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चौकीदारों ने प्रदर्शन किया
Sant Kabir Nagar
Updated Wed, 24 Aug 2016 11:30 PM IST
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ग्रामीण चौकीदार अधिकार मोर्चा के बैनर तले चौकीदारों ने कलेक्ट्रेट पर प्रदर्शन किया और धरने पर बैठ गए।
- फोटो : अमर उजाला
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ग्रामीण चौकीदार अधिकार मोर्चा के बैनर तले बुधवार को चौकीदारों ने कलेक्ट्रेट पर प्रदर्शन किया और धरने पर बैठ गए। इस दौरान चौकीदारों ने मांग किया कि उन्हें चतुर्थश्रेणी कर्मचारी घोषित किया जाए। धरना के बाद मुख्यमंत्री को संबोधित पांच सूत्री मांग पत्र अपर जिलाधिकारी को दिया।
ग्रामीण चौकीदार अधिकार मोर्चा के जिलाध्यक्ष रंगीलाल व महामंत्री रणजीत यादव के नेतृत्व में बड़ी संख्या में चौकीदार पूर्वाह्न 11 बजे कलेक्ट्रेट पहुंचे और प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के बाद चौकीदार कलेक्ट्रेट परिसर में धरना पर बैठ गए। इस दौरान वक्ताओं ने कहा कि चौकीदारों से 24 घंटे काम लिया जाता है, लेकिन मानदेय के नाम पर मात्र 1500 रुपये ही मिलते हैं। यही नहीं अधिकारी चौकीदारों से अपने घर का काम भी करा रहे हैं। जिलाध्यक्ष ने कहा कि अन्य प्रांतों में चौकीदारों को 1990 से ही चतुर्थश्रेणी कर्मचारी घोषित कर 12 हजार से लेकर 14 हजार रुपयेे वेतन के रूप में दिए जा रहे हैं।
ऐसे में चौकीदारों को तत्काल चतुर्थश्रेणी कर्मचारी घोषित किया जाए। ग्रामीण चौकीदारों का नाम बदल कर ग्रामीण पुलिस किया जाए और किसी भी अवस्था में दुर्घटना होने पर बीमा के रूप में पांच लाख व बीमारी में निशुल्क इलाज की व्यवस्था की जाए। चौकीदारों के लिए प्रदेश मुख्यालय व जिला मुख्यालय पर अलग कार्यालय बनाया जाए। यदि मांगों पर ध्यान नहीं दिया गया तो अनिश्चितकालीन धरना-प्रदर्शन किया जाएगा। प्रदर्शन व धरना में गोविंद, राजकुमार, सुरेंद्र कुमार, राजाराम यादव, जोखन, राम अचल, राम अजोर, शिवपूजन सहित तमाम लोग उपस्थित रहे।

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ग्रामीण चौकीदार अधिकार मोर्चा के जिलाध्यक्ष रंगीलाल व महामंत्री रणजीत यादव के नेतृत्व में बड़ी संख्या में चौकीदार पूर्वाह्न 11 बजे कलेक्ट्रेट पहुंचे और प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के बाद चौकीदार कलेक्ट्रेट परिसर में धरना पर बैठ गए। इस दौरान वक्ताओं ने कहा कि चौकीदारों से 24 घंटे काम लिया जाता है, लेकिन मानदेय के नाम पर मात्र 1500 रुपये ही मिलते हैं। यही नहीं अधिकारी चौकीदारों से अपने घर का काम भी करा रहे हैं। जिलाध्यक्ष ने कहा कि अन्य प्रांतों में चौकीदारों को 1990 से ही चतुर्थश्रेणी कर्मचारी घोषित कर 12 हजार से लेकर 14 हजार रुपयेे वेतन के रूप में दिए जा रहे हैं।
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ऐसे में चौकीदारों को तत्काल चतुर्थश्रेणी कर्मचारी घोषित किया जाए। ग्रामीण चौकीदारों का नाम बदल कर ग्रामीण पुलिस किया जाए और किसी भी अवस्था में दुर्घटना होने पर बीमा के रूप में पांच लाख व बीमारी में निशुल्क इलाज की व्यवस्था की जाए। चौकीदारों के लिए प्रदेश मुख्यालय व जिला मुख्यालय पर अलग कार्यालय बनाया जाए। यदि मांगों पर ध्यान नहीं दिया गया तो अनिश्चितकालीन धरना-प्रदर्शन किया जाएगा। प्रदर्शन व धरना में गोविंद, राजकुमार, सुरेंद्र कुमार, राजाराम यादव, जोखन, राम अचल, राम अजोर, शिवपूजन सहित तमाम लोग उपस्थित रहे।