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अपना ही दांव पड़ा भारी!: फिरकी की मददगार पिचें फायदा या फंदा? जानें भारत की रैंक-टर्नर रणनीति कब-कब पड़ी उल्टी
स्पोर्ट्स डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: स्वप्निल शशांक
Updated Tue, 18 Nov 2025 12:08 PM IST
सार
फिरकी वाली पिचें, जो कभी टीम इंडिया का मुख्य हथियार हुआ करती थीं, अब उसी पिच पर भारतीय बल्लेबाज खुद फंसने लगे हैं। आईए उन मैचों के बारे में जानते हैं, जब घर पर फिरकी वाली पिच ही भारतीय बल्लेबाजों के लिए हार की वजह बनी।
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गंभीर
- फोटो : PTI
खेल में अक्सर कहा जाता है कि घरेलू परिस्थितियां खिलाड़ियों को ताकत देती है, लेकिन पिछले कुछ वर्षों में क्रिकेट में भारत ने कई बार वही गलती दोहराई है, जिसने उन्हें अपने ही घर में असहज कर दिया। रैंक टर्नर, यानी वह पिच जहां गेंद खूब टर्न करे और स्पिनर्स को खेल का राजा बना दे, भारत की लंबे समय से पसंदीदा हथियार रही है। हालांकि, कई बार यह हथियार उल्टा चला और भारतीय बल्लेबाज खुद अपने ही जाल में फंस गए। गौतम गंभीर देखरेख वाली टीम के साथ कोलकाता टेस्ट में जो हुआ, वह इस बड़े पैटर्न का सिर्फ नया अध्याय था।
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ट्रॉफी के साथ इंग्लैंड की टीम
- फोटो : BCCI
1. भारत vs इंग्लैंड टेस्ट, मुंबई 2012: 'रैंक टर्नर' जिसने इंग्लैंड को बनाया शेर
2012 की उस सुबह वानखेड़े की पिच को देखकर हर कोई यही कह रहा था- ये मैच तो दो दिन भी नहीं टिकेगा, और भारत आराम से जीतेगा। लेकिन जिस कहानी की शुरुआत आसान लग रही थी, उसका क्लाइमैक्स किसी ने नहीं सोचा था। पहली पारी में पुजारा ने शतक जड़ा और भारत ने 327 रन बनाए। तब तक सब ठीक लग रहा था। लेकिन फिर मैदान पर उतरे केविन पीटरसन। उनके बैट से निकली 186 रन की पारी ने पिच पर मौजूद हर परेशानियों को मानो दोस्त बना लिया। इसके बाद मोंटी पनेसर के छह विकेट वाले जादूई स्पेल ने भारत की नींद उड़ा दी। भारत की दूसरी पारी 142 पर हांफ गई। अंग्रेजों ने 86 रन की बढ़त को आसानी से जीत में बदल दिया। कहानी यहां खत्म नहीं हुई। इस हार ने इंग्लैंड को पंख दे दिए। कोलकाता टेस्ट उन्होंने जीता, नागपुर ड्रॉ कराया और 31 साल बाद भारत में टेस्ट सीरीज जीती। यह पहला बड़ा सबक था, जिससे भारत ने बहुत कुछ सीखा।
2012 की उस सुबह वानखेड़े की पिच को देखकर हर कोई यही कह रहा था- ये मैच तो दो दिन भी नहीं टिकेगा, और भारत आराम से जीतेगा। लेकिन जिस कहानी की शुरुआत आसान लग रही थी, उसका क्लाइमैक्स किसी ने नहीं सोचा था। पहली पारी में पुजारा ने शतक जड़ा और भारत ने 327 रन बनाए। तब तक सब ठीक लग रहा था। लेकिन फिर मैदान पर उतरे केविन पीटरसन। उनके बैट से निकली 186 रन की पारी ने पिच पर मौजूद हर परेशानियों को मानो दोस्त बना लिया। इसके बाद मोंटी पनेसर के छह विकेट वाले जादूई स्पेल ने भारत की नींद उड़ा दी। भारत की दूसरी पारी 142 पर हांफ गई। अंग्रेजों ने 86 रन की बढ़त को आसानी से जीत में बदल दिया। कहानी यहां खत्म नहीं हुई। इस हार ने इंग्लैंड को पंख दे दिए। कोलकाता टेस्ट उन्होंने जीता, नागपुर ड्रॉ कराया और 31 साल बाद भारत में टेस्ट सीरीज जीती। यह पहला बड़ा सबक था, जिससे भारत ने बहुत कुछ सीखा।
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स्टीव ओ'कीफ
- फोटो : PTI
2. भारत vs ऑस्ट्रेलिया टेस्ट, पुणे 2017: जब ओ'कीफ का नाम भारत का दुःस्वप्न बन गया
2012 में इंग्लैंड से हार के बाद भारत ने टर्निंग ट्रैक तो बनाए, लेकिन भारतीय बल्लेबाजों ने दमदार बल्लेबाजी की और विपक्षी टीमों की एक न चलने दी। 2017 की बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में फिर से टीम इंडिया को जोरदार झटका लगा। पुणे की पिच को तैयार किया गया था ताकि ऑस्ट्रेलिया डर जाए, लेकिन डर कौन गया? ऑस्ट्रेलिया नहीं, भारत। पहली बार किसी ने सुना था कि स्टीव ओ'कीफ नाम का कोई फिरकी गेंदबाज है, जिसने भारत में मैच पलट दिया। उन्होंने 12 विकेट लेकर भारतीय बल्लेबाजी को उखाड़ फेंका। स्टिव स्मिथ ने शतक जमाया और भारत को 441 रन के पहाड़ जैसे लक्ष्य पर सिर्फ 107 पर ढहा दिया गया। उस दिन कमेंट्री में एक लाइन गूंजी थी- ये मैच नहीं, चेतावनी है। हालांकि भारत ने यह सीरीज बाद में पलट दी, लेकिन यह हार एक बड़े संदेश की तरह थी कि रैंक टर्नर हमेशा अपने लिए फायदेमंद नहीं होता।
2012 में इंग्लैंड से हार के बाद भारत ने टर्निंग ट्रैक तो बनाए, लेकिन भारतीय बल्लेबाजों ने दमदार बल्लेबाजी की और विपक्षी टीमों की एक न चलने दी। 2017 की बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में फिर से टीम इंडिया को जोरदार झटका लगा। पुणे की पिच को तैयार किया गया था ताकि ऑस्ट्रेलिया डर जाए, लेकिन डर कौन गया? ऑस्ट्रेलिया नहीं, भारत। पहली बार किसी ने सुना था कि स्टीव ओ'कीफ नाम का कोई फिरकी गेंदबाज है, जिसने भारत में मैच पलट दिया। उन्होंने 12 विकेट लेकर भारतीय बल्लेबाजी को उखाड़ फेंका। स्टिव स्मिथ ने शतक जमाया और भारत को 441 रन के पहाड़ जैसे लक्ष्य पर सिर्फ 107 पर ढहा दिया गया। उस दिन कमेंट्री में एक लाइन गूंजी थी- ये मैच नहीं, चेतावनी है। हालांकि भारत ने यह सीरीज बाद में पलट दी, लेकिन यह हार एक बड़े संदेश की तरह थी कि रैंक टर्नर हमेशा अपने लिए फायदेमंद नहीं होता।
भारतीय बल्लेबाज बोल्ड हुए
- फोटो : PTI
3. भारत vs ऑस्ट्रेलिया टेस्ट, इंदौर 2023: जब कुह्नेमन और लियोन बने भारत के विलेन
इंदौर टेस्ट शुरू हुआ और पहले ही सेशन में भारत का हाल ऐसा हुआ जैसे किसी ने स्क्रिप्ट बदल दी हो। मैथ्यू कुह्नेमन, जिसे दुनिया मुश्किल से जानती थी, ने सिर्फ पहले सेशन में पांच विकेट ले लिए। भारत 109 पर ढेर। ऑस्ट्रेलिया ने 197 बनाकर मामूली लीड ली, जो कि आखिर में अहम साबित हुई। पुजारा के अर्धशतक पर नाथन लियोन का आठ विकेट वाला स्पेल घातक साबित हुआ। भारत ने 76 का टारगेट दिया और ऑस्ट्रेलिया ने नौ विकेट से आसान जीत दर्ज की। यह हार इसलिए भी बड़ी थी कि भारत ने मैच शुरू होने से पहले ही पिच को देखने पर मुस्कान दी थी, लेकिन वही मुस्कान अंत में कड़वाहट बन गई।
इंदौर टेस्ट शुरू हुआ और पहले ही सेशन में भारत का हाल ऐसा हुआ जैसे किसी ने स्क्रिप्ट बदल दी हो। मैथ्यू कुह्नेमन, जिसे दुनिया मुश्किल से जानती थी, ने सिर्फ पहले सेशन में पांच विकेट ले लिए। भारत 109 पर ढेर। ऑस्ट्रेलिया ने 197 बनाकर मामूली लीड ली, जो कि आखिर में अहम साबित हुई। पुजारा के अर्धशतक पर नाथन लियोन का आठ विकेट वाला स्पेल घातक साबित हुआ। भारत ने 76 का टारगेट दिया और ऑस्ट्रेलिया ने नौ विकेट से आसान जीत दर्ज की। यह हार इसलिए भी बड़ी थी कि भारत ने मैच शुरू होने से पहले ही पिच को देखने पर मुस्कान दी थी, लेकिन वही मुस्कान अंत में कड़वाहट बन गई।
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न्यूजीलैंड की टीम
- फोटो : BCCI
4. भारत vs न्यूजीलैंड, दूसरा और तीसरा टेस्ट, 2024: पुणे से मुंबई तक, स्पिन का दांव उल्टा पड़ा
न्यूजीलैंड की टीम भारत दौरे पर आई। इस टीम के साथ केन विलियम्सन नहीं थे और कप्तानी का जिम्मा टॉम लाथम पर था। कीवियों को हर किसी ने हल्के में लिया और सोचा कि रोहित शर्मा की टीम आसानी से पटखनी देगी। बंगलूरू में पहले टेस्ट में कीवियों ने भारत को हरा दिया। बेंगलुरु में पाटा पिच पर हार के बाद टीम मैनेजमेंट ने सोचा कि अब रैंक टर्नर बनाई जाए, जहां कीवी फंसेंगे। लेकिन फंसे कौन? भारतीय बल्लेबाज।
न्यूजीलैंड की टीम भारत दौरे पर आई। इस टीम के साथ केन विलियम्सन नहीं थे और कप्तानी का जिम्मा टॉम लाथम पर था। कीवियों को हर किसी ने हल्के में लिया और सोचा कि रोहित शर्मा की टीम आसानी से पटखनी देगी। बंगलूरू में पहले टेस्ट में कीवियों ने भारत को हरा दिया। बेंगलुरु में पाटा पिच पर हार के बाद टीम मैनेजमेंट ने सोचा कि अब रैंक टर्नर बनाई जाए, जहां कीवी फंसेंगे। लेकिन फंसे कौन? भारतीय बल्लेबाज।