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Una News: चिकित्सकों के सामूहिक अवकाश से ओपीडी बंद, मरीज बेहाल
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मरीजों को करना पड़ा दिक्कतों का सामना
संवाद न्यूज एजेंसी
दौलतपुर चौक (ऊना)। चिकित्सकों के शुक्रवार को सामूहिक अवकाश पर जाने से मरीजों को परेशानियों का सामना करना पड़ा। इसका असर दौलतपुर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भी से देखने को मिला। रोज की तरह मरीज इलाज के लिए अस्पताल पहुंचे, लेकिन जैसे ही अस्पताल प्रशासन ने ओपीडी में चिकित्सकों के अवकाश से संबंधित पोस्टर चस्पां किए तो मरीजों में मायूसी छा गई।
दौलतपुर चौक स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में लगभग 17 पंचायतों के लोग इलाज के लिए पहुंचते हैं। चिकित्सकों के उपलब्ध न होने के कारण मरीजों को इलाज के लिए इधर-उधर भटकना पड़ा।
आईजीएमसी शिमला में एक रेजिडेंट चिकित्सक को बर्खास्त किए जाने के विरोध में प्रदेश के सभी सरकारी अस्पतालों में ओपीडी सेवाएं बंद रखने का सामूहिक निर्णय लिया गया था। इसी के तहत शुक्रवार को सभी चिकित्सक सामूहिक अवकाश पर रहे, हालांकि आपातकालीन सेवाएं पूरी तरह सुचारू रहीं। इसी प्रकार की स्थिति गगरेट विधानसभा क्षेत्र के नागरिक अस्पताल गगरेट, पीएचसी मरवाड़ी, पीएचसी अमलेहड़, पीएचसी शिवपुर सहित अन्य स्वास्थ्य केंद्रों में भी देखने को मिली।
अस्पतालों में तैनात चिकित्सकों का कहना है कि कुछ मामलों में मरीजों की ओर से चिकित्सकों के साथ गलत व्यवहार भी किया गया है। उन्होंने कहा कि सरकार की ओर से लिए गए फैसले से चिकित्सक सहमत नहीं हैं और सरकार को इस विषय पर पुनः गंभीरता से सोच-विचार करना चाहिए।
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संवाद न्यूज एजेंसी
दौलतपुर चौक (ऊना)। चिकित्सकों के शुक्रवार को सामूहिक अवकाश पर जाने से मरीजों को परेशानियों का सामना करना पड़ा। इसका असर दौलतपुर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भी से देखने को मिला। रोज की तरह मरीज इलाज के लिए अस्पताल पहुंचे, लेकिन जैसे ही अस्पताल प्रशासन ने ओपीडी में चिकित्सकों के अवकाश से संबंधित पोस्टर चस्पां किए तो मरीजों में मायूसी छा गई।
दौलतपुर चौक स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में लगभग 17 पंचायतों के लोग इलाज के लिए पहुंचते हैं। चिकित्सकों के उपलब्ध न होने के कारण मरीजों को इलाज के लिए इधर-उधर भटकना पड़ा।
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आईजीएमसी शिमला में एक रेजिडेंट चिकित्सक को बर्खास्त किए जाने के विरोध में प्रदेश के सभी सरकारी अस्पतालों में ओपीडी सेवाएं बंद रखने का सामूहिक निर्णय लिया गया था। इसी के तहत शुक्रवार को सभी चिकित्सक सामूहिक अवकाश पर रहे, हालांकि आपातकालीन सेवाएं पूरी तरह सुचारू रहीं। इसी प्रकार की स्थिति गगरेट विधानसभा क्षेत्र के नागरिक अस्पताल गगरेट, पीएचसी मरवाड़ी, पीएचसी अमलेहड़, पीएचसी शिवपुर सहित अन्य स्वास्थ्य केंद्रों में भी देखने को मिली।
अस्पतालों में तैनात चिकित्सकों का कहना है कि कुछ मामलों में मरीजों की ओर से चिकित्सकों के साथ गलत व्यवहार भी किया गया है। उन्होंने कहा कि सरकार की ओर से लिए गए फैसले से चिकित्सक सहमत नहीं हैं और सरकार को इस विषय पर पुनः गंभीरता से सोच-विचार करना चाहिए।