{"_id":"6902799a8eee0d7a0a0b6cd6","slug":"annapurna-bhavan-scheme-is-not-gaining-momentum-ballia-news-c-190-bal1001-151042-2025-10-30","type":"story","status":"publish","title_hn":"Ballia News: अन्नपूर्णा भवन योजना नहीं पकड़ रही रफ्तार","category":{"title":"City & states","title_hn":"शहर और राज्य","slug":"city-and-states"}}
Ballia News: अन्नपूर्णा भवन योजना नहीं पकड़ रही रफ्तार
विज्ञापन
विज्ञापन
बलिया। जिले में अन्नपूर्णा भवन बनाने की योजना रफ्तार नहीं पकड़ पा रही है। कुछ ग्राम पंचायतों में कार्य प्रारंभ हो गया है। सरकार की तरफ से जिले के 17 ब्लाॅकों में 170 अन्नपूर्णा भवन बनाने का लक्ष्य मिला हैं। लक्ष्य के सापेक्ष 160 ग्राम पंचायतों में चयन का कार्य पूरा कर लिया गया है।
इन भवनों को तैयार करने में 14.40 करोड़ का खर्च किया जाएगा। एक दुकान को बनाने में ज्यादा से ज्यादा 9 लाख रुपये खर्च किए जा सकते हैं। प्रशासनिक स्तर से ब्लाॅकवार लक्ष्य भी निर्धारित कर दिया गया है। आजादी की 75वीं वर्षगांठ पर कोटे की दुकानों को आधुनिक बनाने के लिए उन्हें अन्नपूर्णा भवन के रूप में विकसित किया जाना है। भवन में न सिर्फ खाद्यान्न बल्कि 40 से अधिक जीवनोपयोगी सामग्री भी मिलेगी।
कार्य की गति को देखते हुए अभी और समय लगने की उम्मीद है। इसमें कुछ जगहों पर अभी भूमि चिह्नित करने के लिए सर्वे प्रक्रिया चल रही है। इन अनाज भंडारण केंद्रों पर दुकानदार अपने अनाज को सुरक्षित रख सकेंगे। वे चावल और गेहूं जमा कर सकेंगे। जिले में 1410 कोटे की दुकानों का संचालन होता है। इसका निर्माण मनरेगा योजना व राज्य वित्त से संयुक्त रूप से किया जाएगा। 12 गांवों में अन्नपूर्णा भवन पर कार्य भी प्रारंभ हो गया है।
इसमें ब्लाॅक बांसडीह के इंदौरा, बेरुआरबारी के हरिपुर, आसचौरा, चिलकहर की डुमरी, खलीलपुर व परसिया, दुबहड़ के आमघाट, गड़वार के भलुही, थुम्हाउत्तम व चवारी, मनियर के जिगिरसर, अहिरौली तिवारी व अजनेरा, पंदह के मेवली खनासपुर, किकौड़ा, रतसीमेहमापुर, सीयर के कुशहर असिदपुर व सोहांव के ग्राम पंचायत पिपराकला व मेड़वाराकाल आदि है। डीसी मनरेगा रिचा सिंह ने बताया कि अन्नपूर्णा भवन बनाने का कार्य कई ग्राम पंचायतों में प्रारंभ हो गया है। अभी कुछ गांवों में स्थल चयन जारी है। जल्द ही इसे पूरा कर कार्य शुरू कराया जाएगा।
इन भवनों को तैयार करने में 14.40 करोड़ का खर्च किया जाएगा। एक दुकान को बनाने में ज्यादा से ज्यादा 9 लाख रुपये खर्च किए जा सकते हैं। प्रशासनिक स्तर से ब्लाॅकवार लक्ष्य भी निर्धारित कर दिया गया है। आजादी की 75वीं वर्षगांठ पर कोटे की दुकानों को आधुनिक बनाने के लिए उन्हें अन्नपूर्णा भवन के रूप में विकसित किया जाना है। भवन में न सिर्फ खाद्यान्न बल्कि 40 से अधिक जीवनोपयोगी सामग्री भी मिलेगी।
विज्ञापन
विज्ञापन
कार्य की गति को देखते हुए अभी और समय लगने की उम्मीद है। इसमें कुछ जगहों पर अभी भूमि चिह्नित करने के लिए सर्वे प्रक्रिया चल रही है। इन अनाज भंडारण केंद्रों पर दुकानदार अपने अनाज को सुरक्षित रख सकेंगे। वे चावल और गेहूं जमा कर सकेंगे। जिले में 1410 कोटे की दुकानों का संचालन होता है। इसका निर्माण मनरेगा योजना व राज्य वित्त से संयुक्त रूप से किया जाएगा। 12 गांवों में अन्नपूर्णा भवन पर कार्य भी प्रारंभ हो गया है।
इसमें ब्लाॅक बांसडीह के इंदौरा, बेरुआरबारी के हरिपुर, आसचौरा, चिलकहर की डुमरी, खलीलपुर व परसिया, दुबहड़ के आमघाट, गड़वार के भलुही, थुम्हाउत्तम व चवारी, मनियर के जिगिरसर, अहिरौली तिवारी व अजनेरा, पंदह के मेवली खनासपुर, किकौड़ा, रतसीमेहमापुर, सीयर के कुशहर असिदपुर व सोहांव के ग्राम पंचायत पिपराकला व मेड़वाराकाल आदि है। डीसी मनरेगा रिचा सिंह ने बताया कि अन्नपूर्णा भवन बनाने का कार्य कई ग्राम पंचायतों में प्रारंभ हो गया है। अभी कुछ गांवों में स्थल चयन जारी है। जल्द ही इसे पूरा कर कार्य शुरू कराया जाएगा।