एडीजीपी वाई पूरण कुमार के आत्महत्या मामले की जांच कर रही चंडीगढ़ पुलिस की एसआईटी सोमवार सुबह रोहतक पहुंची और शराब ठेकेदार से मंथली मांगने के आरोप में गिरफ्तार हवलदार सुशील कुमार से छह घंटे पूछताछ की। पूछताछ में हवलदार ने कहा कि उसे फंसाया जा रहा है।
एसआईटी ने उससे यह पूछताछ सुनारिया जेल के भीतर ही की। इसके लिए एसआईटी ने कोर्ट से पहले ही अनुमति ले ली थी। इसके बाद डीएसपी गुरजीत कौर व सब इंस्पेक्टर नवीन कुमार सुबह 11 बजे सुनारिया जेल पहुंचे। वहां पहले चरण में सुशील कुमार से चार घंटे पूछताछ की गई।
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वाई पूरण कुमार का शव पीजीआई में ले जाते हुए
- फोटो : संवाद न्यूज एजेंसी
सुशील कुमार ने खुद को बताया बेकसूर
इसके बाद दो घंटे बीच में आराम करके फिर दो घंटे पूछताछ की गई। सूत्रों के अनुसार एसआईटी के सामने सुशील कुमार ने खुद को बेकसूर बताया। सुशील के बयान लेने के बाद टीम शाम करीब 7 बजे टीम सुनारिया जेल से चंडीगढ़ लौट गई।
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वाई पूरण कुमार का शव पीजीआई में ले जाते हुए
- फोटो : संवाद न्यूज एजेंसी
सुशील ने खुद को बताया था एडीजीपी पूरण कुमार का खास आदमी
शराब ठेकेदार प्रवीण बंसल ने अर्बन एस्टेट थाने में शिकायत दी थी कि सुशील कुमार नाम का पुलिसकर्मी उससे मिला और खुद को एडीजीपी पूरण कुमार का खास आदमी बताया। आरोप है कि हवलदार सुशील ने एडीजीपी के नाम पर ढाई लाख रुपये मंथली मांगी।
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पीजीआई पहुंचे हुए आईजीपी पुष्पेंदर कुमार और एसएसपी कंवरदीप कौर पीजीआई मुर्दा घर से बाहर आते हुए
- फोटो : संवाद न्यूज एजेंसी
इसके बाद अर्बन एस्टेट थाना पुलिस ने 6 अक्तूबर को सुशील कुमार के खिलाफ मंथली मांगने का केस दर्ज कर 7 अक्तूबर को गिरफ्तार कर लिया था। उसके कुछ घंटे बाद आईजी पूरण कुमार ने जान दे दी।
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पीजीआई पहुंचे हुए आईजीपी पुष्पेंदर कुमार और एसएसपी कंवरदीप कौर पीजीआई मुर्दा घर से बाहर आते हुए
- फोटो : संवाद न्यूज एजेंसी
एसआईटी की एक टीम तीन दिन से रोहतक में
चंडीगढ़ पुलिस की एक टीम तीसरे दिन भी रोहतक में रही। उसने सरकार को आवश्यकत दस्तावेज उपलब्ध कराने के लिए नोटिस जारी किया है। साथ ही केस से जुड़ी बरामद वस्तुओं को फॉरेंसिक साइंस लेबोरेटरी (एफएसएल) भेजते हुए संबंधित फॉरवर्डिंग लेटर भी भेजे गए हैं।