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Tata: 2011 के बाद पहली बार टाटा परिवार का सदस्य टाटा संस व ट्रस्ट्स दोनों के बोर्ड में, नोएल टाटा की एंट्री
बिजनेस डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: कुमार विवेक
Updated Tue, 05 Nov 2024 11:04 AM IST
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सार
नोएल टाटा 2011 के बाद टाटा परिवार के पहले सदस्य हैं जो टाटा ट्रस्ट्स और टाटा संस दोनों के बोर्ड में एक साथ काम करेंगे। टाटा ट्रस्ट्स के पास टाटा संस में 66% हिस्सेदारी है, जो इसे समूह का बड़ा शेयरधारक बनाता है। आइए नोएल की ताजपोशी के बारे में जानें।

नोएल टाटा
- फोटो : टाटा इंटरनेशनल

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विस्तार
नोएल टाटा को शुक्रवार को टाटा समूह की होल्डिंग कंपनी टाटा संस के बोर्ड में टाटा ट्रस्ट्स के प्रतिनिधि के रूप में नियुक्त कर लिया गया। उन्हें पिछले महीने रतन टाटा के निधन के बाद टाटा ट्रस्ट्स का अध्यक्ष नियुक्त किया गया था। मामले की जानकारी रखने वाले लोगों के अनुसार दिवाली की पूर्व संध्या पर आयोजित टाटा संस की एक वर्चुअल बैठक में नोएल टाटा की नियुक्ति से जुड़ा एक ऑनलाइन प्रस्ताव पारित किया गया।
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नोएल टाटा टाटा समूह की कई अन्य कंपनियों के बोर्ड में भी बने हुए हैं। वे 2011 के बाद से टाटा परिवार के पहले सदस्य हैं जो टाटा ट्रस्ट्स और टाटा संस दोनों के बोर्ड में एक साथ काम करेंगे। टाटा ट्रस्ट्स के पास टाटा संस में 66% हिस्सेदारी है, जो ट्रस्ट्स को टाटा समूह का बड़ा शेयरधारक बनाता है। नोएल टाटा के टाटा संस में शामिल होने के साथ, अब कंपनी के बोर्ड में टीवीएस के मानद चेयरमैन वेणु श्रीनिवासन और रक्षा मंत्रालय के पूर्व नौकरशाह विजय सिंह के साथ टाटा ट्रस्ट्स के तीन नामित निदेशक या प्रतिनिधि हैं। इस मसले पर टाटा संस की ओर से कोई टिप्पणी नहीं की गई है।
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टाटा संस के आर्टिकल्स ऑफ एसोसिएशन (एओए) के अनुसार, ट्रस्ट्स बोर्ड के एक तिहाई निदेशकों को नामित कर सकते हैं। वर्तमान में, टाटा संस बोर्ड में नौ निदेशक हैं- अध्यक्ष एन चंद्रशेखरन सहित दो कार्यकारी निदेशक, नोएल टाटा, श्रीनिवासन और सिंह सहित तीन गैर-कार्यकारी निदेशक और चार स्वतंत्र निदेशक।
अंदरूनी सूत्रों के अनुसार, नोएल टाटा ने अपनी नियुक्ति के बाद चंद्रशेखरन से मुलाकात की, जिससे दोनों के बीच "स्वस्थ कार्य संबंध" की नींव पड़ी। नोएल टाटा वर्तमान में टाटा इन्वेस्टमेंट कॉर्प, ट्रेंट और वोल्टास के गैर-कार्यकारी निदेशक और अध्यक्ष के रूप में कार्य करते हैं, जबकि टाइटन और टाटा स्टील में उपाध्यक्ष और गैर-कार्यकारी निदेशक का पद भी संभाल रहे हैं। रतन टाटा टाटा ट्रस्ट के चेयरमैन और टाटा संस के मानद चेयरमैन थे। 2022 में, टाटा संस बोर्ड ने अपने एओए में संशोधन किया ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि एक ही व्यक्ति दोनों संस्थाओं का नेतृत्व न करे।
67 वर्षीय नोएल टाटा ने 65 वर्ष की आयु में समूह की कंपनियों में अपनी कार्यकारी भूमिकाएं छोड़ दीं थी। इस आयु पर समूह में सेवानिवृत्ति अनिवार्य है। कार्यकारी अधिकारियों को भी 70 वर्ष की आयु में सभी बोर्ड पदों को छोड़ना आवश्यक है। हालांकि, ट्रस्टी या अध्यक्ष के लिए कोई सेवानिवृत्ति आयु नहीं है। समूह के करीबी विशेषज्ञों ने कहा कि नोएल टाटा समूह कंपनियों की अध्यक्षता जारी रख सकते हैं इसमें कोई कानूनी अड़चन नहीं हैं क्योंकि यह एक गैर-कार्यकारी भूमिका है।
नोएल टाटा अप्रैल 2014 में एफएच कवारना के बाद समूह के खुदरा प्रभाग ट्रेंट के अध्यक्ष बने। उनके नेतृत्व में, खुदरा शृंखला का राजस्व वित्त वर्ष 2014 में 2,333 करोड़ रुपये से 430% बढ़कर वित्त वर्ष 2024 में 12,375 करोड़ रुपये हो गया, जो 19 करोड़ रुपये के नुकसान से 1,477 करोड़ रुपये के लाभ में बदल गया।
अगस्त 2017 में, नोएल टाटा ने वोल्टास के अध्यक्ष का पद संभाला। तब से, कंपनी का राजस्व वित्त वर्ष 2017 में 6,404 करोड़ रुपये से दोगुना होकर वित्त वर्ष 2024 में 12,481 करोड़ रुपये हो गया। अगस्त 2017 से स्टॉक में लगभग 300% की वृद्धि हुई है। टाटा इन्वेस्टमेंट कॉर्प, दूसरी कंपनी जहां नोएल टाटा अध्यक्ष के रूप में कार्य करते हैं, मुख्य रूप से सूचीबद्ध और गैर-सूचीबद्ध इक्विटी शेयरों में निवेश करती है। पिछले पांच वर्षों में, कंपनी के स्टॉक ने 705% रिटर्न दिया है, जो निफ्टी से काफी बेहतर प्रदर्शन कर रहा है, जिसने इसी अवधि के दौरान 102% रिटर्न दिया।