सब्सक्राइब करें
Hindi News ›   Madhya Pradesh ›   Bhopal News ›   World AIDS Day: MP lags behind in HIV testing of pregnant women, screening only 46%, while testing of general

World AIDS Day: गर्भवती महिलाओं की HIV जांच में पिछड़ा MP,केवल 46 फीसदी स्क्रीनिंग,आमजन की जांच लक्ष्य के करीब

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, भोपाल Published by: संदीप तिवारी Updated Mon, 01 Dec 2025 07:39 AM IST
सार

मध्यप्रदेश में HIV जांच को लेकर दोहरी तस्वीर सामने आई है। आमजन की HIV स्क्रीनिंग लक्ष्य के करीब पहुंच रही है, लेकिन गर्भवती महिलाओं की जांच लगातार पीछे छूट रही है। इससे मां से बच्चे में संक्रमण रोकथाम (PPTCT) कार्यक्रम की प्रभावशीलता पर सवाल उठ गए हैं।
 

विज्ञापन
World AIDS Day: MP lags behind in HIV testing of pregnant women, screening only 46%, while testing of general
विश्व एड्स दिवस - फोटो : अमर उजाला
विज्ञापन

विस्तार
Follow Us

मध्यप्रदेश में HIV नियंत्रण को लेकर एक चौंकाने वाली तस्वीर सामने आई है। सामान्य आबादी की HIV जांच रिकॉर्ड तेजी से लक्ष्य के करीब पहुंच रही है, लेकिन गर्भवती महिलाओं की स्क्रीनिंग लगातार पिछड़ रही है, जो मां से बच्चे में वायरस के संक्रमण रोकने के लक्ष्य को सीधे चुनौती देती है। जबकि ICTC और PPP-ICTC मिलाकर राज्य में हुई HIV जांचों ने इस साल कमाल कर दिया है। अक्टूबर 2025 तक ही 12.23 लाख के लक्ष्य में 12.13 लाख जांच हो चुकी हैं। कई जिलों में आंकड़े लक्ष्य को पार कर चुके हैं। यह दर्शाता है कि आमजन के बीच टेस्टिंग नेटवर्क मजबूत और सक्रिय है। दूसरी ओर, वही अवधि में गर्भवती महिलाओं की HIV जांच जो सबसे संवेदनशील श्रेणी मानी जाती है। 22.85 लाख के लक्ष्य के मुकाबले सिर्फ 10.54 लाख तक ही पहुंच पाई। यह आंकड़ा सिर्फ 46% उपलब्धि को दर्शाता है। मतलब आधी महिलाएं अभी भी HIV टेस्ट से बाहर हैं, जबकि यही टेस्ट भविष्य में जन्म लेने वाले बच्चों को HIV के खतरे से बचाता है।
Trending Videos




गर्भवती महिलाओं की HIV जांच, 

 2023-24: लक्ष्य 22.25 लाख - उपलब्धि 20.98 लाख

2024-25: लक्ष्य 22.58 लाख - उपलब्धि 18 लाख

 2025-26: (अक्टूबर तक) लक्ष्य 22.85 लाख- उपलब्धि 10.54 लाख

लगातार तीन साल से लक्ष्य अधूरा
यानी तीन साल लगातार MP गर्भवती महिलाओं की HIV जांच का लक्ष्य पूरा नहीं कर पाया।स्वास्थ्य विशेषज्ञों के अनुसार यह मां से बच्चे में HIV संक्रमण रोकथाम कार्यक्रम (PPTCT) की सबसे कमजोर कड़ी है। कम जांच से घटते संक्रमण के आंकड़ों की असल तस्वीर भी धुंधली
विज्ञापन
विज्ञापन


संक्रमित गर्भवती महिलाओं की संख्या
सन                  संक्रमित की  संख्या
- 2023-24         754
- 2024-25         671
- 2025-26        492 (अक्टूबर तक)


जांच कम होने के प्रमुख कारण 
संक्रमितों की संख्या कम दिख रही है, लेकिन विशेषज्ञ चेतावनी देते हैं कि जांच कम होगी तो संक्रमण वास्तविकता से कम दिखाई देगा। अधूरी स्क्रीनिंग का मतलब है कि कई महिलाएं और उनके नवजात जोखिम में बने रह सकते हैं। जांच कम होने का मुख्य कारण ग्रामीण इलाकों में समय पर ANC विजिट नहीं हो रही है। ICTC केंद्रों तक पहुंच की दूरी होने के कारण लोग जांच नहीं करवा पाते हैं। जागरूकता की कमी के कारण ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को जांच करने में अभी भी शर्मिंदगी महसूस होती है। कुछ जिलों में ट्रेनिंग की कमी है। सब मिलकर गर्भवती महिलाओं की टेस्टिंग के आंकड़े नीचे खींच रहे हैं।


 मां-बच्चे की सुरक्षा के लिए टेस्टिंग की रफ्तार बढ़ाना जरूरी
जहां आम नागरिकों की HIV जांच में प्रदेश अच्छी प्रगति दिखा रहा है, वहीं गर्भवती महिलाओं की धीमी टेस्टिंग राज्य के स्वास्थ्य मॉडल पर बड़ा सवाल छोड़ती है। यदि गर्भवती महिलाओं की स्क्रीनिंग पर फोकस तेज़ नहीं किया गया, तो मां से शिशु में संक्रमण रोकने का राष्ट्रीय लक्ष्य हासिल करना मुश्किल हो सकता है।
विज्ञापन
विज्ञापन

रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News App, iOS Hindi News App और Amarujala Hindi News APP अपने मोबाइल पे|
Get all India News in Hindi related to live update of politics, sports, entertainment, technology and education etc. Stay updated with us for all breaking news from India News and more news in Hindi.

विज्ञापन
विज्ञापन

एड फ्री अनुभव के लिए अमर उजाला प्रीमियम सब्सक्राइब करें

Next Article

Election
एप में पढ़ें

Followed