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Delhi NCR News: एक दूसरे के बगैर कहीं नहीं जाते थे सवी और करण
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सार
सिविल लाइंस, दिल्ली में एक बस हादसे में दो चचेरे भाइयों, सवी और करण की दर्दनाक मौत हो गई। दोनों अस्पताल से लौटते समय बाइक पर थे। इस घटना से परिवारों में शोक और आक्रोश है तथा वे न्याय की मांग कर रहे हैं।
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विस्तार
मौत भी दोनों को ले गई साथ, सिविल लाइंस में बस की चपेट में आने से दो भाइयों की मौत का मामला
बहन का पता लेने गए थे अस्पताल, दोनों रात को वहीं रुकेे, सुबह ग्रेटर नोएडा जाते हुए हुआ हादसा
अमर उजाला ब्यूरो
नई दिल्ली। सवी करण का चचेरा भाई था। दोनों में उम्र का फासला होने के बाद भी गहरी दोस्ती थी। काम से आने के बाद शाम को दोनों एक साथ ही घूमते थे। यहां तक उनको कहीं जाना होता था तो दोनों एक ही साथ आते-जाते थे। बृहस्पतिवार को जब हादसा हुआ तो दोनों एक ही बाइक पर मौजूद थे। मौत भी दोनों को एक साथ ही अपने आगोश में लेकर चली गई।
दोनों भाइयों की मौत के बाद से परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल था। दोपहर बाद पोस्टमार्टम के बाद इनके शव घर पहुंचे तो कोहराम मच गया। परिजनों ने शवों का अंमित संस्कार कर दिया। अब परिवार पुलिस से इंसाफ की गुहार लगा रहा है। परिजन ने बताया कि सवी के परिवार में प्रवीन कुमार, मां रामश्री, दो भाई रवि कुमार, सनी और दो बहनें नेहा और अनामिका हैं। पिता एक कंपनी में नौकरी करते हैं। सवी पहले एक चप्पल बनाने की फैक्टरी में काम कर करता था। अब उसने अपने भाई करण के साथ ग्रेटर नोएडा के निजी अस्पताल में जाना शुरू किया था।
वहीं, करण के परिवार में पिता सुनील कुमार, मां बिरला, एक छोटा भाई अर्जुन व तीन बहनें निशा, शशि और वंदना हैं। करण के पिता सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी करते हैं। पिता को बहुत कम सैलरी मिलती है। करण की सैलरी से परिवार का खर्चा चल रहा था। बुधवार को करण की बहन शशि के यहां नरेला के एक निजी अस्पताल में बेटी पैदा हुई थी। रात में करण और सवी वहीं रुक गए। बृहस्पतिवार सुबह करण को ग्रेटर नोएडा ड्यूटी पर जाना था। करण अपनी बाइक पर सवी को लेकर ग्रेटर नोएडा के लिए निकला और करीब 7:20 बजे मजनू का टीला इलाके में हादसे का शिकार हो गया।
परिवार को पुलिस से हादसे की खबर मिली। परिजन सिविल लाइंस थाने पहुंचे तो उनको मजनू का टीला पुलिस चौकी भेज दिया गया। वहां उनकी मौत का पता चला। सवी के पिता प्रवीन कुमार ने बताया कि सवी और करण एक दूसरे के बगैर कहीं नहीं जाते थे। अब जब दोनों दुनिया छोड़कर गए तो वह भी एक ही साथ चले गए। करण के पिता सुनील को अब चिंता सता रही है कि उनके परिवार का खर्चा कैसे चलेगा।
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अमर उजाला ब्यूरो
नई दिल्ली। सवी करण का चचेरा भाई था। दोनों में उम्र का फासला होने के बाद भी गहरी दोस्ती थी। काम से आने के बाद शाम को दोनों एक साथ ही घूमते थे। यहां तक उनको कहीं जाना होता था तो दोनों एक ही साथ आते-जाते थे। बृहस्पतिवार को जब हादसा हुआ तो दोनों एक ही बाइक पर मौजूद थे। मौत भी दोनों को एक साथ ही अपने आगोश में लेकर चली गई।
दोनों भाइयों की मौत के बाद से परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल था। दोपहर बाद पोस्टमार्टम के बाद इनके शव घर पहुंचे तो कोहराम मच गया। परिजनों ने शवों का अंमित संस्कार कर दिया। अब परिवार पुलिस से इंसाफ की गुहार लगा रहा है। परिजन ने बताया कि सवी के परिवार में प्रवीन कुमार, मां रामश्री, दो भाई रवि कुमार, सनी और दो बहनें नेहा और अनामिका हैं। पिता एक कंपनी में नौकरी करते हैं। सवी पहले एक चप्पल बनाने की फैक्टरी में काम कर करता था। अब उसने अपने भाई करण के साथ ग्रेटर नोएडा के निजी अस्पताल में जाना शुरू किया था।
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वहीं, करण के परिवार में पिता सुनील कुमार, मां बिरला, एक छोटा भाई अर्जुन व तीन बहनें निशा, शशि और वंदना हैं। करण के पिता सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी करते हैं। पिता को बहुत कम सैलरी मिलती है। करण की सैलरी से परिवार का खर्चा चल रहा था। बुधवार को करण की बहन शशि के यहां नरेला के एक निजी अस्पताल में बेटी पैदा हुई थी। रात में करण और सवी वहीं रुक गए। बृहस्पतिवार सुबह करण को ग्रेटर नोएडा ड्यूटी पर जाना था। करण अपनी बाइक पर सवी को लेकर ग्रेटर नोएडा के लिए निकला और करीब 7:20 बजे मजनू का टीला इलाके में हादसे का शिकार हो गया।
परिवार को पुलिस से हादसे की खबर मिली। परिजन सिविल लाइंस थाने पहुंचे तो उनको मजनू का टीला पुलिस चौकी भेज दिया गया। वहां उनकी मौत का पता चला। सवी के पिता प्रवीन कुमार ने बताया कि सवी और करण एक दूसरे के बगैर कहीं नहीं जाते थे। अब जब दोनों दुनिया छोड़कर गए तो वह भी एक ही साथ चले गए। करण के पिता सुनील को अब चिंता सता रही है कि उनके परिवार का खर्चा कैसे चलेगा।