Himachal Winter Session: विधायक रणधीर शर्मा बोले- जब बच्चे स्कूल जा रहे तो अभिभावक क्यों नहीं आ सकते वोट देने
हिमाचल प्रदेश की 14वीं विधानसभा का 10वां सत्र आज (बुधवार, 26 नवंबर) से शुरू हो गया है। पहले दिन विधायक रणधीर शर्मा ने कहा कि मुख्यमंत्री के बयानों और अफसरों को दिए जा रहे निर्देशों से लगता है कि चुनाव टाले जा रहे हैं।
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विधानसभा की कार्यवाही शुरू होते ही भाजपा की ओर से प्रदेश में पंचायतीराज और शहरी निकाय के चुनाव टालने और चुनाव आयोग से सरकार के टकराव विषय को लेकर नियम-67 में तहत काम रोको प्रस्ताव लाया गया। विधायक रणधीर शर्मा ने कहा कि मुख्यमंत्री के बयानों और अफसरों को दिए जा रहे निर्देशों से लगता है कि चुनाव टाले जा रहे हैं। चुनाव आयोग जैसी सांविधानिक संस्था से भी टकराव की स्थिति बनी हुई है। इससे लोकतंत्र को खतरा हो गया है। कांग्रेस के एक बड़े नेता संविधान की किताब लेकर घूमते हैं, लेकिन उनकी ही पार्टी की सरकार संविधान का उल्लंघन कर रही है। चुनावों को लेकर असमंजस की स्थिति बनी हुई है। चुनाव आयोग की ओर से शुरू की गई प्रक्रिया में सरकार व्यवधान डाल रही है। इस कारण ही आयोग को राजभवन पहुंचना पड़ा है। उन्होंने कहा कि पंचायतों के पुनर्गठन को लेकर गलत फैसले लिए जा रहे हैं। अपने लाेगों को लाभ देने के लिए मनमाने तरीके से पुनर्गठन हो रहे हैं। रणधीर शर्मा ने कहा कि प्रदेश में डिजास्टर एक्ट लागू होने का हवाला दिया जा रहा है। स्कूल और आंगनबाड़ी केंद्रों में जब बच्चे जा रहे हैं तो उनके अभिभावकों को वोट देने में क्या परेशानी हो सकती है।
सदन में बुधवार को प्रश्न और शून्यकाल नहीं चला। नियम-67 में काम रोको प्रस्ताव पर चर्चा होने के चलते विधायक अपने क्षेत्रों से संबंधित सवाल नहीं उठा सके। विधायकों को उनके सवालों के जवाब लिखित में ही दिए गए। उधर, भाजपा विधायक हंसराज बुधवार को सदन की कार्यवाही में शामिल नहीं हुए।
पहले दिन पूर्व विधायक डॉ. बाबूराम गौतम के निधन पर शोक जताया गया। मुख्यमंत्री सुक्खू ने शोकोद़्गार प्रस्ताव रखते हुए कहा 19 अक्तूबर 2025 को बाबूराम गौतम का 73 वर्ष की आयु में निधन हुआ। उन्होंने कांग्रेस पार्टी की मजबूती के लिए बहुत कार्य किया। नेता विपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि बीते दिनों उन्होंने केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा के साथ एम्स बिलासपुर में जाकर गौतम से मुलाकात की थी। उन्हें देख कर नहीं लगा था कि उनके पास कम समय रहा है। शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने कहा कि बाबूराम गौतम जनता व पार्टी के प्रति समर्पित रहे। मंत्री राजेश धर्माणी ने कहा कि बाबूराम गौतम पूर्व विधायकों की समस्याओं को उठाते रहे। विधायक रणधीर शर्मा ने कहा कि नए विधायक के तौर पर उन्होंने मुझे प्रशिक्षण भी दिया था। त्रिलोक जंबाल और जेआर कटवाल ने भी बाबूराम गौतम की खूबियों को गिनाया। विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने शाेक संतप्त परिवार के प्रति संवेदनाएं जताईं।
पंचायत चुनाव न करवाने के मुद्दे पर विपक्ष की ओर से सदन में नियम-67 में लाए गए स्थगन प्रस्ताव पर भोजनावकाश के बाद चर्चा आगे बढ़ी। अर्की के विधायक संजय अवस्थी ने कहा कि सरकार का लगभग तीन वर्ष का कार्यकाल पूरा होने जा रहा है। जब-जब भी विधानसभा का सत्र शुरू होता है तो विपक्ष के लोग महत्वपूर्ण मुद्दों से हट जाते हैं। विधायकों ने जो प्रश्न लगाए थे, उन पर चर्चा होनी थी, जो नहीं हो पाई। यह किसी भी सरकार का कार्यक्षेत्र होता है कि किस प्रकार देश, काल और परिस्थितियों को देखते हुए फैसले लेने हैं। आपदा अधिनियम लागू है। इसे लागू होने के वैधानिक प्रावधान को विपक्ष के लोग भी समझते हैं। इस तरह का प्रस्ताव समझ नहीं आता कि इसके पीछे कोई राजनीति है। आपदा पूरे प्रदेश में आई है।
अवस्थी ने कहा कि किस सांविधानिक संकट की विपक्ष के लोग बात कर रहे हैं, जब विधायकों की खरीद फरोख्त हुई थी तो सांविधानिक संकट तो इन्होंने लाया है। पंडित नेहरू के समय पंचायती राज चुनाव शुरू हो गए थे। नरसिम्हा राव की सरकार में 73वां संविधानिक संशोधन लाया गया। कांग्रेस ने हमेशा पंचायती राज संस्थाओं को सुदृढ़ किया है।
बंजार के भाजपा विधायक सुरेंद्र शौरी ने कहा कि पंचायतों के चुनाव समय पर होने चाहिए, पर सरकार चुनाव से भाग रही है। अगर चुनाव लेट होंगे तो पंचायतों का विकास कैसे होगा। शौरी ने कहा कि दिसंबर 2024 में सरकार ने कहा कि नई पंचायतें बनेंगी। करीब 700 फाइलें बनीं। फिर निर्णय लेते हैं कि कोई नई पंचायतें नहीं बनेंगी। उन्हाेंने कहा कि अब पंचायतों का पुनर्गठन हो रहा है। पहले उनके विधानसभा क्षेत्र में कोई सड़कें नहीं थीं तो भी वहां चुनाव हुए। डिजास्टर एक्ट को लगाने का तो बहाना है।
अग्निकांड प्रभावितों को आठ- आठ लाख रुपये देंगे : सुक्खू
मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने सदन में कहा कि भाजपा विधायक सुरेंद्र शौरी के हलके बंजार में आग लगने से काफी नुकसान हुआ है। सीएम ने सदन में घोषणा की कि घर जलने पर वहां प्रत्येक व्यक्ति को 7- 7 लाख रुपए की आर्थिक मदद दी जाएगी। इसके अलावा सामान नष्ट होने की स्थिति में एक-एक लाख रुपए दिए जाएंगे। सीएम ने कहा कि सरकार मकान जलने से लोगों को हुए नुकसान के लिए संवेदनशील है। आपदा प्रभावितों को राहत दी जा रही है। यह उल्लेखनीय है कि इस बारे में राज्य मंत्रिमंडल में भी निर्णय हो चुका है।