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Jalaun News: मौरंग, गिट्टी के ढेर हटवाने के लिए पालिका ने भेजे नोटिस
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उरई। कोंच रोड पर सड़क किनारे कई महीनों से मौरंग, गिट्टी के ढेर लगे हुए हैं। इससे लगातार हादसे हो रहे हैं। अब उच्च अधिकारियों ने मामले को संज्ञान लिया तो नगर पालिका ने नोटिस भेजने की कार्रवाई की है।
शहर के बस स्टैंड से लेकर कांशीराम कॉलोनी तक लगभग एक किलोमीटर के दायरे में 30 से 35 स्थानों पर मौरंग, गिट्टी, ईंट व सरिया के अवैध ढेर लगे हुए हैं। दुकानदारों ने इन सामग्रियों को अपनी दुकानों के आगे जमा कर लिया है, जो धीरे-धीरे सड़क पर फैल गए हैं। कई गलियों तक मौरंग फैली हुई है, जिससे आवागमन पूरी तरह प्रभावित हो रहा है।
इस मार्ग से प्रतिदिन अधिकारी, मोहल्लेवासी और आसपास के 50 से 60 गांवों के लोग गुजरते हैं। रोजाना लगभग 50 से 60 हजार लोगों की आवाजाही होती है, जिन्हें इन ढेरों से बचकर निकलना पड़ता है। इन ढेरों को हटवाने के लिए पालिका ने अतिक्रमण अभियान चलाने की जगह नोटिस भेजने की कार्रवाई शुरू की है। तीन दुकानदारों को सोमवार को नोटिस भेजे हैं, जिन्हें चेतावनी दी गई है कि अगर वह अतिक्रमण नहीं हटाते हैं तो उनका सामान जब्त किया जाएगा ही साथ ही जुर्माना लगाया जाएगा।
इनसेट
सभासद की शिकायत का भी नहीं हो रहा निस्तारण
दो सप्ताह पहले सिटी मजिस्ट्रेट राजेश कुमार वर्मा ने नगर पालिका को निर्देश दिए थे कि इन ढेरों को हटाने के लिए अभियान चलाया जाए। अवैध सामग्री को जब्त किया जाए और अनदेखी करने वालों पर एफआईआर दर्ज की जाए। नगर पालिका ने इन निर्देशों को भी नजरअंदाज कर दिया। पालिका ने एक से सात जुलाई तक अभियान चलाने के लिए एक पत्र तैयार किया। इसे पुलिस विभाग और उच्चाधिकारियों को भेजा गया, लेकिन पत्र के अनुसार एक भी दिन अभियान नहीं चलाया गया। सिर्फ कागजों में खानापूरी कर दी गई। सभासद माया ने छह जून को अतिक्रमण हटवाने के लिए ऑनलाइन शिकायत की थी। इसका निस्तारण भी फर्जी ढंग से कर दिया गया। जब दोबारा शिकायत की गई तो पालिका की पोल खुल गई। मोहल्ले के संतोष निरंजन ने बताया कि उन्होंने दो जून को ऑफलाइन और छह जून को ऑनलाइन शिकायत की, लेकिन दोनों मामलों में फर्जी निस्तारण कर दिया गया। इसके बाद जिलाधिकारी ने स्वयं मामले का संज्ञान लेते हुए पांच जुलाई को नगर पालिका को पत्र भेजकर कार्रवाई करने के निर्देश दिए। तब जाकर नगर पालिका की नींद खुली।
वर्जन-
पालिका ईओ राम अचल कुरील ने बताया कि सभी दुकानदारों को नोटिस दिए जा रहे हैं। अगर इसके बाद भी अतिक्रमण नहीं हटाया जाता है तो जुर्माना लगाकर सामान को जब्त कर लिया जाएगा।
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शहर के बस स्टैंड से लेकर कांशीराम कॉलोनी तक लगभग एक किलोमीटर के दायरे में 30 से 35 स्थानों पर मौरंग, गिट्टी, ईंट व सरिया के अवैध ढेर लगे हुए हैं। दुकानदारों ने इन सामग्रियों को अपनी दुकानों के आगे जमा कर लिया है, जो धीरे-धीरे सड़क पर फैल गए हैं। कई गलियों तक मौरंग फैली हुई है, जिससे आवागमन पूरी तरह प्रभावित हो रहा है।
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इस मार्ग से प्रतिदिन अधिकारी, मोहल्लेवासी और आसपास के 50 से 60 गांवों के लोग गुजरते हैं। रोजाना लगभग 50 से 60 हजार लोगों की आवाजाही होती है, जिन्हें इन ढेरों से बचकर निकलना पड़ता है। इन ढेरों को हटवाने के लिए पालिका ने अतिक्रमण अभियान चलाने की जगह नोटिस भेजने की कार्रवाई शुरू की है। तीन दुकानदारों को सोमवार को नोटिस भेजे हैं, जिन्हें चेतावनी दी गई है कि अगर वह अतिक्रमण नहीं हटाते हैं तो उनका सामान जब्त किया जाएगा ही साथ ही जुर्माना लगाया जाएगा।
इनसेट
सभासद की शिकायत का भी नहीं हो रहा निस्तारण
दो सप्ताह पहले सिटी मजिस्ट्रेट राजेश कुमार वर्मा ने नगर पालिका को निर्देश दिए थे कि इन ढेरों को हटाने के लिए अभियान चलाया जाए। अवैध सामग्री को जब्त किया जाए और अनदेखी करने वालों पर एफआईआर दर्ज की जाए। नगर पालिका ने इन निर्देशों को भी नजरअंदाज कर दिया। पालिका ने एक से सात जुलाई तक अभियान चलाने के लिए एक पत्र तैयार किया। इसे पुलिस विभाग और उच्चाधिकारियों को भेजा गया, लेकिन पत्र के अनुसार एक भी दिन अभियान नहीं चलाया गया। सिर्फ कागजों में खानापूरी कर दी गई। सभासद माया ने छह जून को अतिक्रमण हटवाने के लिए ऑनलाइन शिकायत की थी। इसका निस्तारण भी फर्जी ढंग से कर दिया गया। जब दोबारा शिकायत की गई तो पालिका की पोल खुल गई। मोहल्ले के संतोष निरंजन ने बताया कि उन्होंने दो जून को ऑफलाइन और छह जून को ऑनलाइन शिकायत की, लेकिन दोनों मामलों में फर्जी निस्तारण कर दिया गया। इसके बाद जिलाधिकारी ने स्वयं मामले का संज्ञान लेते हुए पांच जुलाई को नगर पालिका को पत्र भेजकर कार्रवाई करने के निर्देश दिए। तब जाकर नगर पालिका की नींद खुली।
वर्जन-
पालिका ईओ राम अचल कुरील ने बताया कि सभी दुकानदारों को नोटिस दिए जा रहे हैं। अगर इसके बाद भी अतिक्रमण नहीं हटाया जाता है तो जुर्माना लगाकर सामान को जब्त कर लिया जाएगा।