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Chitrakoot News: पेंशन की राशि कैसे खाते में जाती है... के सवाल पर असहज हुए कोषाधिकारी
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फोटो नंबर- 4-
काेषागार घोटाला मामले में तीन घंटे तक एसआईटी ने की पूछताछ
संवाद न्यूज एजेंसी
चित्रकूट। काेषागार घोटाला मामले में एसआईटी के सवालों पर वरिष्ठ कोषाधिकारी कई बार असहज दिखे। जांच व पूछताछ में बताया कि किस प्रकार पेंशन का वितरण व उनके खाते में रुपये भेजे जाते हैं। तीन घंटे की पूछताछ के दौरान कई सवालों के जवाब से एसआईटी संतुष्ट नजर नहीं आई। उन्हें फिर से दो दिन बाद कुछ तथ्यों के साथ बुलाया गया है।
17 अक्तूबर को कोषागार विभाग में 43.13 करोड़ के घोटाला मामले की जांच जारी है। विभागीय जांच की पहलीरिपोर्ट के बाद एटीओ विकास सचान व एकाउंटेट अशोक कुमार निलंबित हैं। मामले में 93 पेंशनर व चार कोषागार विभाग के अधिकारी कर्मचारियों पर रिपोर्ट दर्ज है। इसमें एक एटीओ संदीप की मृत्यु हो चुकी है।
रिटायर्ड एटीओ अवधेश प्रताप सिंह पुलिस गिरफ्त से दूर हैं। अब उन्हें हाईकोर्ट से गिरफ्तारी पर रोकका स्टे मिला है। 25 दिनों से चल रही जांच के बाद पहली बार बुधवार को एसआईटी ने वरिष्ठ कोषाधिकारी रमेश सिंह को भी जांच के लिए तलब किया। इन्होेंने ने ही रिपोर्ट दर्ज कराई है।
तीन घंटे तक चली पूछताछ के दौरान एसआईटी प्रभारी अरविंद वर्मा व जांच अधिकारी अजीत पांडेय के तीखे सवालों के सामने वरिष्ठ कोषाधिकारी कई बार असहज दिखे। जब एसआईटी ने पूंछा कि आखिर पेंशन की राशि कैसे किस टेबल से पास होकर पेंशनर के खाते में जाती है और इसकी जांच कौन कौन करता है। इस पर उन्होंने पूरा डेमो कर बताया कि किस तरह कार्य होता है। इसके बाद जब उनसे कहा गया कि पूरी जिम्मेदारी तो वरिष्ठ कोषाधिकारी की है तो उन्होंने कहा कि तीन स्थानों से फाइल जंच कर आती है। नियमित समय पर ऑडिट भी होता है। यह घोटाला करने वालों ने कई एप व भुगतान प्रक्रिया को छिपाकर काम किया है। इस पर एसआईटी टीम संतुष्ट नहीं हुई और फिर से कुछ कागजात के साथ आने के लिए कहा है।
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तीन ने जमानत के लिए याचिका डाली
चित्रकूट। जेल में बंद पेंशनर व कोषागार विभाग के आरोपियों में तीन ने अदालत में जमानत के लिए याचिका डाली है। इसके अलावा हाईकोर्ट में गिरफ्तारी से बचने के लिए अग्रिम स्टे मामले में निर्मला देवी के कागजात को फिर से तलब किया गया है। अधिवक्ता आशीष तिवारी ने बताया कि इन मामलों में अभी जमानत नहीं मिली है। अदालत ने सुनवाई की तिथी तय की है।
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सात दिन बाद जमा हुई धनराशि
चित्रकूट। कोषागार घोटाला मामले में रिकवरी का दौर जिस तरह पहले चला अब बिल्कुल ठंडा है। सात दिन बाद सावित्रीदेवी के खाते में दो लाख 20 हजार रुपये जमा किए गए हैं। वरिष्ठ कोषाधिकारी रमेश सिंह ने बताया कि अबतक तीन करोड़ 60 लाख 74 हजार 16 रुपये की रिकवरी हो चुकी है।
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काेषागार घोटाला मामले में तीन घंटे तक एसआईटी ने की पूछताछ
संवाद न्यूज एजेंसी
चित्रकूट। काेषागार घोटाला मामले में एसआईटी के सवालों पर वरिष्ठ कोषाधिकारी कई बार असहज दिखे। जांच व पूछताछ में बताया कि किस प्रकार पेंशन का वितरण व उनके खाते में रुपये भेजे जाते हैं। तीन घंटे की पूछताछ के दौरान कई सवालों के जवाब से एसआईटी संतुष्ट नजर नहीं आई। उन्हें फिर से दो दिन बाद कुछ तथ्यों के साथ बुलाया गया है।
17 अक्तूबर को कोषागार विभाग में 43.13 करोड़ के घोटाला मामले की जांच जारी है। विभागीय जांच की पहलीरिपोर्ट के बाद एटीओ विकास सचान व एकाउंटेट अशोक कुमार निलंबित हैं। मामले में 93 पेंशनर व चार कोषागार विभाग के अधिकारी कर्मचारियों पर रिपोर्ट दर्ज है। इसमें एक एटीओ संदीप की मृत्यु हो चुकी है।
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रिटायर्ड एटीओ अवधेश प्रताप सिंह पुलिस गिरफ्त से दूर हैं। अब उन्हें हाईकोर्ट से गिरफ्तारी पर रोकका स्टे मिला है। 25 दिनों से चल रही जांच के बाद पहली बार बुधवार को एसआईटी ने वरिष्ठ कोषाधिकारी रमेश सिंह को भी जांच के लिए तलब किया। इन्होेंने ने ही रिपोर्ट दर्ज कराई है।
तीन घंटे तक चली पूछताछ के दौरान एसआईटी प्रभारी अरविंद वर्मा व जांच अधिकारी अजीत पांडेय के तीखे सवालों के सामने वरिष्ठ कोषाधिकारी कई बार असहज दिखे। जब एसआईटी ने पूंछा कि आखिर पेंशन की राशि कैसे किस टेबल से पास होकर पेंशनर के खाते में जाती है और इसकी जांच कौन कौन करता है। इस पर उन्होंने पूरा डेमो कर बताया कि किस तरह कार्य होता है। इसके बाद जब उनसे कहा गया कि पूरी जिम्मेदारी तो वरिष्ठ कोषाधिकारी की है तो उन्होंने कहा कि तीन स्थानों से फाइल जंच कर आती है। नियमित समय पर ऑडिट भी होता है। यह घोटाला करने वालों ने कई एप व भुगतान प्रक्रिया को छिपाकर काम किया है। इस पर एसआईटी टीम संतुष्ट नहीं हुई और फिर से कुछ कागजात के साथ आने के लिए कहा है।
तीन ने जमानत के लिए याचिका डाली
चित्रकूट। जेल में बंद पेंशनर व कोषागार विभाग के आरोपियों में तीन ने अदालत में जमानत के लिए याचिका डाली है। इसके अलावा हाईकोर्ट में गिरफ्तारी से बचने के लिए अग्रिम स्टे मामले में निर्मला देवी के कागजात को फिर से तलब किया गया है। अधिवक्ता आशीष तिवारी ने बताया कि इन मामलों में अभी जमानत नहीं मिली है। अदालत ने सुनवाई की तिथी तय की है।
सात दिन बाद जमा हुई धनराशि
चित्रकूट। कोषागार घोटाला मामले में रिकवरी का दौर जिस तरह पहले चला अब बिल्कुल ठंडा है। सात दिन बाद सावित्रीदेवी के खाते में दो लाख 20 हजार रुपये जमा किए गए हैं। वरिष्ठ कोषाधिकारी रमेश सिंह ने बताया कि अबतक तीन करोड़ 60 लाख 74 हजार 16 रुपये की रिकवरी हो चुकी है।