Bihar News : जदयू दफ्तर से निकले सीएम नीतीश कुमार, पार्टी के नेताओं से क्या हुई बात, प्रदेश अध्यक्ष कुशवाहा ने
Nitish Kumar : लालू प्रसाद यादव की पार्टी राष्ट्रीय जनता दल और नीतीश कुमार पार्टी जनता दल यूनाईटेड के बीच लोकसभा चुनाव में सीटों के बंटवारे पर समन्वय नहीं बन सका है। इस बीच, अभी-अभी नीतीश जदयू अध्यक्ष बनने के बाद पहली बार पार्टी दफ्तर पहुंचे हैं।
विस्तार
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जनता दल यूनाईटेड का राष्ट्रीय अध्यक्ष बनने के बाद पहली बार पार्टी दफ्तर पहुंचे हैं। लोकसभा चुनाव 2024 के लिए बिहार की 40 सीटों के बंटवारे पर राष्ट्रीय जनता दल समेत शेष सहयोगी दलों से समझौता नहीं हुआ है और इस बीच बुधवार को धुंध-ठंड के बीच नीतीश अपनी पार्टी के नेताओं से सीट शेयरिंग समेत कई मुद्दों पर बात करने पहुंचे हैं।
जदयू में आगे क्या बदलेगा, आज से शुरुआत
जदयू कार्यालय से लेकर संगठन तक में अध्यक्ष बदलने के बाद अब क्या बदलाव होंगे, उसकी एक तरह से आज ही शुरुआत होगी। राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह ने अध्यक्ष बनने के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के समानांतर जदयू दफ्तर के दोनों द्वार पर एलईडी लाइट वाली अपनी भी तस्वीर लगवाई थी। अब सीएम भी नीतीश हैं और अध्यक्ष भी वही, ऐसे में देखना होगा कि गेट में बदलाव होता है या नहीं। इसके अलावा, अबतक संगठन में बदलाव के लिए कुछ नहीं किया गया है। जदयू अध्यक्ष रहते ललन सिंह ने जिन्हें, जो जिम्मेदारी दी थी- वह कायम है। अब नए अध्यक्ष नीतीश कुमार इसमें फेरबदल करते हैं या विस्तार के नाम पर कुछ बदलाव करते हैं तो उसकी शुरुआत एक तरह से आज हो जाने की संभावना है। प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा नीतीश कुमार की पसंद से ही आए थे और जदयू के लव-कुश समीकरण के हिसाब से कुशवाहा होने के कारण जगह पर दिख रहे हैं, इसलिए वहां छेड़छाड़ की उम्मीद नहीं है। चुनाव के बावजूद राष्ट्रीय अध्यक्ष बदले जा चुके हैं, इसलिए कोई कुर्सी पक्की नहीं- यह भी एक तय बात है। अब भूमिहार की जगह एक बार फिर लव, यानी कुर्मी वर्ग के प्रतिनिधि नीतीश कुमार राष्ट्रीय अध्यक्ष की कुर्सी पर हैं।
लालू प्रसाद यादव ने दिया था यह बयान
सीट शेयरिंग को लेकर सवाल पूछने पर लालू प्रसाद यादव नकार चुके हैं। उन्होंने कहा कि सीट शेयरिंग इतनी जल्दी थोड़ी हो जाती है। उनके इस बयान के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जदयू कार्यालय पहुंचे हैं। लालू प्रसाद यादव के बयान के बाद जदयू में अब यह चर्चा जोरों पर है कि जदयू में सीट शेयरिंग कैसे होगी? किस सीट पर कौन लड़ेगा और किन्हे कौन सी जिम्मेदारी दी जाएगी? जहां एक ओर जदयू के बड़बोले नेता गोपाल मंडल सहित कई अन्य नेता और विधायक अलग-अलग जगहों से संसदीय सीटों पर दावा ठोक रहे हैं। इसलिए जब तक यह स्पष्ट नहीं हो जाता है कि जदयू कितने सीटों पर चुनाव लड़ेगी तब तक जदयू पार्टी अपना अपनी प्रत्याशी तय नहीं कर पायेगी। इन्हीं सब बातों को लेकर जब लालू प्रसाद यादव से सीट शेयरिंग को लेकर सवाल पूछा गया तब उन्होंने कहा कि इतनी जल्दी कुछ नहीं हो सकता है। इसका मतलब यह है कि अगर सीट शेयरिंग में विलम्ब होगा तो जदयू अपने सीटों का बंटवारा कैसे करेगी, संगठन में किसको क्या जिम्मेदारी दी जाएगी, यह स्पष्ट नहीं हो पायेगा।
प्रदेश अध्यक्ष ने बताई मुख्यमंत्री के जदयू कार्यालय आने की वजह
जदयू के प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा का कहना है कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार राष्ट्रीय अध्यक्ष बनने के बाद पहली बार जदयू कार्यालय पहुंचे। इस मौके पर वह पार्टी के तमाम नेता, अधिकारी और कार्यकर्ताओं ने उनका भरपूर स्वागत किया। वह सभी लोगों से मिले। सभी कार्यकर्ता और नेताओं ने नीतीश कुमार मुख्यमंत्री के सामने अपनी बात को रखा। राजनीतिक मुद्दों और चुनावी मुद्दों के सवाल पर उमेश कुशवाहा ने कहा कि इन सारे मुद्दों पर बात नहीं हुई। उनके यहां आने का कारण सिर्फ औपचारिक रूप से नेताओं और कार्यकर्ताओं से मिलना था।