इन दिनों प्रदेश के कई जिलों में यूरिया खाद की किल्लत बनी हुई है। हरदा जिले के किसान भी इस समस्या से जूझ रहे हैं। इस स्थिति का फायदा उठाकर कई उर्वरक विक्रेता खाद की कालाबाजारी में जुटे हैं। ऐसा ही एक मामला तब सामने आया जब यूरिया खाद की कालाबाजारी करते हुए एक ट्रक को कृषि विभाग ने पकड़कर थाने पहुंचाया।
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हरदा जिले में देर रात खिरकिया-अवलिया मार्ग पर यूरिया खाद से भरा हुआ ट्रक क्रमांक MP04 GB 8001 पकड़ा गया, जिसमें 328 बोरी यूरिया खाद लदी हुई थी। इसे कृषि विभाग ने ग्राम मोरगढ़ी के पास पकड़ा। बताया जा रहा है कि यह खाद सीहोर जिले से बैतूल जिले के आदिवासी बहुल ग्राम दामजीपुरा ले जाई जा रही थी। कृषि विभाग को समय रहते इसकी सूचना मिल गई और पुलिस एवं राजस्व विभाग की संयुक्त टीम की मदद से ट्रक को जब्त कर छीपाबड़ थाने के सुपुर्द किया गया।
बता दें कि हरदा जिले में उर्वरक की कालाबाजारी का यह दूसरा मामला है। आरोप है कि कालाबाजारी करने वाले लोग खाद को आदिवासी क्षेत्रों में दोगने दामों पर बेचते हैं। स्थानीय लोगों का कहना है कि एक ओर जहां कालाबाजारी पर प्रशासन प्रभावी कार्रवाई नहीं कर रहा, वहीं दूसरी ओर किसान वेयरहाउसों के बाहर लंबी कतारों में खड़े दिखते हैं।
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कृषि विभाग के उपसंचालक जेएल कासड़े ने बताया कि यूरिया खाद के अवैध परिवहन की सूचना मिलने पर तत्काल एक टीम बनाकर मौके पर भेजी गई। ग्राम मोरगढ़ी के पास ट्रक पकड़ा गया, जिसमें 328 बोरी यूरिया खाद लदी थी, जिसकी कीमत लगभग 87 हजार रुपये है। ट्रक को जब्त कर खाद सहित थाने के सुपुर्द कर दिया गया है और मामले की जांच जारी है।