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Budaun News: रिकवरी एजेंट पर अभद्रता और पिता को बैंक में बंद करने का आरोप
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म्याऊं। उसावां थाना क्षेत्र के एक बैंक रिकवरी एजेंट पर ग्रामीण ने अभद्रता और पिता को बैंक में बंद करने का आरोप लगाया है। इस मामले में पीड़ित ने तहरीर दी है।
ग्राम पटियन नगला निवासी राजेश कुमार ने स्टेट बैंक ऑफ इंडिया के रिकवरी एजेंट सुशील बाबू पर आरोप लगाया है। पुलिस को दी तहरीर में कहा है कि उसने उनके पिता के साथ अभद्र भाषा का प्रयोग किया और उन्हें बैंक में ले जाकर बंद कर दिया। राजेश ने बताया कि उनके दादा ननकू ने कुछ वर्ष पूर्व बैंक से किसान क्रेडिट कार्ड के माध्यम से 90 हजार का ऋण लिया था। एक वर्ष पूर्व उनकी मृत्यु हो गई। उसके बाद बैंक ने उनके लोन खाते को एनपीए (गैर-निष्पादित परिसंपत्ति) घोषित कर दिया। चार जुलाई की शाम करीब सात बजे रिकवरी एजेंट ने फोन कर 30 हजार तत्काल जमा करने को कहा। पांच जुलाई को सुबह 11 बजे वह उनके घर पहुंचे और उसके पिता से 1.80 लाख रुपये जमा करने को कहा।उनके आर्थिक असमर्थता जताई तो एजेंट ने उनके साथ अभद्रता की और बाइक पर बैठा कर बैंक ले जाकर बंद कर दिया। उनसे किसी को मिलने तक नहीं दिया। कहा कि 10 हजार रुपये जमा कराओ, तभी छोड़ा जाएगा। थाना प्रभारी उसावां ने बताया कि पीड़ित की ओर से तहरीर मिली है। जांच के आधार पर उचित कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
वहीं सुशील बाबू ने सभी आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि लोन में छूट संबंधी प्रक्रिया के लिए बैंक बुलाया गया था। उनके साथ उनके दामाद भी आए थे। आरोपों का निस्तारण पुलिस की उपस्थिति में शाखा प्रबंधक के माध्यम से आपसी बातचीत से कर कर लिया जाएगा।
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ग्राम पटियन नगला निवासी राजेश कुमार ने स्टेट बैंक ऑफ इंडिया के रिकवरी एजेंट सुशील बाबू पर आरोप लगाया है। पुलिस को दी तहरीर में कहा है कि उसने उनके पिता के साथ अभद्र भाषा का प्रयोग किया और उन्हें बैंक में ले जाकर बंद कर दिया। राजेश ने बताया कि उनके दादा ननकू ने कुछ वर्ष पूर्व बैंक से किसान क्रेडिट कार्ड के माध्यम से 90 हजार का ऋण लिया था। एक वर्ष पूर्व उनकी मृत्यु हो गई। उसके बाद बैंक ने उनके लोन खाते को एनपीए (गैर-निष्पादित परिसंपत्ति) घोषित कर दिया। चार जुलाई की शाम करीब सात बजे रिकवरी एजेंट ने फोन कर 30 हजार तत्काल जमा करने को कहा। पांच जुलाई को सुबह 11 बजे वह उनके घर पहुंचे और उसके पिता से 1.80 लाख रुपये जमा करने को कहा।उनके आर्थिक असमर्थता जताई तो एजेंट ने उनके साथ अभद्रता की और बाइक पर बैठा कर बैंक ले जाकर बंद कर दिया। उनसे किसी को मिलने तक नहीं दिया। कहा कि 10 हजार रुपये जमा कराओ, तभी छोड़ा जाएगा। थाना प्रभारी उसावां ने बताया कि पीड़ित की ओर से तहरीर मिली है। जांच के आधार पर उचित कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
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वहीं सुशील बाबू ने सभी आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि लोन में छूट संबंधी प्रक्रिया के लिए बैंक बुलाया गया था। उनके साथ उनके दामाद भी आए थे। आरोपों का निस्तारण पुलिस की उपस्थिति में शाखा प्रबंधक के माध्यम से आपसी बातचीत से कर कर लिया जाएगा।