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EV Sales: भारत में ईवी बिक्री की रफ्तार धीमी, शुरुआती उछाल के बाद परिपक्वता के दौर में इलेक्ट्रिक वाहन बाजार
ऑटो डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: अमर शर्मा
Updated Sat, 27 Dec 2025 06:08 PM IST
सार
इलेक्ट्रिक गाड़ी (EV) की बिक्री पूरी तरह से बढ़ रही है, लेकिन ग्रोथ की रफ्तार तेजी से धीमी हो रही है। जो शुरुआती तेजी से अपनाने के ज्यादा मैच्योर फेज की ओर बदलाव का संकेत है।
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Electric Car Charging
- फोटो : Freepik
भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री, संख्या के लिहाज से अब भी बढ़ रही है, लेकिन इसकी रफ्तार में साफ तौर पर कमी आई है। पिछले पांच वर्षों के खुदरा आंकड़े बताते हैं कि जहां बिक्री लगातार ऊपर गई है, वहीं साल-दर-साल वृद्धि दर 2022 में चरम पर पहुंचने के बाद लगातार धीमी होती चली गई। यह संकेत देता है कि ईवी बाजार अब शुरुआती तेजी के दौर से निकलकर परिपक्वता के चरण में प्रवेश कर रहा है।
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2025 में बिक्री बढ़ी, लेकिन गति हुई सुस्त
वर्ष 2025 में इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री 22.2 लाख यूनिट्स तक पहुंच गई, जो 2024 के 19.5 लाख यूनिट्स के मुकाबले 13.7 प्रतिशत की बढ़त है। हालांकि यह वृद्धि 2024 में दर्ज 27.3 प्रतिशत की तुलना में काफी कम है, जब बिक्री 2023 के 15.3 लाख यूनिट्स से बढ़कर 19.5 लाख यूनिट्स हो गई थी। इससे पहले 2023 में भी 2022 की तुलना में 49.5 प्रतिशत की तेज बढ़त देखी गई थी।
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2022 का असाधारण उछाल और बदलता परिदृश्य
ईवी सेक्टर में सबसे बड़ा उछाल 2022 में देखने को मिला था, जब उद्योग ने पहली बार 10 लाख यूनिट्स का आंकड़ा पार किया और बिक्री 2021 के 3.31 लाख यूनिट्स से बढ़कर 10 लाख से ज्यादा हो गई। यह करीब 208 प्रतिशत की असाधारण वृद्धि थी। इसके बाद के वर्षों में आधार बड़ा होने और नीतिगत बदलावों के कारण वृद्धि दर स्वाभाविक रूप से कम होती चली गई।
यह भी पढ़ें - Kawasaki Versys 650: भारत में लॉन्च हुई नई 2026 कावासाकी वर्सेस 650, जानें कीमत और क्या है खास
वर्ष 2025 में इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री 22.2 लाख यूनिट्स तक पहुंच गई, जो 2024 के 19.5 लाख यूनिट्स के मुकाबले 13.7 प्रतिशत की बढ़त है। हालांकि यह वृद्धि 2024 में दर्ज 27.3 प्रतिशत की तुलना में काफी कम है, जब बिक्री 2023 के 15.3 लाख यूनिट्स से बढ़कर 19.5 लाख यूनिट्स हो गई थी। इससे पहले 2023 में भी 2022 की तुलना में 49.5 प्रतिशत की तेज बढ़त देखी गई थी।
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2022 का असाधारण उछाल और बदलता परिदृश्य
ईवी सेक्टर में सबसे बड़ा उछाल 2022 में देखने को मिला था, जब उद्योग ने पहली बार 10 लाख यूनिट्स का आंकड़ा पार किया और बिक्री 2021 के 3.31 लाख यूनिट्स से बढ़कर 10 लाख से ज्यादा हो गई। यह करीब 208 प्रतिशत की असाधारण वृद्धि थी। इसके बाद के वर्षों में आधार बड़ा होने और नीतिगत बदलावों के कारण वृद्धि दर स्वाभाविक रूप से कम होती चली गई।
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प्रोत्साहनों में कटौती से बाजार की रफ्तार पर असर
उद्योग विशेषज्ञों के मुताबिक, इलेक्ट्रिक वाहनों पर मिलने वाले सरकारी प्रोत्साहनों में कमी और चार्जिंग इंफ्रास्ट्रक्चर के अपेक्षाकृत धीमे विकास ने बाजार की गति को प्रभावित किया है। इसके साथ ही, देश की सबसे बड़ी इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहन निर्माता कंपनी से जुड़ी उत्पाद गुणवत्ता संबंधी समस्याओं के बाद उपभोक्ताओं के भरोसे को भी झटका लगा, जिसका असर समग्र मांग पर पड़ा।
यह भी पढ़ें - Road Safety: मोटरसाइकिल हादसों को रोकने के लिए होंडा ने स्टेयरिंग असिस्ट तकनीक का पेटेंट कराया, जानें डिटेल्स
आईसीई वाहनों की ओर झुका उपभोक्ता रुझान
जीएसटी में कटौती के चलते पारंपरिक आंतरिक दहन इंजन (आईसीई) वाहनों की ओर उपभोक्ताओं का रुझान बढ़ा है। खासकर 2025 के त्योहारी सीजन के दौरान आईसीई वाहनों की बिक्री में तेजी देखी गई, जबकि इलेक्ट्रिक वाहन अपेक्षाकृत पीछे रह गए।
यह भी पढ़ें - Car Price Hike: 2026 में कार खरीदना होगा महंगा, जानें किन-किन वाहन निर्माताओं ने किया कीमत बढ़ोतरी का एलान
उद्योग विशेषज्ञों के मुताबिक, इलेक्ट्रिक वाहनों पर मिलने वाले सरकारी प्रोत्साहनों में कमी और चार्जिंग इंफ्रास्ट्रक्चर के अपेक्षाकृत धीमे विकास ने बाजार की गति को प्रभावित किया है। इसके साथ ही, देश की सबसे बड़ी इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहन निर्माता कंपनी से जुड़ी उत्पाद गुणवत्ता संबंधी समस्याओं के बाद उपभोक्ताओं के भरोसे को भी झटका लगा, जिसका असर समग्र मांग पर पड़ा।
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आईसीई वाहनों की ओर झुका उपभोक्ता रुझान
जीएसटी में कटौती के चलते पारंपरिक आंतरिक दहन इंजन (आईसीई) वाहनों की ओर उपभोक्ताओं का रुझान बढ़ा है। खासकर 2025 के त्योहारी सीजन के दौरान आईसीई वाहनों की बिक्री में तेजी देखी गई, जबकि इलेक्ट्रिक वाहन अपेक्षाकृत पीछे रह गए।
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नई योजना में कम हुई सब्सिडी
FAME-II (फेम-2) योजना की समाप्ति के बाद लागू की गई नई पीएम ई-ड्राइव योजना के तहत प्रोत्साहनों में बड़ी कटौती की गई। इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों पर मिलने वाली सब्सिडी 2022 में 66,000 रुपये से घटकर 10,000 रुपये रह गई, यानी करीब 85 प्रतिशत की कमी। वहीं इलेक्ट्रिक तिपहिया वाहनों पर सब्सिडी भी पहले के 1,11,505 रुपये से घटकर 50,000 रुपये हो गई।
यह भी पढ़ें - Maruti Suzuki Ciaz: ग्लोबल NCAP क्रैश टेस्ट में सिर्फ 1-स्टार, फिर चर्चा में क्यों आई मारुति सियाज?
2025 में और सख्त हुए प्रोत्साहन नियम
अप्रैल 2025 में प्रोत्साहनों में और कटौती की गई, जिसके बाद इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों के लिए सब्सिडी 5,000 रुपये और तिपहिया वाहनों के लिए 25,000 रुपये रह गई। वहीं इलेक्ट्रिक कारों को पूरी तरह से सब्सिडी ढांचे से बाहर कर दिया गया, जिससे इस सेगमेंट की वृद्धि संभावनाओं पर और दबाव पड़ा।
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चार्जिंग स्टेशन
- फोटो : AI
कंपनियों की रणनीति में भी आया बदलाव
ऑटोमोबाइल कंपनियां भी अब अपनी ईवी रणनीतियों पर पुनर्विचार कर रही हैं। कई निर्माता आक्रामक बिक्री बढ़ाने के बजाय मुनाफे, स्थानीयकरण और उत्पाद गुणवत्ता पर ज्यादा ध्यान दे रहे हैं। इसका नतीजा यह हुआ है कि भारी छूट कम हो गई है और नए मॉडलों की लॉन्चिंग भी खासकर पैसेंजर वाहन सेगमेंट में अधिक संतुलित तरीके से हो रही है।
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धीमी रफ्तार के बावजूद लंबी अवधि में उम्मीद बरकरार
भले ही वृद्धि दर में गिरावट आई हो, लेकिन इलेक्ट्रिक वाहनों का दीर्घकालिक भविष्य अब भी मजबूत नजर आता है। 2025 में ईवी बिक्री 2021 के मुकाबले करीब सात गुना हो चुकी है, जब कुल बिक्री सिर्फ 3.31 लाख यूनिट्स के आसपास थी। यह दिखाता है कि बाजार भले ही परिपक्व हो रहा हो, लेकिन इलेक्ट्रिक मोबिलिटी की दिशा में सफर अभी जारी है।
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ऑटोमोबाइल कंपनियां भी अब अपनी ईवी रणनीतियों पर पुनर्विचार कर रही हैं। कई निर्माता आक्रामक बिक्री बढ़ाने के बजाय मुनाफे, स्थानीयकरण और उत्पाद गुणवत्ता पर ज्यादा ध्यान दे रहे हैं। इसका नतीजा यह हुआ है कि भारी छूट कम हो गई है और नए मॉडलों की लॉन्चिंग भी खासकर पैसेंजर वाहन सेगमेंट में अधिक संतुलित तरीके से हो रही है।
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धीमी रफ्तार के बावजूद लंबी अवधि में उम्मीद बरकरार
भले ही वृद्धि दर में गिरावट आई हो, लेकिन इलेक्ट्रिक वाहनों का दीर्घकालिक भविष्य अब भी मजबूत नजर आता है। 2025 में ईवी बिक्री 2021 के मुकाबले करीब सात गुना हो चुकी है, जब कुल बिक्री सिर्फ 3.31 लाख यूनिट्स के आसपास थी। यह दिखाता है कि बाजार भले ही परिपक्व हो रहा हो, लेकिन इलेक्ट्रिक मोबिलिटी की दिशा में सफर अभी जारी है।
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