तूफान 'मोंथा' का असर कई राज्यों में देखने को मिला इतना ही नहीं चक्रवात मोंथा के कारण आंध्र प्रदेश सहित कई राज्यों में काफी नुकसान हुआ। अब आंध्र प्रदेश में दो और लोगों की जान भी गई है। जबकि डेढ़ लाख एकड़ में खड़ी फसल बर्बाद हुई। खबरों की मानें तो चक्रवात का असर तेलंगाना, ओडिशा और पश्चिम बंगाल सहित कुछ अन्य राज्यों पर भी पड़ा। मोंथा मंगलवार देर रात आंध्र के तट से टकराने के बाद कमजोर पड़ गया। लेकिन उससे पहले भारी बारिश और तेज हवाओं के कारण कई स्थानों पर पेड़ उखड़ गए, मकान ढह गए और सड़कों पर पानी भर गया। बिजली की आपूर्ति और यातायात प्रभावित हुआ। इस बीच मौसम विभाग ने दो दिनों तक आंध्र प्रदेश के कुछ हिस्सों और उत्तरी तटीय क्षेत्रों में हल्की से सामान्य बारिश का अनुमान व्यक्त किया है। चक्रवात मंगलवार मध्य रात्रि को आंध्र प्रदेश के मछलीपट्टनम तट से टकराने के बाद कमजोर पड़ गया। तूफान को देखते हुए आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने तूफान से प्रभावित जिलों का Aerial survey किया। उन्होंने कहा कि सतर्कता बरतने के कारण कम नुकसान हुआ।
वहीं कोलकाता में चक्रवात मोंथा के कमजोर पड़ने के बाद शुक्रवार तक पश्चिम बंगाल के कई हिस्सों में भारी बारिश का अनुमान है। मौसम विभाग ने मुताबिक मौसम प्रणाली उत्तर-उत्तर पश्चिम की दिशा में बढ़ रही है और इसलिए दक्षिण बंगाल में हल्के से सामान्य बारिश होने के आसार हैं। वहीं, दक्षिण 24 परगना, पूरबा और पश्चिम मेदनीपुर, झारग्राम, बीरभूम, मुर्शिदाबाद, पूरबा बर्धमान और पुरुलिया जिलों में शुक्रवार तक भारी बारिश का अनुमान जताया गया है।ओडिशा में 25 जगहों पर भारी बारिश हुई। चक्रवात के असर से बचाने के लिए 2,000 से ज्यादा गर्भवती महिलाओं को प्रसूती गृहों में भर्ती कराया गया। चक्रवात बुधवार सुबह ओडिशा के गंजम जिले पहुंचा और यहां समुद्र में ऊंची-ऊंची लहरें उठीं। हवा की रफ्तार 80-100 किमी प्रति घंटे पहुंच गई है। मौसम विभाग की निदेशक मनोरमा मोहंती ने कहा कि गजपति जिले में सबसे ज्यादा बारिश हुई। यहां 150.5 मिलिमीटर बारिश दर्ज की गई। बृहस्पतिवार को भी कुछ स्थानों पर भारी बारिश का अनुमान लगाया गया है।