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जेट एयरवेज के बंद होने से विदेशी एयरलाइंस को हो रहा फायदा, इतना ज्यादा बढ़ गया हवाई किराया

बिजनेस डेस्क, अमर उजाला Published by: ‌डिंपल अलवधी Updated Sat, 27 Apr 2019 12:29 PM IST
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Foreign carriers savour rising India demand as Jet Airways crumbles
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बंद हो चुकी जेट एयरवेज की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। लंबे समय से आर्थिक संकट से जूझ रही जेट एयरवेज के रिवाइवल की गुंजाइश भी कम लग रही है। एक समय था जब धड़ाम हुई जेट भारत की सबसे बड़ी एयरलाइन कंपनी थी। जेट के शेयर भी लगातार गिरते ही जा रहे हैं। अब विमानन कंपनी का बंद होने का फायदा विदेशी एयरलाइन उठा रही हैं। 

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यात्रियों पर विदेशी एयरलाइन की नजर 

17 अप्रैल 2019 की तारीख देश के विमानन इतिहास में याद रखी जाएगी क्योंकि इसी दिन जेट एयरवेज के विमान ने अपनी आखिरी उड़ान भरी थी। इसके बाद अनिश्चितकाल के लिए इस कंपनी की सेवाएं बंद हो गई हैं। जेट के करीब एक मिलियन यात्रियों पर अब विदेशी एयरलाइन की नजर है। 

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32 फीसदी बढ़ा किराया

मेक माई ट्रिप के अनुसार, पिछले एक साल में भारत से दुबई, लंदन, न्यूयॉर्क, सिंगापुर और बालि जाने का किराया चार फीसदी से लेकर 32 फीसदी तक बढ़ा है। 

36 फीसदी बढ़ा लंदन जाने का किराया

मई और जून में यात्रियों की संख्या और भी बढ़ जाती है। यात्रा डॉट कॉम के अनुसार पिछले एक साल में भारत से लंदन तक का किराया 36 फीसदी बढ़ गया है। वहीं सैन फ्रैंकिस्को जाने के लिए यात्रियों को 20 फीसदी ज्यादा पैसे चुकाने पड़ते हैं। 

और बढ़ेगा हवाई किराया

विशेषज्ञों की मानें तो आगानी तीम महीनों में हवाई यात्रा का किराया और भी बढ़ेगा। उनका कहना है कि कम से कम जून तक किराए में हुई वृद्धि जारी रहेगी। 

विदेशी एयरलाइंस में सफर कर रहे यात्री

जेट एयरवेज के धड़ाम होने से यात्री विदेशी एयरलाइंस में सफर कर रहे हैं। ब्रिटिश एयरवेज, कैथी पैसिफिक एयरवेज, सिंगापुर एयरलाइंस और यूनाइटेड एयरलाइंस में भारतीय यात्रियों की संख्या में 27 फीसदी की वृद्धि हुई है। 

मुश्किल है कंपनी का रिवाइवल

एयर इंडिया के पूर्व ईडी और एविएशन एक्सपर्ट जितेंद्र भार्गव ने बताया कि, 'जेट को बचाने के लिए नए प्रमोटर को तत्काल 10,000 करोड़ लगाने होंगे। इसके साथ ही बैंक को भी 8,500 करोड़ के कर्ज में से आधा कर्ज माफ करना होगा।' यदि कंपनी को कोई नया प्रमोटर मिल भी जाता है, तो भी रिवाइव करने में कम से कम तीन महीने लगेंगे। बता दें कि जेट को यात्रियों के भी 360 करोड़ रुपये लौटाने हैं। इसलिए लंबे समय से आर्थिक संकट से जूझ रही जेट एयरवेज के रिवाइवल की गुंजाइश कम लग रही है।

जेट एयरवेज के दोबारा उड़ान भरने पर संदेह

जेट एयरवेज के विमान ने अंतिम उड़ान 17 अप्रैल को रात 10.30 बजे अमृतसर के हवाई अड्डे से मुंबई के छत्रपति शिवाजी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के लिए उड़ान भरी थी। सरकार ने जेट के स्लॉट दूसरी एयरलाइंस को दिए हैं। एयर इंडिया, इंडिगो और स्पाइसजेट को जेट के विमान लीज पर दिए गए हैं। इस संदर्भ में जेट के एक डायरेक्टर ने कहा कि दूसरी एयरलाइंस को स्लॉट अस्थायी रूप से दिए जा रहे हैं। 

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