकर भारत में एपल उत्पादन को और मजबूत किया है।
यह भी पढ़ें: एआई की लड़ाई अब कोर्ट पहुंची, एलन मस्क की xAI ने Apple और OpenAI पर ठोंका मुकदमा
अमेरिका-भारत तनाव के बीच भी जारी रहेगा विस्तार
हालांकि अमेरिका की पिछली सरकार ने भारत से iPhone एक्सपोर्ट को लेकर सख्त रुख अपनाया था, लेकिन एपल की योजना पर इसका असर नहीं पड़ा। गौरतलब है कि स्मार्टफोन और कंप्यूटर जैसे इलेक्ट्रॉनिक उत्पादों को अमेरिकी टैरिफ से छूट मिली हुई है।
ट्रंप का विरोध, कुक का जवाब
पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप कई बार एपल सीईओ टिम कुक से अमेरिका में iPhone बनाने का दबाव डाल चुके थे। एक मीटिंग में ट्रंप ने कहा था “मैं तुम्हें अच्छा ट्रीट कर रहा हूं, लेकिन सुन रहा हूं कि तुम भारत में फैक्ट्रियां लगा रहे हो। यह मुझे पसंद नहीं।” इसके बावजूद टिम कुक ने जुलाई में कहा था कि अमेरिका में बिकने वाले ज्यादातर iPhones अब भारत में बनाए जा रहे हैं।
यह भी पढ़ें: अब बिना इंटरनेट के भी होगी व्हाट्सएप से वीडियो कॉलिंग, गूगल ने दिखाया नई टेक्नोलॉजी का कमाल
चीन से दूरी बनाता एपल
चीन, जो पहले एपल का सबसे बड़ा उत्पादन केंद्र था, अब केवल नॉन-यूएस मार्केट की सप्लाई संभाल रहा है। कंपनी की रणनीति साफ है कि वह चीन पर निर्भरता घटाकर भारत को नया हब बना रही है।
पिछले साल एपल ने भारत से 17 अरब डॉलर के iPhones एक्सपोर्ट किए थे। वहीं, घरेलू बाजार में भी iPhone की बिक्री रिकॉर्ड स्तर पर पहुंची है।

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एपल भारत में करीब 2.5 अरब डॉलर का निवेश कर रहा है, जिसके बाद देश में iPhone की सालाना उत्पादन क्षमता मौजूदा 4 करोड़ यूनिट्स से बढ़कर 6 करोड़ यूनिट्स तक पहुंच जाएगी। कंपनी का लक्ष्य न सिर्फ घरेलू बल्कि अमेरिकी बाजार सहित अन्य देशों की मांग को भी पूरा करना है।
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भारत में तेजी से बढ़ रहा है एपल का बिजनेस
पिछले कुछ वर्षों में एपल ने भारत में अपनी मौजूदगी तेजी से बढ़ाई है। इसके लिए कंपनी ताइवानी निर्माता फॉक्सकॉन और भारतीय टाटा ग्रुप पर निर्भर है। टाटा ने हाल ही में विस्ट्रॉन के कारखानों और पेगाट्रॉन में हिस्सेदारी लेकर भारत में एपल उत्पादन को और मजबूत किया है।
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अमेरिका-भारत तनाव के बीच भी जारी रहेगा विस्तार
हालांकि अमेरिका की पिछली सरकार ने भारत से iPhone एक्सपोर्ट को लेकर सख्त रुख अपनाया था, लेकिन एपल की योजना पर इसका असर नहीं पड़ा। गौरतलब है कि स्मार्टफोन और कंप्यूटर जैसे इलेक्ट्रॉनिक उत्पादों को अमेरिकी टैरिफ से छूट मिली हुई है।
ट्रंप का विरोध, कुक का जवाब
पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप कई बार एपल सीईओ टिम कुक से अमेरिका में iPhone बनाने का दबाव डाल चुके थे। एक मीटिंग में ट्रंप ने कहा था “मैं तुम्हें अच्छा ट्रीट कर रहा हूं, लेकिन सुन रहा हूं कि तुम भारत में फैक्ट्रियां लगा रहे हो। यह मुझे पसंद नहीं।” इसके बावजूद टिम कुक ने जुलाई में कहा था कि अमेरिका में बिकने वाले ज्यादातर iPhones अब भारत में बनाए जा रहे हैं।
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चीन से दूरी बनाता एपल
चीन, जो पहले एपल का सबसे बड़ा उत्पादन केंद्र था, अब केवल नॉन-यूएस मार्केट की सप्लाई संभाल रहा है। कंपनी की रणनीति साफ है कि वह चीन पर निर्भरता घटाकर भारत को नया हब बना रही है।
पिछले साल एपल ने भारत से 17 अरब डॉलर के iPhones एक्सपोर्ट किए थे। वहीं, घरेलू बाजार में भी iPhone की बिक्री रिकॉर्ड स्तर पर पहुंची है।