उत्तर प्रदेश एंटी टेररिस्ट स्क्वाड (एटीएस) की ओर से सलेमपुर से बांग्लादेशी समेत तीन आतंकियों की गिरफ्तारी से हरिद्वार फिर सुर्खियों में है। बांग्लादेशी आतंकी अलीनूर सलेमपुर में नाम बदलकर रहता था। सलेमपुर में एक मदरसे में बच्चों को पढ़ाने की आड़ में उनके दिमाग में नफरत का जहर घोल रहा था।
रुड़की के मुदस्सिर और देवबंद के कामिल के साथ ज्वालापुर व सेलमपुर में मुस्लिम युवाओं को बहकाकर गजवा-ए-हिंद की फौज खड़ी कर रहा था। यूपी एटीएस ने तीनों आतंकियों को दबोचकर उनके मंसूबों पर पानी फेर दिया है। एनआईए ने अगस्त में भोपाल से तीन आतंकियों को गिरफ्तार किया था। उनसे पूछताछ के बाद पश्चिमी उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में आतंकियों के सक्रिय होने की जानकारी मिली थी।
रुड़की के मुदस्सिर और देवबंद के कामिल के साथ ज्वालापुर व सेलमपुर में मुस्लिम युवाओं को बहकाकर गजवा-ए-हिंद की फौज खड़ी कर रहा था। यूपी एटीएस ने तीनों आतंकियों को दबोचकर उनके मंसूबों पर पानी फेर दिया है। एनआईए ने अगस्त में भोपाल से तीन आतंकियों को गिरफ्तार किया था। उनसे पूछताछ के बाद पश्चिमी उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में आतंकियों के सक्रिय होने की जानकारी मिली थी।
यूपी एटीएस इसमें छानबीन कर रही थी। हरिद्वार के सलेमपुर में बांग्लादेशी आतंकी अलीनूर, रुड़की के उसके साथी मुदस्सिर और देवबंद के कामिल की पुख्ता जानकारी मिलने पर 30 सितंबर की रात 8:30 बजे एटीएस ने सुरक्षा एजेंसियों के साथ छापा मारा था। टीम ने दोपहर ढाई बजे से आतंकियों को दबोचने के लिए जाल बिछाया।