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Tehri News: बौराड़ी में 50 बेड का क्रिटिकल केयर यूनिट का प्रस्ताव लटका
संवाद न्यूज एजेंसी, टिहरी
Updated Tue, 09 Dec 2025 05:55 PM IST
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अब निर्माण कार्यों का बजट बढ़ा और लोगों की उम्मीदें कम हुई
नई टिहरी। जिला अस्पताल बौराड़ी के समीप प्रस्तावित 50 बेड का क्रिटिकल केयर यूनिट (सीसीयू) की प्रक्रिया अधर में लटक गई। इसका मुख्य कारण प्रस्ताव तैयार करन में देरी होना बताया जा रहा है। जिले में सीसीयू के अभाव में हार्ट अटैक, ब्रेन हेमरेज, सड़क दुर्घटनाओं में घायल लोगों को ऋषिकेश या देहरादून रेफर करना पड़ता है। वहां तक पहुंचने में देरी के कारण कई बार मरीज रास्ते में ही दम तोड़ देते हैं।
टिहरी जिले में क्रिटिकल केयर की व्यवस्था न होना सबसे बड़ी समस्या है। केंद्र सरकार के स्वास्थ्य मंत्रालय ने जिला मुख्यालय में वर्ष 2024 दिसंबर माह में 50 बेड का एक क्रिटिकल केयर यूनिट की स्वीकृति दी थी। सीसीयू का निर्माण जिला अस्पताल के लगभग 200 मीटर की परिधि में किया जाना था।
स्वास्थ्य विभाग ने जिला अस्पताल बौराड़ी के समीप पार्किंग भवन के ऊपर सीसीयू निर्माण के लिए पेयजल एवं निर्माण निगम चंबा को 24 करोड़ का प्रस्ताव तैयार करने को कहा था लेकिन समय पर प्रस्ताव न बनने का खामियाजा अब जिले को छह करोड़ रुपये की अतिरिक्त लागत के रूप में चुकाना पड़ रहा है। सीएमओ डॉ. श्याम विजय ने बताया कि कार्यदायी संस्था ने पहले 24 करोड़ का प्रस्ताव भेजा था लेकिन अब कार्यदायी संस्था 30 करोड़ की लागत बता रही है। स्वास्थ्य महानिदेशालय स्तर पर इसका परीक्षण किया जा रहा है।
विधायक किशोर उपाध्याय का कहना है कि क्रिटिकल केयर यूनिट के लिए शासन से बजट स्वीकृत कराने का प्रयास लगातार किया जा रहा है। कांग्रेस के पूर्व जिलाध्यक्ष राकेश राणा का कहना है कि जब दिसंबर 2024 में सीसीयू की स्वीकृति मिल चुकी थी तो प्रस्ताव तैयार करने में इतनी देर क्यों हुई। इस देरी के लिए जिम्मेदारों की जवाबदेही तय की जानी चाहिए।
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नई टिहरी। जिला अस्पताल बौराड़ी के समीप प्रस्तावित 50 बेड का क्रिटिकल केयर यूनिट (सीसीयू) की प्रक्रिया अधर में लटक गई। इसका मुख्य कारण प्रस्ताव तैयार करन में देरी होना बताया जा रहा है। जिले में सीसीयू के अभाव में हार्ट अटैक, ब्रेन हेमरेज, सड़क दुर्घटनाओं में घायल लोगों को ऋषिकेश या देहरादून रेफर करना पड़ता है। वहां तक पहुंचने में देरी के कारण कई बार मरीज रास्ते में ही दम तोड़ देते हैं।
टिहरी जिले में क्रिटिकल केयर की व्यवस्था न होना सबसे बड़ी समस्या है। केंद्र सरकार के स्वास्थ्य मंत्रालय ने जिला मुख्यालय में वर्ष 2024 दिसंबर माह में 50 बेड का एक क्रिटिकल केयर यूनिट की स्वीकृति दी थी। सीसीयू का निर्माण जिला अस्पताल के लगभग 200 मीटर की परिधि में किया जाना था।
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स्वास्थ्य विभाग ने जिला अस्पताल बौराड़ी के समीप पार्किंग भवन के ऊपर सीसीयू निर्माण के लिए पेयजल एवं निर्माण निगम चंबा को 24 करोड़ का प्रस्ताव तैयार करने को कहा था लेकिन समय पर प्रस्ताव न बनने का खामियाजा अब जिले को छह करोड़ रुपये की अतिरिक्त लागत के रूप में चुकाना पड़ रहा है। सीएमओ डॉ. श्याम विजय ने बताया कि कार्यदायी संस्था ने पहले 24 करोड़ का प्रस्ताव भेजा था लेकिन अब कार्यदायी संस्था 30 करोड़ की लागत बता रही है। स्वास्थ्य महानिदेशालय स्तर पर इसका परीक्षण किया जा रहा है।
विधायक किशोर उपाध्याय का कहना है कि क्रिटिकल केयर यूनिट के लिए शासन से बजट स्वीकृत कराने का प्रयास लगातार किया जा रहा है। कांग्रेस के पूर्व जिलाध्यक्ष राकेश राणा का कहना है कि जब दिसंबर 2024 में सीसीयू की स्वीकृति मिल चुकी थी तो प्रस्ताव तैयार करने में इतनी देर क्यों हुई। इस देरी के लिए जिम्मेदारों की जवाबदेही तय की जानी चाहिए।