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Why Christmas is Celebrated: क्रिसमस डे क्यों मनाया जाता है? जानिए इस दिन की उत्पत्ति और इतिहास
लाइफस्टाइल डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: शिवानी अवस्थी
Updated Tue, 23 Dec 2025 03:56 PM IST
सार
Why Christmas is Celebrated: ईसा मसीह के जन्मदिन की खुशी में क्रिसमस का पर्व मनाया जाता है लेकिन इस दिन का क्रिसमस ट्री, कैरोल्स, संता और गिफ्ट से क्या नाता है। इनकी शुरुआत क्यों हुई। जानिए क्रिसमस से जुड़ी रोचक बातें।
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क्रिसमस क्यों मनाते हैं
- फोटो : Amar Ujala
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विस्तार
Why Christmas is Celebrated: क्रिसमस आज रोशनी, केक, गिफ्ट और छुट्टियों का पर्व बन चुका है, लेकिन इसकी जड़ें बाजार से नहीं, चर्च और विश्वास से जुड़ी हैं। क्रिसमस केवल एक उत्सव नहीं, प्रेम, करुणा और मानवता के पुनर्जागरण की कहानी है। हर साल 25 दिसंबर को क्रिसमस मनाया जाता है। मान्यता है कि इस दिन ईसा मसीह का जन्म हुआ था। लेकिन क्या आपको पता है कि ईसा मसीह कौन थे? उनके जन्मदिन को क्रिसमस के रूप में क्यों मनाया जाता है? क्रिसमस का मतलब क्या होता है और इस दिन क्रिसमस ट्री, गिफ्ट की परंपरा क्यों निभाई जाती है।
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क्रिसमस क्यों मनाते हैं?
क्रिसमस ईसाई धर्म का प्रमुख पर्व है, जो ईसा मसीह (Jesus Christ) के जन्म की स्मृति में मनाया जाता है। ईसाई मान्यता के अनुसार, ईसा मसीह का जन्म बेथलेहेम में हुआ था। उन्हें ईश्वर का पुत्र और मानवता का उद्धारकर्ता माना जाता है। ईयू ने प्रेम, क्षमा और दुखियों के साथ खड़े होने का संदेश दिया था। इसी संदेश की स्मृति में हर साल 25 दिसंबर को क्रिसमस मनाया जाता है।
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25 दिसंबर का इतिहास
बाइबिल में कहीं भी ईसा मसीह की सटीक जन्मतिथि का उल्लेख नहीं है ,तो फिर 25 दिसंब को ही उनकी जन्मतिथि क्यों मानी गई। दरअसल, इतिहासकारों के अनुसार, रोमन साम्राज्य में 25 दिसंबर को Sun God (Sol Invictus) का पर्व मनाया जाता था। यह दिन शीत अयनांत (Winter Solstice) के आसपास पड़ता है। ईसाई धर्म के विस्तार के दौरान, चौथी शताब्दी में चर्च ने ईसा के जन्मदिवस को 25 दिसंबर से जोड़ दिया। इसका उद्देश्य था, पुराने सूर्य पर्व को आध्यात्मिक प्रकाश के पर्व में बदल देना यानी अंधकार के बाद प्रकाश यह क्रिसमस का मूल दर्शन है।
पहली बार क्रिसमस कब और कहां मनाया गया?
चौथी शताब्दी में रोम में पहली बार औपचारिक क्रिसमस उत्सव मनाया गया। 336 ईस्वी में इसका पहला लिखित उल्लेख मिलता है। धीरे-धीरे यह यूरोप, फिर दुनिया के अन्य हिस्सों में फैला। साल 1836 में अमेरिका में क्रिसमस डे को आधिकारिक रूप से मान्यता मिली और 25 दिसंबर को सार्वजनिक अवकाश घोषित किया गया। भारत में क्रिसमस का आगमन पुर्तगाली और ब्रिटिश मिशनरियों के साथ हुआ। सबसे पहले गोवा, केरल और पूर्वोत्तर में यह पर्व मनाया गया।
क्रिसमस ट्री, सांता और कैरोल्स कहां से आए?
क्रिसमस ट्री, सांता और कैरोल की परंपरा धार्मिक से ज्यादा सांस्कृतिक है। क्रिसमस ट्री की परंपरा जर्मनी से शुरू हुई, जहां सदाबहार के पेड़ थे जो कि जीवन और उम्मीद का प्रतीक माने जाते हैं। ईसा मसीह के जन्म की खुशी में गाए जाने वाले गीत को कैरोल्स कहते हैं, हर साल उनके जन्मदिन पर कैरोल गाकर खुशियां मनाने की परंपरा है। सर निकोलस क्रिसमस के मौके पर तोहफे बांटते थे, जहां से सांता क्लाॅस और गिफ्ट्स की परंपरा की शुरुआत हुई।